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Tag: कुण्डलिया
2k posts
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*सजती हाथों में हिना, मना तीज-त्यौहार (कुंडलिया)*
*सजती हाथों में हिना, मना तीज-त्यौहार (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
*सोता रहता आदमी, आ जाती है मौत (कुंडलिया)*
*सोता रहता आदमी, आ जाती है मौत (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
*नदियाँ पेड़ पहाड़ हैं, जीवन का आधार(कुंडलिया)*
*नदियाँ पेड़ पहाड़ हैं, जीवन का आधार(कुंडलिया)*
Ravi Prakash
*सीखा सब आकर यहीं, थोड़ा-थोड़ा ज्ञान (कुंडलिया)*
*सीखा सब आकर यहीं, थोड़ा-थोड़ा ज्ञान (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
*कोटा-परमिट का मिला ,अफसर को हथियार* *(कुंडलिया)*
*कोटा-परमिट का मिला ,अफसर को हथियार* *(कुंडलिया)*
Ravi Prakash
*बेचारे पति जानते, महिमा अपरंपार (हास्य कुंडलिया)*
*बेचारे पति जानते, महिमा अपरंपार (हास्य कुंडलिया)*
Ravi Prakash
*हारा कब हारा नहीं, दिलवाया जब हार (हास्य कुंडलिया)*
*हारा कब हारा नहीं, दिलवाया जब हार (हास्य कुंडलिया)*
Ravi Prakash
"चाँद को शिकायत" संकलित
Radhakishan R. Mundhra
*शुगर लेकिन दुखदाई (हास्य कुंडलिया)*
*शुगर लेकिन दुखदाई (हास्य कुंडलिया)*
Ravi Prakash
*दिन-दूनी निशि चौगुनी, रिश्वत भरी बयार* *(कुंडलिया)*
*दिन-दूनी निशि चौगुनी, रिश्वत भरी बयार* *(कुंडलिया)*
Ravi Prakash
*पहिए हैं हम दो प्रिये ,चलते अपनी चाल (कुंडलिया)*
*पहिए हैं हम दो प्रिये ,चलते अपनी चाल (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
मोबाइल ने कर दिया, ऐसा बंटाधार
मोबाइल ने कर दिया, ऐसा बंटाधार
RAMESH SHARMA
*खिलता है जब फूल तो, करता जग रंगीन (कुंडलिया)*
*खिलता है जब फूल तो, करता जग रंगीन (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
*डुबकी में निष्णात, लौट आता ज्यों बिस्कुट(कुंडलिया)*
*डुबकी में निष्णात, लौट आता ज्यों बिस्कुट(कुंडलिया)*
Ravi Prakash
मेले
मेले
Aruna Dogra Sharma
*भर ले खुद में ज्योति तू ,बन जा आत्म-प्रकाश (कुंडलिया)*
*भर ले खुद में ज्योति तू ,बन जा आत्म-प्रकाश (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
*मिलते जीवन में गुरु, सच्चे तो उद्धार【कुंडलिया】*
*मिलते जीवन में गुरु, सच्चे तो उद्धार【कुंडलिया】*
Ravi Prakash
नेकी जिसके खून में
नेकी जिसके खून में
RAMESH SHARMA
प्यारा भारत देश है
प्यारा भारत देश है
ओम प्रकाश श्रीवास्तव
भंडारे की पूड़ियाँ, देसी घी का स्वाद( हास्य कुंडलिया)
भंडारे की पूड़ियाँ, देसी घी का स्वाद( हास्य कुंडलिया)
Ravi Prakash
*पति-पत्नी दो श्वास हैं, किंतु एक आभास (कुंडलिया)*
*पति-पत्नी दो श्वास हैं, किंतु एक आभास (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
गलती औरों की गलत,लगे स्वयं की ठीक
गलती औरों की गलत,लगे स्वयं की ठीक
RAMESH SHARMA
बच्चा बूढ़ा हो गया , यौवन पीछे छोड़ (कुंडलिया )
बच्चा बूढ़ा हो गया , यौवन पीछे छोड़ (कुंडलिया )
Ravi Prakash
*सावन झूला मेघ पर ,नारी का अधिकार (कुंडलिया)*
*सावन झूला मेघ पर ,नारी का अधिकार (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
*चंद्रशेखर आजाद* *(कुंडलिया)*
*चंद्रशेखर आजाद* *(कुंडलिया)*
Ravi Prakash
