Mahender Singh Language: Hindi 807 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Previous Page 11 Next Mahender Singh 24 Apr 2020 · 1 min read सिर्फ़ दुपहरी का विश्राम दिन बीत गया, गुजर गई रात, भूल गये भला जबसे, दोपहरी सा विश्राम, . हलधर छोड़ बैल, वो पेड़ की छाँव, बैल जुगाली करते, कृषक करें विश्राम, . ढलती दुपहरी... Hindi · कविता 3 1 514 Share Mahender Singh 14 Apr 2020 · 1 min read भगवान रुप ब्लैक-होल. मंदबुद्धि/तर्कहीन/असहाय/दीनहीन/निर्धन/कमजोर. मार्ग है भक्ति, साधन:- कल्पना/थाली/मूर्ति/पूजा/आराधना/उपासना साधक यानि भक्त उपर्लिखित चीज़ें को उपलब्ध हो. बात थोड़ी विरोधाभासी लगती है. एक ऐसा आयोजन जिसमें सामग्री की आवश्यकता स्पष्ट जग जाहिर है.... Hindi · लेख 4 2 274 Share Mahender Singh 13 Apr 2020 · 1 min read उम्मीद टूट जाना, टूटकर जुड़ जाना, रूठे को फिर से मना लेना, हारकर थककर जो थे सोये, भौंर भई बन उम्मीद आगे बढे, कहीं उम्मीद लेकर जाते हो, करना तुम्हें ही... Hindi · कविता 2 3 269 Share Mahender Singh 11 Apr 2020 · 1 min read दोपहर के समय दिन देखया न रात, कितके सुबेरा शाम, याद रहया हरदम, यो दुपहरी का घाम, यो दुपहरी का घाम,चाहवे घणा आराम, मजूर माणस निभाते, भूले नमक हराम, ढोर बैठ जुगाली करते... Hindi · कुण्डलिया 3 6 547 Share Mahender Singh 5 Apr 2020 · 2 min read न्यायालय और व्यवस्था एक *महिला मित्र ने पूछा है की :- क्या *न्यायालय में *न्याय मिलता है ? . अब ये भला कोई *पीडित थोड़े पूछेगा ! एक *अहंकार से ग्रस्त मनुष्य ही... Hindi · लेख 5 3 525 Share Mahender Singh 23 Mar 2020 · 1 min read बेहोशी छोडे कानों में लीड लगी,ढांप कर चले मुँह. नियति ख्याल किसे,खोपडी चढ़े बूह. खोपडी चढ़े बूह, कौन किसको गामे, खुद मतवाले इतने,न सुने न ही शामे, टोके ये प्रबुद्ध समाज, छोड़... Hindi · कुण्डलिया 2 1 268 Share Mahender Singh 22 Mar 2020 · 1 min read दरकरार नोटों की **दरकरार सबको हैं, अभी *धर्म और **सरकार को तुमसे भी ज्यादा ***जरूरत हैं, तुम पर जो ***प्रतिबंध लगे हैं , ये उनकी *जरूरत *कतई नहीं, ये तुम्हारी अपनी... Hindi · कविता 2 1 254 Share Mahender Singh 21 Mar 2020 · 1 min read संवाद जब उडते हुये ये **पराग कण, बन सकते है बोझ सैंकड़ों मण, है ये कौन सी परीक्षा के क्षण, बिन खोज़ मिले आदमी विभिषण, . फुटपाथ पर न *थूकने की... Hindi · कविता 2 1 409 Share Mahender Singh 21 Mar 2020 · 1 min read जागरण शुद्धावस्था कर ले रे बंदे *भक्ति, भक्ति में है ***शक्ति, उम्र दराज नहीं मैं *व्यक्ति, *जागरण ही मेरी अभिव्यक्ति. * खुद का संग कर ले, *ठोकरें नहीं लगेगी, मत बन भीड़... Hindi · कविता 3 3 233 Share Mahender Singh 18 Mar 2020 · 2 min read ठग वो भी है जो मनुष्य की व्यवस्था को ईश्वर की बताते हैं किसी दूसरे ने गलत किया, इसलिये हम सही हैं, को जायज