Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
17 Aug 2024 · 1 min read

“क्यों नहीं लिख रहे”

“क्यों नहीं लिख रहे”
हमें पता नहीं
क्यों नहीं लिख रहे कवि
हादसों की, मृत्यु की
हिंसा की घटनाओं पर,
समाज की ढेरों कुरीतियों
सैकड़ों वर्जनाओं पर?

4 Likes · 4 Comments · 76 Views
Books from Dr. Kishan tandon kranti
View all

You may also like these posts

संवेदनशीलता
संवेदनशीलता
Rajesh Kumar Kaurav
किस बात का गुरुर हैं,जनाब
किस बात का गुरुर हैं,जनाब
शेखर सिंह
क्यों नहीं आती नींद.
क्यों नहीं आती नींद.
Heera S
****बारिश की बूंदें****
****बारिश की बूंदें****
Kavita Chouhan
सूरज सा उगता भविष्य
सूरज सा उगता भविष्य
Harminder Kaur
नेता जी शोध लेख
नेता जी शोध लेख
नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर
तो जानो आयी है होली
तो जानो आयी है होली
Satish Srijan
विवशता
विवशता
Shyam Sundar Subramanian
हाय हाय पैसा
हाय हाय पैसा
अवध किशोर 'अवधू'
आइना फिर से जोड़ दोगे क्या..?
आइना फिर से जोड़ दोगे क्या..?
पंकज परिंदा
दोहा पंचक. . . . . पिता
दोहा पंचक. . . . . पिता
sushil sarna
वोट डालने जाएंगे
वोट डालने जाएंगे
Dr. Reetesh Kumar Khare डॉ रीतेश कुमार खरे
माँ तेरे आँचल तले...
माँ तेरे आँचल तले...
डॉ.सीमा अग्रवाल
बीजारोपण
बीजारोपण
आर एस आघात
गीत
गीत
Mahendra Narayan
25) मुहब्बत है तुमसे...
25) मुहब्बत है तुमसे...
नेहा शर्मा 'नेह'
बड़े बच्चों का नाम स्कूल में लिखवाना है
बड़े बच्चों का नाम स्कूल में लिखवाना है
gurudeenverma198
मुकाम जब मिल जाए, मुकद्दर भी झुक जाता है,
मुकाम जब मिल जाए, मुकद्दर भी झुक जाता है,
पूर्वार्थ
ये उम्र के निशाँ नहीं दर्द की लकीरें हैं
ये उम्र के निशाँ नहीं दर्द की लकीरें हैं
Atul "Krishn"
बाण मां के दोहे
बाण मां के दोहे
जितेन्द्र गहलोत धुम्बड़िया
मन-क्रम-वचन से भिन्न तो नहीं थे
मन-क्रम-वचन से भिन्न तो नहीं थे
manorath maharaj
हमारे रिश्ते को बेनाम रहने दो,
हमारे रिश्ते को बेनाम रहने दो,
Jyoti Roshni
A Girl Child
A Girl Child
Deep Shikha
आओ मिल दीप जलाएँ
आओ मिल दीप जलाएँ
Indu Nandal
"कुण्डलिया"
surenderpal vaidya
3835.💐 *पूर्णिका* 💐
3835.💐 *पूर्णिका* 💐
Dr.Khedu Bharti
अटल सत्य
अटल सत्य
Akshay patel
"ताकीद"
Dr. Kishan tandon kranti
भीरू नही,वीर हूं।
भीरू नही,वीर हूं।
Sunny kumar kabira
चंदा मामा आओ छत पे
चंदा मामा आओ छत पे
संतोष बरमैया जय
Loading...