*होता शिक्षक प्राथमिक, विद्यालय का श्रेष्ठ (कुंडलिया )*
*होता शिक्षक प्राथमिक, विद्यालय का श्रेष्ठ (कुंडलिया )*
Ravi Prakash
*कहते यद्यपि कर-कमल , गेंडे-जैसे हाथ
*कहते यद्यपि कर-कमल , गेंडे-जैसे हाथ
Ravi Prakash
*कॉंवड़ियों को कीजिए, झुककर सहज प्रणाम (कुंडलिया)*
*कॉंवड़ियों को कीजिए, झुककर सहज प्रणाम (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
सावन में शिव गुणगान
सावन में शिव गुणगान
ओम प्रकाश श्रीवास्तव
प्यारा बंधन प्रेम का
प्यारा बंधन प्रेम का
ओम प्रकाश श्रीवास्तव
पावन सावन मास में
पावन सावन मास में
ओम प्रकाश श्रीवास्तव
मुद्दत से आया नही,उनका कुछ संदेश
मुद्दत से आया नही,उनका कुछ संदेश
RAMESH SHARMA
कैसा आया है समय
कैसा आया है समय
ओम प्रकाश श्रीवास्तव
राज बढ़ते रोगों का
राज बढ़ते रोगों का
ओम प्रकाश श्रीवास्तव
*आई बारिश घिर उठी ,नभ मे जैसे शाम* ( *कुंडलिया* )
*आई बारिश घिर उठी ,नभ मे जैसे शाम* ( *कुंडलिया* )
Ravi Prakash
*खुलकर ताली से करें, प्रोत्साहित सौ बार (कुंडलिया)*
*खुलकर ताली से करें, प्रोत्साहित सौ बार (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
*आते हैं बादल घने, घिर-घिर आती रात (कुंडलिया)*
*आते हैं बादल घने, घिर-घिर आती रात (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
*खाते नहीं जलेबियॉं, जिनको डायबिटीज (हास्य कुंडलिया)*
*खाते नहीं जलेबियॉं, जिनको डायबिटीज (हास्य कुंडलिया)*
Ravi Prakash
*दही सदा से है सही, रखता ठीक दिमाग (कुंडलिया)*
*दही सदा से है सही, रखता ठीक दिमाग (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
*छोड़ा पीछे इंडिया, चले गए अंग्रेज (कुंडलिया)*
*छोड़ा पीछे इंडिया, चले गए अंग्रेज (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
*बच्चों को ले घूमते, मॅंगवाते हैं भीख (कुंडलिया)*
*बच्चों को ले घूमते, मॅंगवाते हैं भीख (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
*खोया अपने आप में, करता खुद की खोज (कुंडलिया)*
*खोया अपने आप में, करता खुद की खोज (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
*रानी ऋतुओं की हुई, वर्षा की पहचान (कुंडलिया)*
*रानी ऋतुओं की हुई, वर्षा की पहचान (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
*बाजारों में अब कहॉं, माॅलों में हैं लोग (कुंडलिया)*
*बाजारों में अब कहॉं, माॅलों में हैं लोग (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
*सुख से सबसे वे रहे, पेंशन जिनके पास (कुंडलिया)*
*सुख से सबसे वे रहे, पेंशन जिनके पास (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
*खाती दीमक लकड़ियॉं, कागज का सामान (कुंडलिया)*
*खाती दीमक लकड़ियॉं, कागज का सामान (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
असली चमचा जानिए, हाँ जी में उस्ताद ( हास्य कुंडलिया )
असली चमचा जानिए, हाँ जी में उस्ताद ( हास्य कुंडलिया )
Ravi Prakash
चन्द्रयान उड़ा गगन में,
चन्द्रयान उड़ा गगन में,
Satish Srijan
*पल में बारिश हो रही, पल में खिलती धूप (कुंडलिया)*
*पल में बारिश हो रही, पल में खिलती धूप (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
कुण्डलिया छंद
कुण्डलिया छंद
डाॅ. बिपिन पाण्डेय
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