ठहरा कर, काम करनेवाले भी, #धार्मिक होते है #व्यंग्य. . किसी की गलतियों पर, खुद को सुकून देने के... Hindi · लेख 2 2 1k Share Mahender Singh 16 Mar 2020 · 1 min read टूट गई माँ की ममता गिरकर उठना उठकर गिरना गिरकर उठना उठकर चलना . दर्शक का हँसना खुशी में नहीं समाती है, *अपाहिज़ नहीं हैं *वह, यह बात *पक्की जब हो जाती है, बार-बार सीने... Hindi · कविता 2 1 386 Share Mahender Singh 14 Mar 2020 · 1 min read परमार्थ अपने घर की छाछ को खट्टा कौन बतावे, अनेक घरों की छाछ जब घुल मिल जावे, तब हकीकत सामने आने से छुपती जावे, कढ़ी बाजरे से गोवर्धन स्वादिष्ट बन आवे,... Hindi · कविता 3 4 309 Share Mahender Singh 11 Mar 2020 · 1 min read वसुधैव कुटुम्बकम आदमी खड़े होकर चले, रेंगते हुए आगे बढ़े. रंगीन कपड़े कब से खरे. प्राकृतिक चक्र अचूक बडे, राष्ट्रवाद बडा के वसुधैव कुटुम्बकम बडा, कैसे हो जीव से जीवन के भले.... Hindi · कविता 2 2 262 Share Mahender Singh 10 Mar 2020 · 1 min read एक अबूझ पहेली *त्रिदेव (ब्रह्मा/विष्णु/महेश) *श्रीकृष्ण *श्रीराम * सतयुग *त्रेतायुग *द्वापरयुग *कलयुग *सनातन *शाश्वत क्या है ? मुक्ति/मोक्ष क्या है ? विचारक/दार्शनिक किस श्रेणी के. आस्तिक/नास्तिक क्या शिक्षक गुरु तुल्य है. क्या कथा... Hindi · लेख 3 2 346 Share Mahender Singh 9 Mar 2020 · 1 min read विचार प्रवाह प्रेरित होकर जो बढ़े, नहीं रहता मोहताज़, सफलता वा की दासी,सदा सजे सिरताज़ . वार त्यौहार इतवार, कैसे मनोरोग उपचार, एक दिन की व्यवस्था, किस विध तारे पार, . न... Hindi · दोहा 2 1 309 Share Mahender Singh 8 Mar 2020 · 1 min read अनपढ़ क्यों है खरा क्या क्या लिखकर भेजा है, देखो पढ़कर भेजा भरने भेजा है, हैं जो अनपढ़ वे ही सुनते हैं. कहते भी हैं, बहुत खरा-खरा, जिस किसी को भी अखरा, वह ही... Hindi · कविता 2 3 560 Share Mahender Singh 25 Feb 2020 · 1 min read भक्तिभाव एक लकवा गिरे तो गिरे पर इससे ज्यादा और ना गिरें, पदासीन लोगों को हमदर्दी इसमें भी चाहिए, उठाने दौड़ी जनता, झट से फिर धड़ाम गिरे, जब भी समर्थन खिसका हररोज नया... Hindi · कविता 3 481 Share Mahender Singh 15 Feb 2020 · 1 min read रहस्य दर्शन चुन चुनकर बुने बुनाये खुद ही पैदा कर डोर लिये खुद के हाथ पारस भी हंसा जहां तक सबकुछ खुद ही व्यवाहरिक विध्वंसक रचनात्मक प्रकृति है अस्तित्व है गतिविधियाँ विरासत... Hindi · कविता 3 499 Share Mahender Singh 14 Feb 2020 · 1 min read सुनो अवश्य समझा पावोगे डरा सो मरा ✍️ मृत्यु सबको आती है. सबको पढ़ाया जाता है. मानने को कोई तैयार नहीं. गीता सिर्फ़ हाथ रखकर मौके भुनाने के लिये है. एक व्यक्ति नहीं. विशेष... Hindi · कविता 3 1 473 Share Mahender Singh 14 Feb 2020 · 1 min read सत्ताविहीन कुछ रचनाएं हो बहुत कुछ घटे तभी तो होगी. मिला है सभी को संभाल पाओगे तभी तो अपनी होगी. गुजार