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30 Jan 2021 · 1 min read

बसंत की हरियाली

दृश्य लुभाना है कितना
देखो सुबह रवि की लाली
चहक उठी चिड़ियाँ पेडों पर
जब हुई सुबह मतवाली

कांधे पकड़ फावड़ा निकला
देखो घर से एक किसान
मौसम भी अलबेला कितना
नहीं हुआ है अभी घाम

करती कलरव नदिया प्यारी
है कोयल की कुक निराली
हैं फूलों पर भौंरे भी गुंजित
हर तरफ दिखे केवल हरियाली

है ऋतु बसंत यह पावन सुंदर
छटा भी इसकी कितनी निराली
बोले रोम रोम खिलती प्रकृति का
है कितनी यह सुंदर हरियाली

Language: Hindi
1 Like · 439 Views
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