Buddha Prakash Language: Hindi 520 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Previous Page 10 Next Buddha Prakash 2 Jul 2021 · 1 min read क्या यही है जीवन की कहानी ? भूखे को भोजन दिया है, प्यासे को दे दिया जल है, रोते हुए को हँसाया है, गिरे हुए को उठाया है, मेरा क्या दोष है बताओ, क्या यही है जीवन... Hindi · कविता 7 2 331 Share Buddha Prakash 2 Jul 2021 · 1 min read मैं! मैं! 'मैं' ही हूंँ.....। मैं ही 'मैं' हूंँ ! मैं ही 'मैं' तू रटता फिरता है, 'मैं' ही हूंँ यह कहता रहता है, 'मैं' में तू 'मय' को रखता है, मैयत में 'मैं' नहीं... Hindi · कविता 4 202 Share Buddha Prakash 1 Jul 2021 · 1 min read प्रेम रस जागे घर से जब भी जाता हूंँ बाहर, उसके हृदय में याद आ बसती है, तेज धूप में छांँव के जैसे, आने की राह एकटक-सी तकती है, मन-ही-मन कुछ कहना चाहे,... Hindi · कविता 2 224 Share Buddha Prakash 1 Jul 2021 · 1 min read एकांतवास जब दर्द आंँखों से झलकता है, फर्क कहीं और नहीं पड़ता है, मुस्कुरा कर चोट दिल पर जो पड़ी, लबों से बयांँ करते ही नहीं, खोए-खोए से जो रहते हैं,... Hindi · कविता 3 2 526 Share Buddha Prakash 30 Jun 2021 · 1 min read ग्रीष्म काल में पेड़ पेड़ की छांँव, तपती धूप में देती है, चैन ,सुकून ,आराम । पथिक राह में, ठंडक लेता पेड़ के नीचे, मुस्कुराता ठहर जाता। पशु-पक्षी ठहरते, जून की भीषण गर्मी में,... Hindi · हाइकु 3 319 Share Buddha Prakash 28 Jun 2021 · 1 min read बचपन की साईकिल मांँ मुझको भी साईकिल ला दो, इसको चला कर मैं विद्यालय है जाऊंँ, छोटे छोटे पैर है मेरे , बिन साईकिल कहीं जल्दी पहुंँच न पाऊंँ, देर होती तो तेज... Hindi · बाल कविता 1 525 Share Buddha Prakash 25 Jun 2021 · 1 min read रंग-बिरंगी तितली रंग-बिरंगी तितली, कितनी सुंदर दिखती हो, इधर-उधर मँडराती हो, बच्चों को बहलाती हो। तितली रानी तितली रानी, तेरी भी अजब कहानी, फूलों को देख बैठ जाती, फिर भी किसी के... Hindi · बाल कविता 3 1k Share Buddha Prakash 25 Jun 2021 · 1 min read कविता की व्याख्या... क्या है ये कविता?....(१) क्यों लिखते हैं कविता?......(२) कैसी इसकी रूपरेखा होती है?....(३) कौन इसे रचने वाला है?.......(४) लबों पर सजे जो, भाव मन में जगे वो, एहसासों से बनती... Hindi · कविता 2 231 Share Buddha Prakash 24 Jun 2021 · 1 min read कोई तो है .. ना जाने क्यों, आज खोया-खोया सा हूँ । चांँदनी रात में, भीनी-भीनी नींद के आगोश में, सोया-सोया सा हूँ । ना जाने क्यों..........।