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Tag: ग़ज़ल/गीतिका
180 posts
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ग़ज़ल:- वो बेहद हठधर्मी थी...
ग़ज़ल:- वो बेहद हठधर्मी थी...
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल:- राख को बारूद कर आतिश न कर...
ग़ज़ल:- राख को बारूद कर आतिश न कर...
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- नई ग़ज़लों में ख़याल अब भी पुराने होंगें...
ग़ज़ल- नई ग़ज़लों में ख़याल अब भी पुराने होंगें...
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- नज़र जहाँ भी दौड़ाई
ग़ज़ल- नज़र जहाँ भी दौड़ाई
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- गुलशन में कंगाली है...
ग़ज़ल- गुलशन में कंगाली है...
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- समझो हमको शूल हैं हम...
ग़ज़ल- समझो हमको शूल हैं हम...
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- बात जुबा से रहने दो...
ग़ज़ल- बात जुबा से रहने दो...
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- सूरज के डूबते ही ये तारे निकल पड़े...
ग़ज़ल- सूरज के डूबते ही ये तारे निकल पड़े...
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- शादमानी के लिए अब इक़ दीवानी चाहिए...
ग़ज़ल- शादमानी के लिए अब इक़ दीवानी चाहिए...
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- पिया मिलन की घड़ी है विदाई का आलम...
ग़ज़ल- पिया मिलन की घड़ी है विदाई का आलम...
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- नित नये आयाम की तैयारी रख...
ग़ज़ल- नित नये आयाम की तैयारी रख...
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- युग युगों तक जो सुनें जग वो कहानी चाहिए।
ग़ज़ल- युग युगों तक जो सुनें जग वो कहानी चाहिए।
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
अभिनन्दन
अभिनन्दन
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- भारत के नक्शे में ये, जापान ढूँढते हैं...
ग़ज़ल- भारत के नक्शे में ये, जापान ढूँढते हैं...
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- क़द नापिये न आप मेरा आसमान हूँ...
ग़ज़ल- क़द नापिये न आप मेरा आसमान हूँ...
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- वो साथ छोड़कर मेरा शायद भटक गये...
ग़ज़ल- वो साथ छोड़कर मेरा शायद भटक गये...
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- दिल में मिलन की आस रहने दो...
ग़ज़ल- दिल में मिलन की आस रहने दो...
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- रहे जो दिल में वही हमको भूलते अक़्सर...
ग़ज़ल- रहे जो दिल में वही हमको भूलते अक़्सर...
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- नही सुगंध मिलेगी तुझे ज़माने में
ग़ज़ल- नही सुगंध मिलेगी तुझे ज़माने में
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- तड़पता छोड़ के अक़्सर वही तो जाते हैं...
ग़ज़ल- तड़पता छोड़ के अक़्सर वही तो जाते हैं...
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- मेरे अज़ीज मेरा चीर खींच लेते हैं...
ग़ज़ल- मेरे अज़ीज मेरा चीर खींच लेते हैं...
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल:- खुद पर ही शर्मिंदा हैं..
ग़ज़ल:- खुद पर ही शर्मिंदा हैं..
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- लगा के दाग़ मुझे माहताब कर डाला...
ग़ज़ल- लगा के दाग़ मुझे माहताब कर डाला...
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल - जिसे हक़ीम समझ नब्ज़ हम दिखाते हैं....
ग़ज़ल - जिसे हक़ीम समझ नब्ज़ हम दिखाते हैं....
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- गमों की रात है काली घना अंधेरा है..
ग़ज़ल- गमों की रात है काली घना अंधेरा है..
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- तेरे हर इक ख्वाब को ताबीर कर दूँ..
ग़ज़ल- तेरे हर इक ख्वाब को ताबीर कर दूँ..
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- हो रहा बदनाम तो अब होने दो...
ग़ज़ल- हो रहा बदनाम तो अब होने दो...
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- इस क़दर नैना कटीले हो गये...
ग़ज़ल- इस क़दर नैना कटीले हो गये...
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- आज सब का हिसाब कर दूँगा...
ग़ज़ल- आज सब का हिसाब कर दूँगा...
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
हज़ल- गप्पों में मेरी दर्शक तल्लीन हो गए हैं
हज़ल- गप्पों में मेरी दर्शक तल्लीन हो गए हैं
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- आप काटोगे वही जो कभी बोया होगा।
ग़ज़ल- आप काटोगे वही जो कभी बोया होगा।
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- जोड़कर इन सरफिरों को क्या करोगे
ग़ज़ल- जोड़कर इन सरफिरों को क्या करोगे
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल:-तुम हमारे हम तुम्हारे हो गए हैं आज से...
ग़ज़ल:-तुम हमारे हम तुम्हारे हो गए हैं आज से...
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- जल रही है नारियां पद्मावती के भेष में..
ग़ज़ल- जल रही है नारियां पद्मावती के भेष में..
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- दागदा दामन था जिसका, आज वो मशहूर है
ग़ज़ल- दागदा दामन था जिसका, आज वो मशहूर है
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
गजल- आप ही हमराज मेरे, आप ही सरकार हो..
गजल- आप ही हमराज मेरे, आप ही सरकार हो..
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
गजल - न छोड़े साथ जीवन भर वो जीवन संगनी हो तुम
गजल - न छोड़े साथ जीवन भर वो जीवन संगनी हो तुम
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- इक़ ख़्वाब दिल में पल रहा...
ग़ज़ल- इक़ ख़्वाब दिल में पल रहा...
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- तस्वीर तुम्हारी में, इक़ हूर नज़र आये
ग़ज़ल- तस्वीर तुम्हारी में, इक़ हूर नज़र आये
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- महबूब ही ख़ुदा मेरा महबूब बंदगी.....
ग़ज़ल- महबूब ही ख़ुदा मेरा महबूब बंदगी.....
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- अदब की ज़िंदगी मे क्या कमी है...
ग़ज़ल- अदब की ज़िंदगी मे क्या कमी है...
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल - न मस्जिदों में खुदा शिव नहीं शिवालों में
ग़ज़ल - न मस्जिदों में खुदा शिव नहीं शिवालों में
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- जमाना देखिये कितना बिगड़ गया साहिब
ग़ज़ल- जमाना देखिये कितना बिगड़ गया साहिब
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- वफ़ा के नाम पे अब बेवफाई आम हुई...
ग़ज़ल- वफ़ा के नाम पे अब बेवफाई आम हुई...
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- तीर अब बाकी नही हैं अर्जुनी तूणीर में
ग़ज़ल- तीर अब बाकी नही हैं अर्जुनी तूणीर में
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- देखकर शोहरत मेरी क़ातिल जमाना हो गया
ग़ज़ल- देखकर शोहरत मेरी क़ातिल जमाना हो गया
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल:- मेरी दौलत मेरी शौहरत, रब की ही सौग़ात है
ग़ज़ल:- मेरी दौलत मेरी शौहरत, रब की ही सौग़ात है
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- प्यार के दरिया में रहकर प्यार की ही प्यास थी
ग़ज़ल- प्यार के दरिया में रहकर प्यार की ही प्यास थी
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल:- मुझको यकीं उस पर बहुत, मेरा सनम बस एक है..
ग़ज़ल:- मुझको यकीं उस पर बहुत, मेरा सनम बस एक है..
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
ग़ज़ल- हुआ मददा बहुत व्यापार साहब।
ग़ज़ल- हुआ मददा बहुत व्यापार साहब।
अरविन्द राजपूत 'कल्प'
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