Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
3 Feb 2024 · 1 min read

क्या हुआ जो मेरे दोस्त अब थकने लगे है

अर्धशतक उम्र का पार हो गया
जीवन क्या था , क्या हो गया ,
एक दशक पहले का मेरा युवा मित्र
खुद को बूढ़ा स्वीकारने को तैयार हो गया

रक्त की मिठास बढ़ गई थोडी
रक्त के चाप ने भी गति पकडी निगोडी
जुल्फो पर चांदी का राज है तगड़ा
तोंद भी बनती जा रही है तबला

दौड तो क्या , चलना भी हांफनी बढ़ाए
बडे वजन को घुटने आखिर कैसे उठाए
चेहरे पर चमक को बढ़ाने के,
वो करता जाए भरसक उपाय

बुढापे के जीवन का कर विचार
माथे की लकीरो का बढ़ रहा अंबार
बच्चो के सुनहरे भविष्य की आकांक्षा
करती जाती चिंता का विस्तार

फिर भी वो हंसता खिलखिलाता है
दो पल यारो के संग बिता, इतराता है
जब कुछ भी ना बचेगी उम्र भर की जोडी जमा पूंजी
दोस्ती की मजबूत पोटली उसके साथ होगी

दुख मे कंधे पर मित्र का हाथ
खुशी मे बगल खडे हो निभाए साथ
परवाह के बस दो मीठे बोल
सुखमय जीवन का इकलौता राज

संदीप पांडे”शिष्य” अजमेर

Language: Hindi
3 Likes · 72 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from Sandeep Pande
View all
You may also like:
"रिश्ते की बुनियाद"
Dr. Kishan tandon kranti
ताउम्र करना पड़े पश्चाताप
ताउम्र करना पड़े पश्चाताप
Umesh उमेश शुक्ल Shukla
हे गुरुवर तुम सन्मति मेरी,
हे गुरुवर तुम सन्मति मेरी,
Kailash singh
जब ये मेहसूस हो, दुख समझने वाला कोई है, दुख का भर  स्वत कम ह
जब ये मेहसूस हो, दुख समझने वाला कोई है, दुख का भर स्वत कम ह
पूर्वार्थ
".... कौन है "
Aarti sirsat
डॉ अरुण कुमार शास्त्री
डॉ अरुण कुमार शास्त्री
DR ARUN KUMAR SHASTRI
पापा , तुम बिन जीवन रीता है
पापा , तुम बिन जीवन रीता है
Dilip Kumar
आज सर ढूंढ रहा है फिर कोई कांधा
आज सर ढूंढ रहा है फिर कोई कांधा
Vijay Nayak
काश
काश
हिमांशु Kulshrestha
कुदरत का प्यारा सा तोहफा ये सारी दुनियां अपनी है।
कुदरत का प्यारा सा तोहफा ये सारी दुनियां अपनी है।
सत्य कुमार प्रेमी
अध्यात्म का शंखनाद
अध्यात्म का शंखनाद
Dr.Pratibha Prakash
चार कदम चलने को मिल जाता है जमाना
चार कदम चलने को मिल जाता है जमाना
कवि दीपक बवेजा
मैं तो महज प्रेमिका हूँ
मैं तो महज प्रेमिका हूँ
VINOD CHAUHAN
*रिश्ता होने से रिश्ता नहीं बनता,*
*रिश्ता होने से रिश्ता नहीं बनता,*
शेखर सिंह
🥀 *अज्ञानी की कलम*🥀
🥀 *अज्ञानी की कलम*🥀
जूनियर झनक कैलाश अज्ञानी झाँसी
3106.*पूर्णिका*
3106.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
कब टूटा है
कब टूटा है
sushil sarna
प्रतीक्षा
प्रतीक्षा
Shyam Sundar Subramanian
आपकी आहुति और देशहित
आपकी आहुति और देशहित
Mahender Singh
हर मंदिर में दीप जलेगा
हर मंदिर में दीप जलेगा
Ansh
*ए फॉर एप्पल (लघुकथा)*
*ए फॉर एप्पल (लघुकथा)*
Ravi Prakash
आप प्रारब्ध वश आपको रावण और बाली जैसे पिता और बड़े भाई मिले
आप प्रारब्ध वश आपको रावण और बाली जैसे पिता और बड़े भाई मिले
Sanjay ' शून्य'
#ग़ज़ल-
#ग़ज़ल-
*Author प्रणय प्रभात*
जिंदगी और जीवन में अंतर हैं
जिंदगी और जीवन में अंतर हैं
Neeraj Agarwal
बवंडर
बवंडर
Shekhar Chandra Mitra
चन्द्रयान 3
चन्द्रयान 3
डिजेन्द्र कुर्रे
AGRICULTURE COACHING CHANDIGARH
AGRICULTURE COACHING CHANDIGARH
★ IPS KAMAL THAKUR ★
चाहे जितनी हो हिमालय की ऊँचाई
चाहे जितनी हो हिमालय की ऊँचाई
ब्रजनंदन कुमार 'विमल'
स्वयं को स्वयं पर
स्वयं को स्वयं पर
Dr fauzia Naseem shad
Wo veer purta jo rote nhi
Wo veer purta jo rote nhi
Sakshi Tripathi
Loading...