१। फिर से आया है कोई , मंद-मंद... Hindi · कविता 1 316 Share Buddha Prakash 23 Jun 2021 · 1 min read अगर अभिवादन करते हैं ! अगर अभिवादन करते हैं, अनसुना करते हैं वो यार, भूली बिसरी बातों को लेकर, हृदय को दुःख देते हैं। मुस्कुराते हुए इशारा करते हैं, इधर-उधर सिर घूमाते हैं यार, आपको... Hindi · कविता 2 338 Share Buddha Prakash 22 Jun 2021 · 1 min read छोटी-छोटी चींटियांँ छोटी-छोटी चींटियांँ, चलती हैं एक पंगत में, काली भूरी दिखती हैं , जी भर कर मेहनत करती हैं , मीठे-मीठे व्यंजन में, झटपट से भीड़ जुटाती हैं , प्यारी चींटी... Hindi · बाल कविता 5 2 478 Share Buddha Prakash 22 Jun 2021 · 1 min read भाई-भाई में प्रेम... भाई-भाई में प्रेम, सागर से भी गहरा होता है, एक-दूजे की खैर करना, जीवन भर पहरा होता है ।..(१) होता नहीं कभी बैर, बस आपस का झगड़ा होता है, बोले... Hindi · कविता 7 6 432 Share Buddha Prakash 21 Jun 2021 · 1 min read संशय का है संसार संशय का है संसार, दर्द मरहम का झूठा प्यार, क्षणभर में बदनाम, तीर-कटार वाणी-वार, रो-रो कर हुआ बेहाल। संशय का.........। तल में अंँधेरा, जग में सवेरा, भेदभाव में है लुटेरा,... Hindi · कविता 6 556 Share Buddha Prakash 21 Jun 2021 · 1 min read अद्भुत चांँद इठलाता इतराता चांँद, जब भी देखूंँ अद्भुत कमाल, आधी अधूरी तेरी कहानी , बढ़ता-घटता जब तू पूरा दिखता , चेहरा तेरा कितना चमकता , सुंदरता की मिसाल है बनता, चांँद... Hindi · कविता · बाल कविता 4 255 Share Buddha Prakash 20 Jun 2021 · 1 min read सूखी-नदिया नदिया तू जो बहती थी, इंसानों से क्या रूठ गई ?...... कल- कल करके गाती थी, कैसे आज तुम सूख गई । नदिया तू जो........... ।।१। टेढ़ी-मेढ़ी गलियों से तू,... Hindi · कविता 7 4 308 Share Buddha Prakash 14 Jun 2021 · 1 min read आशा और विश्वास परिंदों के एक जोड़े, तिनका तिनका है जोड़े; मेहनत और लगन ने, नए मोड़ पर ला छोड़े। आशियाना बना तिनका का, जीवन और शीर्ण-सा; वृक्ष की सूखी टहनी पर, अधर... Hindi · कविता 3 375 Share Buddha Prakash 13 Jun 2021 · 1 min read मातृ-वीर का बलिदान आंँखें ऊँनींदी ,ह्रदय है लाल, मस्तिष्क ओढ़े हुए है काल, बढ़ चला धारण किए, तलवार,भाल और कटार, लथपथ-लथपथ खून से, रणभूमि के द्वार पर, जोश और उमंग भरकर, पीड़ा को... Hindi · कविता 7 529 Share Buddha Prakash 10 Jun 2021 · 1 min read वह गाती एक गीत वह गाती एक गीत, अपने होने का, बहने का, तीव्र गति से, तूफान से, बयांँ करती अपने दुख-सुख, कभी ऊंँची इमारतों पर, कभी घने वन में, सनसनाती, मुस्कुराती, रेंगती, गुजरती... Hindi · कविता 4 549 Share Buddha Prakash 8 Jun 2021 · 1 min read रागिनी देखा उसने मुड़कर, पर पीछे नहीं,आगे। कर दिया भ्रमित, पानी की दो बूँदे। बहे थे पर गगन से नहीं, नैनो के अंबर से । ओस की बूंँदे पड़ी , पर... Hindi · कविता 3 349 Share Buddha Prakash 7 Jun 2021 · 1 min read हौंसला न तोड़िए..... हौंसला न तोड़िए हर- बार कहता हूंँ। अभ्यास करता हूंँ प्रयास करता हूंँ, तिनका- तिनका