Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
6 Oct 2022 · 1 min read

चाहे जितनी देर लगे।

कण-कण का कल्याण करे,
रोम-रोम में होता है बसा,
ऐसी है निराकार की कथा,
देता है वह अंत में स्वतः,
करता है जो भक्ति सदा।
चाहे जितनी देर लगे……।1।

मन में वह यदि रमता है,
ह्रदय में जब भी बसता है,
ओठों से जो नाम है जापे,
हाथोंं से जो करें सेवा,
रखता है वह ध्यान सदा।
चाहे जितनी देर लगे……।2।

करता है वह अपनी कृपा,
चलता है वह संग सदा,
याद करें जो हर पल उसकी,
बाँटे है जो ज्ञान उसकी,
करता है उसका ही भला।
चाहे जितनी देर लगे……।3।

रूप न उसका कोई जाने,
आँखों से कोई न पहचाने,।
वो तो खोजे प्रेम का सागर,
प्रेम की नदिया मिलती जहाँ आकर,
भरता है जो प्रेम का गागर ।
चाहे जितनी देर लगे।……।4।

आँसू देख वहीं है पोछे,
जिसका आँसू कोई न पोछे,
कैसे रोने देगा भक्तों को,
श्रद्धा से पाया है उनको,
मिलन तो होना है एक रोज।
चाहे जितनी देर लगे……..।5।

रचनाकार ✍🏼
बुद्ध प्रकाश,
मौदहा हमीरपुर।

4 Likes · 2 Comments · 295 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from Buddha Prakash
View all
You may also like:
रंजीत कुमार शुक्ला
रंजीत कुमार शुक्ला
हाजीपुर
सांसें थम सी गई है, जब से तु म हो ।
सांसें थम सी गई है, जब से तु म हो ।
Chaurasia Kundan
नारी शक्ति
नारी शक्ति
राधेश्याम "रागी"
स्वाधीनता दिवस
स्वाधीनता दिवस
Kavita Chouhan
जुदाई  की घड़ी लंबी  कटेंगे रात -दिन कैसे
जुदाई की घड़ी लंबी कटेंगे रात -दिन कैसे
Dr Archana Gupta
4752.*पूर्णिका*
4752.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
जिससे मिलने के बाद
जिससे मिलने के बाद
शेखर सिंह
।। आरती श्री सत्यनारायण जी की।।
।। आरती श्री सत्यनारायण जी की।।
सुरेश कुमार चतुर्वेदी
या तो युद्ध छेड़ दो हमसे,
या तो युद्ध छेड़ दो हमसे,
पूर्वार्थ
दोहा 🌹💖
दोहा 🌹💖
Neelofar Khan
बेहद कष्टप्रद होता है किसी को बरसों-बरस अपना मानने के बाद भी
बेहद कष्टप्रद होता है किसी को बरसों-बरस अपना मानने के बाद भी
*प्रणय*
सौ बार मरता है
सौ बार मरता है
sushil sarna
जब लोग आपके विरुद्ध अधिक बोलने के साथ आपकी आलोचना भी करने लग
जब लोग आपके विरुद्ध अधिक बोलने के साथ आपकी आलोचना भी करने लग
Paras Nath Jha
आजा माँ आजा
आजा माँ आजा
Basant Bhagawan Roy
रुत चुनाव की आई 🙏
रुत चुनाव की आई 🙏
तारकेश्‍वर प्रसाद तरुण
इम्तहान दे कर थक गया , मैं इस जमाने को ,
इम्तहान दे कर थक गया , मैं इस जमाने को ,
Neeraj Mishra " नीर "
हैं जो कुछ स्मृतियां वो आपके दिल संग का
हैं जो कुछ स्मृतियां वो आपके दिल संग का
दीपक झा रुद्रा
“ मैथिल क जादुई तावीज़ “ (संस्मरण )
“ मैथिल क जादुई तावीज़ “ (संस्मरण )
DrLakshman Jha Parimal
गर्मी आई
गर्मी आई
Dr. Pradeep Kumar Sharma
चलना था साथ
चलना था साथ
Dr fauzia Naseem shad
बुंदेली चौकड़िया-पानी
बुंदेली चौकड़िया-पानी
राजीव नामदेव 'राना लिधौरी'
*नववर्ष*
*नववर्ष*
Dr. Priya Gupta
तू मेरी मैं तेरा, इश्क है बड़ा सुनहरा
तू मेरी मैं तेरा, इश्क है बड़ा सुनहरा
SUNIL kumar
वक्त वक्त की बात है,
वक्त वक्त की बात है,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
नाजुक देह में ज्वाला पनपे
नाजुक देह में ज्वाला पनपे
कवि दीपक बवेजा
" हिम्मत "
Dr. Kishan tandon kranti
सच्ची लगन
सच्ची लगन
Krishna Manshi
तुम्हारा दिल ही तुम्हे आईना दिखा देगा
तुम्हारा दिल ही तुम्हे आईना दिखा देगा
VINOD CHAUHAN
प्रतीक्षा
प्रतीक्षा
Rashmi Sanjay
तेवरी
तेवरी
कवि रमेशराज
Loading...