दिया हर मंजर देखते देखते कोई विरोध विद्रोह हो तभी... Hindi · कविता 4 3 379 Share Mahender Singh 12 Feb 2020 · 1 min read एकमात्र सत्य असत्य और सत्य अज्ञान और ज्ञान नफरत और प्रेम कमजोर वा प्रबल . द्वंद्व वा द्वैत. ये ही तो वो दो छोर है. इस और हैं या उस उस ओर... Hindi · कविता 4 1 257 Share Mahender Singh 3 Feb 2020 · 1 min read राष्ट्रवाद में उदाहरण कौआ सुनावे कर्कश मधुर संगीत कोयल करती कूँ कूँ काँव काँव ऋतु बसंत सी नहीं बहार. जो सजाये राग मलहार. जो आये पसंद आपको. छद्म राष्ट्रवाद है ये घटाटोप अंधेरे... Hindi · कविता 2 2 377 Share Mahender Singh 27 Jan 2020 · 1 min read संवैधानिक ईकाई *वोट लोकतंत्र संविधान *ईकाई /वोट/समर्थन/निर्णायक/पक्षधर अधिकार/अधिकारी कर्तव्य/लॉयब्लिटी/जिम्मेदारी या यूं कहे साक्षरता के लिए. वर्णमाला, शब्द, वाक्य, प्रयोग आवश्यक. अगर मकान के निर्माण में *ईंट ईकाई है. शरीर की संरचना में *कोशिकाएं.... Hindi · लेख 3 1 463 Share Mahender Singh 26 Jan 2020 · 1 min read अधिकार और कर्तव्य/गणतंत्र के कसीदे. मनाता तो हूँ पर मना कहाँ पाता हूँ. आज की जय जयकार कल फिर वही अत्याचार व्याभिचार. खड़े होकर द्वार से खाली लौट आता हूँ. जिनकी हूँ रोजीरोटी रजाई तक... Hindi · कविता 3 1 405 Share Mahender Singh 25 Jan 2020 · 1 min read धार्मिक अवधारणा और इंसानियत इंसानी फितरत और धर्म - - - - - - - - - - - - - - - *इंसानियत की पहचान होते ही तो सब *तथाकथित *धर्म सब गिर... Hindi · लेख 3 1 244 Share Mahender Singh 24 Jan 2020 · 1 min read स्वतंत्र है फितरती सफ़र धार्मिकता एक तर्ज, भूल गये सब *फर्ज, खुद पर ही चढे कर्ज, खोजते रहे अब मर्ज, पैदा करने होंगे *तर्क. बहुत होगा इनसे फर्क, झड जायेगा बहुत गर्द, तब जाकर... Hindi · कविता 4 1 539 Share Mahender Singh 24 Jan 2020 · 2 min read अमावस्या और पूर्णिमा एक खगोलीय घटना अमावस्या/पूर्णिमा/सूर्य-ग्रहण/चंद्र-ग्रहण विचारक/दार्शनिक व्यक्तित्व की देन, धर्म/धार्मिक/अंधभक्त कल भी/ आज भी वंचित/दुखी थे और रहेंगे. दासता की विचारधारा अपने आसपास का माहौल भी दयनीय रखना. . धर्म का... Hindi · लेख 4 1 277 Share Mahender Singh 24 Jan 2020 · 2 min read मन और अनुबंध मनुष्य एक मात्र विचारवान/ निर्णय-सम्मत/कल्पनाशील/याद्दाश्त/बुद्धिजीवी प्राणी है. ये सबमें व्यक्तिगत तौर से किसी मनुष्य में इक्ट्ठे नहीं मिलती. यह किसी व्यक्ति-विशेष या धर्म कौम के संस्कार संस्कृति भी नहीं. मन... Hindi · लेख 3 1 379 Share Mahender Singh 24 Jan 2020 · 1 min read प्रेम जीवनाधार प्रेम कहानी बनता है प्रेम परमात्मा का द्वार. प्रेम इक परम उपहार. प्रेम फितरत से निपजे, जाने कोई जाननहार. प्रेम होता है यह आयोजन से बाहर. प्रकृति अंतस की होती... Hindi · कविता 2 202 Share Mahender Singh 24 Jan 2020 · 1 min read कैसा इत्तेफाक आजकल के नंदलाल बेरा