जोड़ कर एहसास करता हूंँ, आसमां चूमेंगे यह विश्वास करता हूंँ, धैर्य न खोएंगे यह... Hindi · कविता 2 214 Share Buddha Prakash 7 Jun 2021 · 1 min read नन्हीं चिड़ियाँ चिड़ियाँ चूँ- चूँ करती, सुबह-सुबह नभ में विचरती, रंग-बिरंगी दिखती । दाना खाना ढूंँढती, चोंच में भर घर लाती, बच्चों को खिलाती । मधुर-मधुर गाती, खिड़की पर दस्तक दे जाती,... Hindi · हाइकु 6 2 373 Share Buddha Prakash 6 Jun 2021 · 1 min read एक गोरी नारी एक गोरी नारी, तेज तर्रार, तीखी आवाज,पतली कमर, चलती मटक, नजरें सजग, तेरी आवाज लगाती है, कह-कह कर बुलाती है। सिर पर रख, घूंँघट से ढ़क, गली-गली में जाती है,... Hindi · कविता 7 900 Share Buddha Prakash 5 Jun 2021 · 1 min read एक मुसाफिर की प्रतिज्ञा ! भटकता हुआ मुसाफिर ,आश्रय ढूंँढ़ रहा हूंँ। चला आया दूर से, रुका नहीं कहीं पर, गन्तव्य अभी दूर है, जाना न जाने किधर है । राह में मिली एक कुटिया,... Hindi · कविता 4 529 Share Buddha Prakash 3 Jun 2021 · 1 min read बरसात में गलतियांँ बरसात में गलतियांँ हो जाती हैं अक्सर । तैरने जाते पोखर में जमीन खिसक जाती है तल से, कुछ लोग बिछड़ जाते कुछ याद आते हैं इस मौसम में, बरसात... “बरसात” – काव्य प्रतियोगिता · कविता 7 10 381 Share Buddha Prakash 2 Jun 2021 · 1 min read हो गई कविता ! हो गई कविता ! सो गया है दिल, भावनाएं जो उठी थी, दफन हुई महफिल, आग जो लगी थी, कागज में बुझी थी, खो गए शब्द, क्या हो गया अब,... Hindi · कविता 2 2 234 Share Buddha Prakash 2 Jun 2021 · 1 min read रोशन जग सारा जीवन में उन्हें क्या राह दें, जब अंधेरे में ही जीना है। सुबह की खिड़की खोल कर, देर रोशन जग में सोना है। शीतल पवन की मंद मुस्कान, जब हृदय... Hindi · कविता 3 299 Share Buddha Prakash 1 Jun 2021 · 1 min read ख्वाहिशें क्या ख्वाहिशें ? क्या तमन्ना थी ?... उन निगाहों में भी अरमान थे, आरजू भी नेक थी, खोजती कुछ अनेक थी, गिरती हुई लहरों से चोट भी अजीब थी, न... Hindi · कविता 2 2 260 Share Buddha Prakash 31 May 2021 · 1 min read अपनत्व की भावना अपनत्व है मुझे, इन पत्थरों से भी, जिस पर अपना नाम लिखता हूंँ । अपनत्व है मुझे, इन हवाओं से भी, जिनसे मैं अपनी खबर देता हूंँ । अपनत्व है... Hindi · कविता 4 342 Share Buddha Prakash 30 May 2021 · 1 min read दुःख का एहसास दर्द बड़ा है, गम भी है ढेर सारे, अफसोस नहीं करना ।......(१) मातम भी है , परिस्थितियों में बहुत है लड़ना, संघर्ष है करना।.........