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29 Jul 2021 · 1 min read

खामोशी से जी लु जरा

मेरी खामोशी मेरा दर्द
मेरा दर्द मेरी खुशी
मेरी खुशी मेरी तन्हाई
मेरी तन्हाई मेरी यादें
मेरी यादें मेरी जिंदगी
और मेरी जिंदगी मेरी खामोशी…..

खामोशी से जी लु जरा,
अब विरानो की खुशबू सी अच्छी लगती है,
अपने लिए जी लूं जरा,
अपनों में अब मजबूरी सी लगती है,
थोड़ी तन्हाइयों के साथ जी लूं जरा,
अब अपनों से दूरी सी लगती है,

जीता था कभी अपनों के लिए,
अब अपने अपनों के हो गए,
यह तो पुरानी रीत है सदा,
पुराने रिश्ते टूटते और नए बनते चले गए,

अब खामोशी से जी लूं जरा,

उमेंद्र कुमार

Language: Hindi
2 Likes · 479 Views
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