नहीं किस भांति/ गडती नाल, थोथे बजावे गाल, खाणनै चाहिए माल़, आँखया मह नहीं लाज. औरां कै बाँधे ताज, बाहण बेटी की शर्म नहीं, टूट लिया... Hindi · कविता 3 1 301 Share Mahender Singh 18 Jan 2020 · 2 min read व्यवाहरिक छलावा और गुलाम भारत. एक *व्यवहार एक *वाद और एक ही *विवाद एक *जरूरत एक *आदत और एक ही *फसाद धर्म और उसके उत्पाद. -----////--//-/-------//-- इन सबसे जन्मे पूँजीवाद/उद्योग/समाजवाद/साम्यवाद/नाजीवाद/फासिज्म एक *योजना *आपसी-तालमेल में प्रमुख... Hindi · लेख 3 2 585 Share Mahender Singh 14 Jan 2020 · 1 min read छद्म राष्ट्रवाद देखकर तुम्ही से सिखा, सवाल पूछना गुनाह है ! पूछने जो चाहे पूछ लो, देशद्रोही से *दाग होंगे, राष्ट्रवाद में *फरमान है. अभिव्यक्ति पर लगाम है आजादी शब्द से परहेज़.... Hindi · कविता 3 1 663 Share Mahender Singh 12 Jan 2020 · 1 min read व्यवस्था और लोकतांत्रिक सुविधाएं व्यवस्था कई भांति की होती है. एक सार्वजनिक व्यवस्था जिसका संबंध सीधे प्रकृति और अस्तित्व से है उससे इंसान केवल सगज रहकर आपदाओं से बच सकता है. लड़ नहीं सकता.... Hindi · लेख 3 1 521 Share Mahender Singh 12 Jan 2020 · 1 min read व्यवस्था और जनप्रतिनिधि लघुकथा ******* आज सुबह करीब 9 बजे बेटे हर्ष को लेने. जिसने मैराथन दौड़ में हिस्सा लिया था. हुड्डा ग्राउंड जाना हुआ, वहीं पर एक चौक है, चौधरी रणबीर सिंह... Hindi · लघु कथा 3 1 344 Share Mahender Singh 4 Jan 2020 · 2 min read आदत बदली है ये तो बदलेगी, न बदली तो, तुम्हें बदलेगी, दावाग्नि है ये, नहीं बुझी तो, हम सबको, बदलेगी, बदली है ये तो, बदलेगी. कद ऊँचे नहीं ये करती हैं... Hindi · कविता 5 3 380 Share Mahender Singh 4 Jan 2020 · 1 min read कुछ सवाल क्या एक अच्छा वक्ता ? अच्छा शासक हो सकता है. क्या नींव भरने के बाद ? मकान के डिजाइन में संभावनाएं बचती हैं ? क्या धर्म/मजहब/जीवनशैली भावनात्मक लगाव मूलभूत सुविधाएं... Hindi · लेख 4 1 278 Share Mahender Singh 2 Jan 2020 · 1 min read राष्ट्रवाद और भेष कितनी अच्छी लगती है राष्ट्रवाद की बातें ....आ..हा.. मैं तो कहता हूँ ..हो सिर्फ़ देशहित की बातें हो सिर्फ़ गौदान की बातें, क्यों हो भला कन्यादान , पोषित हो जिससे... Hindi · कविता 3 416 Share Mahender Singh 2 Jan 2020 · 1 min read बिन जीव सब कंकाल ये आस्था/विश्वास/ये ट्रेंडिंग जिस इंसान को खुद ईश्वर ने पैदा किया, उसी इंसान ने मतलबी भगवान. जो देख नहीं सकता उसे आँखें, जो देख सकता है उसे मस्तिष्क, नहीं दिया.... Hindi · कविता 4 259 Share Mahender Singh 31 Dec 2019 · 1 min read झाडफूंक और चिकित्सा भारत विभिन्नताओं का देश है. यह परिवेश हर क्षेत्र में झलकता है. चिकित्सा के क्षेत्र में ईलाज में भी. ईलाज से पहले बीमारी का उद्गम/उद्भव मालूम आवश्यक है. बीमारियों के... Hindi · लेख 5 1 490 Share Mahender Singh 29 Dec 