(२) दुःख आया है, अपनों से दूर... Hindi · हाइकु 3 298 Share Buddha Prakash 30 May 2021 · 1 min read पक्षपात् हंँसती हुई लकीरें लिखी हुई तकदीरें, मचल रहा मन, रुका हुआ तन, पा लूँ चमन में, अपनत्व का रंग, होठों में सजे, हंँसी की किरण । मिटी हुई लकीरें, हस्त... Hindi · कविता 2 574 Share Buddha Prakash 28 May 2021 · 1 min read कलम का आधार रंग-बिरंगे कलम हमारे, सुंदर रंग के अक्षर लिखते । काला नीला लाल हरा, अलग-अलग उपयोग सदा। नीला कलम सदाबहारी, सबको भाती लेख सजाती । लाल कलम अध्यापक का, अनुशासन प्रिय... Hindi · कविता · बाल कविता 5 4 363 Share Buddha Prakash 28 May 2021 · 1 min read तू न आया बरसात में तू न आया बरसात में, बैठी हूंँ तेरे इंतजार में, लगने लगी सावन की झड़ी, याद ना आई एहसास में । मेघा बरसे तू ना तरसे, प्यास बढ़ रही रात... “बरसात” – काव्य प्रतियोगिता · गीत 6 2 548 Share Buddha Prakash 27 May 2021 · 1 min read अपेक्षा क्या कहूंँ उनसे , बागों में खिलते हैं वो। अक्सर मुस्कुराते हैं, खुद को समर्पित करते, राह है उनकी अनजान, अपेक्षा कैसे करें । क्या कहूंँ उनसे....।।१। दर्द भी है... Hindi · कविता 4 2 469 Share Buddha Prakash 26 May 2021 · 1 min read प्रेरणा पल भर काफी है, खुद को जीतने , या हारने के लिए, गगन को चूमने, या धरा को छूने के लिए, पल भर.......।।१। एहसास को जगाने, या निराशा मिटाने के... Hindi · कविता 2 393 Share Buddha Prakash 26 May 2021 · 1 min read नम्रता के आंँसू स्वतंत्रता के खग उड़ रहे व्योम में, देख ये बहेलिया व्याकुल हुआ मन में, क्षुधा अब मिटेगी आज इस तन की , उठा कर शस्त्र दौड़ा पीछे-पीछे, वृक्ष की ओट... Hindi · कविता 3 2 252 Share Buddha Prakash 26 May 2021 · 1 min read बुद्ध धाम बुद्ध धाम पर निकल पड़ा, जन्म लिए हैं बुद्ध जहांँ, लुंबिनी वन में हुआ खड़ा, शाल वृक्ष है बहुत बड़ा, महामाया ने यहांँ पुत्र जन्मा, अनुभव पाकर आगे बढ़ा ।.....।१।... Hindi · बुद्ध गीत 11 4 2k Share Buddha Prakash 24 May 2021 · 1 min read तीव्र उड़ान चांँद को छूने की मन में लहर उठी तीव्र, कैसे पहुंँचे उस तक बना व्यंग्य का तीर, कोशिश थी अभी दूर लक्ष्य बड़ा अजीब, दिन-दिन भर यह सोचा करता, सीढ़ी... Hindi · कविता 4 4 486 Share Buddha Prakash 23 May 2021 · 1 min read बरसात की छतरी रंग-बिरंगी छतरी आई, छोटी-बड़ी लगे सुंदर-सी । रिमझिम-रिमझिम बरसात में, बूंँदों से बचूँ आज मैं । टिप-टिप पानी टपक रहा है, घन केश के छांँव में । भीग-भीग कर नहीं... “बरसात” – काव्य प्रतियोगिता · बाल कविता 12 10 1k Share Buddha Prakash 21 May 2021 · 1 min read क्रोध भड़कती हुई ज्वाला नहीं, दहकती हुई आग नहीं, चढ़ता हुआ ज्वार नहीं, उतरता हुआ खुमार नहीं, कहीं और भी तीव्र है, अंधकार में लीन है ।.....