मजबूर रंग
हर रंग बेरंग को भगवा बनाकर
बदरंग बीमारू करने को उतारू
दया के पात्र हैं मजबूर भगवे
कि उनके अपने खून का रंग भी
हर खून–रंग की तरह ही
वह रंग है
जो कम्युनिस्टों का झंडा–रंग है
मजबूत रंग
मगर यह
नाकाबिलेबदलाव रंग है
जिसे वे दूरदर्शन के लोगो की तरह
बदला तो चाहते हैं
हिंदू के मुसलमानी मूल से छटपटा
सनातन से काम चला आहत होते रहते हैं!