2019 · 1 min read राष्ट्रवाद या देशद्रोह जला करते थे जो दीपक इन हवाओं में खिलते है जो फूल इन फिज़ाओं में दरकिनार है आज तूफानों की परवाह किसे इनकी मूल जड़ें बहुत गहरी है बुझकर जलना.... Hindi · कविता 3 215 Share Mahender Singh 29 Dec 2019 · 1 min read परिपक्वता पापा के दोस्त और बेटे के दोस्त, एक लघुकथा जो परिपक्वता पर आधारित, एक रात मैंने अपने बेटे गौरव को शिक्षार्थ नींद से जगाया, और एक समस्या का ब्यौरा दिया,... Hindi · लघु कथा 5 2 715 Share Mahender Singh 27 Dec 2019 · 1 min read प्रकृति राष्ट्रवाद से अनभिज्ञ लघुकथा :- ******* वह देश के साथ बिलकुल नहीं था, एक बार के विद्रोह ने ही पोल खोल दी वह तिलमिला गया, उसने अब जो भी प्रस्तुतियां दी थी, ये... Hindi · लघु कथा 3 1 458 Share Mahender Singh 21 Dec 2019 · 1 min read मेरा भारत महान धातु धातु होती है द्रव गैस गैस द्रव पानी पानी है सभी द्रव्य नीचे धरातल ऊपर आकाश, लहू लहूलुहान हुआ, बताओ अब इनकी जाति जाति है के जाती नहीं ये... Hindi · कविता 3 1 452 Share Mahender Singh 21 Dec 2019 · 1 min read कवाब पर हड्डी माना की बहरे हो पर अन्धे भी हो ये तुमने सिद्ध कर दिया, अब दिमाग कोई मायने नहीं रखता, जो मन आये वो करो ऐसा भी हरगिज़ नहीं होगा. आज... Hindi · कविता 4 1 466 Share Mahender Singh 18 Dec 2019 · 1 min read रहस्य बेनकाब मत दे *जवाब भले चुप रह, तेरा *आगाज़ तो बता दिखा, कैसे है तू सरताज़ बना हुआ, काबिल तू नहीं न ही काबिज, हरेक लेता तेरा नाम क्यों भला. डॉ.... Hindi · मुक्तक 4 1 503 Share Mahender Singh 17 Dec 2019 · 1 min read जरूरत @लघुकथा एक दिन रास्ते से गुजरते हुए बस यूं ही देखते हुए गुजर रहा था जिन लोगों ने कूड़ा समझकर डाल दिया था, कुछ लोग उसे इकट्ठा कर रहे थे, यही... Hindi · लघु कथा 3 512 Share Mahender Singh 17 Dec 2019 · 1 min read उतावला बहुमत सरकार के उतावलापन या पूर्ण बहुमत के फैसले ? ( उदाहरण नंबर 1 ) वैद्य जी बहुत बार मरीज आकर आपसे पूछते है. मुझे नहीं मालूम मुझे क्या हुआ है... Hindi · लेख 4 3 241 Share Mahender Singh 16 Dec 2019 · 1 min read नजरिये नजरअंदाज नहीं होते वो शासक ही क्या ? जिससे प्रजा नाराज न हो ? उठे विरोध और भी ज्यादा ? जो लगे काम हुये ! और भी ज्यादा ! जो माँगे रोटी दिखाकर... Hindi · कविता 4 2 280 Share Mahender Singh 14 Dec 2019 · 1 min read भारतीय लोकतंत्र प्रथम कुछ तो है मेरे देश समाज में, जो इतने हैं खफ़ा खफ़ा, सबकुछ एक है जैसा, फिर भी सबकुछ जुदा जुदा. गर अतीत में है जहर , क्या मिटाना असंभव... Hindi · कविता 4 4 592 Share Mahender Singh 14 Dec 2019 · 1 min read जाग रे जोगिया @गीत रंग रे जोगिया रंग ले तन नहीं मन नहीं रंग रे जोगिया हटे पसंद खुले नींद उठ जाग रे हटे रंग समझ बदरंग प्रेम संग पैदा हो प्रीत सेवा हो... Hindi · गीत 3 657 Share Previous Page 11 Next