(१) काल का आकाल नहीं,... Hindi · कविता 3 2 333 Share Buddha Prakash 20 May 2021 · 1 min read बरसात का जल सबको रिझाता जब भी बरसात का मौसम आता, दानव-सा बादल छा जाता, काले-काले और बड़े- बड़े , दिखते हैं खूब घने, लेकर जल सागर से, आकर छत के ऊपर खड़े, सूरज को... “बरसात” – काव्य प्रतियोगिता · कविता 5 6 348 Share Buddha Prakash 19 May 2021 · 1 min read प्रतिबिम्ब पूरब पश्चिम उत्तर दक्षिण, चारों दिशाएँ अलग-अलग । खड़ा था मैं उस बीच भंँवर में, फंँस गया अपने ही चक्रव्यूह में । उत्सुक हो जाल बिछाया, स्वयं को उसके अंदर... Hindi · कविता 2 232 Share Buddha Prakash 17 May 2021 · 1 min read वृक्ष हमारे सच्चे दोस्त वृक्ष हमारे सच्चे दोस्त, हरे-भरे और छोटे-बड़े । जीवनदान हमें देते हैं, शुद्ध हवा दे राहत देते हैं । मीठे-मीठे फल भी देते हैं, धूप में छांँव देते हैं ।... Hindi · कविता · बाल कविता 2 394 Share Buddha Prakash 17 May 2021 · 1 min read दामिनी वक्त बेवक्त जूझ रही 'दामिनी', धरा के दामन में मिट गई 'दामिनी', हर लमहें हर धुऐं में सिमट गई 'दामिनी', आंँसुओं की हर बूंँद में बह गई 'दामिनी', हृदय में... Hindi · कविता 2 305 Share Buddha Prakash 16 May 2021 · 1 min read बरसात आई झूम के... बरसात आई झूम के...। पवन करे शोर, कोयल की मधुर गुंजन, मयूरा नाचे भोर, चिड़िया की चीं-चीं सुनकर, मन बहलाए घन-घोर । बरसात आई झूम के...।।१। गरज रहे हैं तीव्र... “बरसात” – काव्य प्रतियोगिता · कविता 10 12 780 Share Buddha Prakash 15 May 2021 · 1 min read भय का प्रताप भय यह अंतहः उपज है, स्वयं बना यह प्रलय है, हृदय विदारक कंपन है , वृक्ष मूल का नाश है , आत्मविश्वास का विनाश है , तीव्र गति की चाल... Hindi · कविता 3 566 Share Buddha Prakash 14 May 2021 · 1 min read दया करो भगवान दया करो भगवान .....। त्राहि-त्राहि मचा हुआ है, तेरे इस संसार में , कण-कण में तू बसा हुआ है, नर के इस कंकाल में । दया करो.........।।१। सूझ-बूझ नहीं है... Hindi · बुद्ध गीत 9 2 1k Share Buddha Prakash 13 May 2021 · 1 min read अथक परिश्रम सोच रहा है व्याकुल मन, बरसेगा घनघोर घना-घन, तृप्ति मिले कैसे रहकर , जल में डूबा भास्कर का बिंब । उलझे बीच भंवर में , विषधर व्याल मथ रहा सागर... Hindi · कविता 4 2 342 Share Buddha Prakash 11 May 2021 · 1 min read शिखर ऊँची- ऊँची शिखरों को, छूने का उत्साह हुआ । थक- कर जब चूर हुए, फिर भी मन में विश्वास रहा । बुलंदियों को पाने को, प्रश्न चिन्ह का मार्ग बना... Hindi · कविता 4 6 324 Share Buddha Prakash 9 May 2021 · 1 min read ममता की मूरत 'माँ' सुबह-सुबह जब आंख खुली, माँ की ममता की ओस पड़ी ।...(१) आंखों से ओझल होते ही, माँ नैनो से खोज चली ।...(२) आँचल के साये से दूर जाते, सुध-बुध माँ... Hindi · कविता 4 759 Share Buddha Prakash 7 May 2021 · 1 min read विजय पथ उल्का पिण्ड बरसते रहे , फिर भी हम उन्हें सहते रहे । उस नीरस आंखों में आंसू न झलके, हृदय की प्यास गहरती रही । भाप बन कर उड़ गई... Hindi · कविता 5 4 564 Share Previous Page 10 Next