Umesh उमेश शुक्ल Shukla 225 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Previous Page 2 Next Umesh उमेश शुक्ल Shukla 28 Jan 2022 · 1 min read नेताओं की होगी पौ बारह यूपी के हर क्षेत्र में अब है विधानसभा चुनाव की धूम जनता को मोहने के लिए अनेक जादूगर रहे हैं घूम बातों और शब्द जाल से वो सब जुटा रहे... Hindi · कविता 178 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 25 Jan 2023 · 1 min read करिए विचार गणतंत्र दिवस पर गौर से करिए आप विचार देश औ समाज निर्माण में आप कितने भागीदार चिंतन, मनन से ही मिलेंगे आप को प्रश्नों के जवाब तब शायद कभी नहीं... Hindi 250 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 12 Jan 2022 · 1 min read लोकतंत्र लोकतंत्र तभी और मजबूत हो जब निरंतर होते रहें बदलाव अन्यथा सत्ताधीश खुद को मान बैठते हैं भाग्यविधाता का पर्याय जनता के लिए मुफीद यही कि वो बदलती रहे सदा... Hindi · कविता 171 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 6 Feb 2022 · 1 min read लताजी को नमन जिनके स्वरों के मुरीद रहे पूरे भारत के नर औ नारी संगीत क्षेत्र में रहा जिनका स्थान सदा औरों पर भारी माँ सरस्वती की कृपा उन पर रही सदा सर्वदा... Hindi · कविता 2 2 168 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 2 Jul 2022 · 1 min read विधाता दुनिया के इस रंग मंच का निर्देशक है विधाता उसकी मर्जी से ही हरेक शय अपना रोल निभाता उसकी इच्छा से निर्मित हुए इस ब्रह्मांड के सभी सितारे दिन और... Hindi 1 186 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 21 Apr 2023 · 1 min read हे माधव हे माधव तुमको समर्पित वैशाख का समूचा मास जप, पूजा, ध्यान सहित करें लोग व्रत औ उपवास यद्यपि जग माने हर जीव में सदा ही तुम्हारा निवास फिर भी वैशाख... Hindi 260 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 8 Jul 2022 · 1 min read नफरत नफरत के शोलों को निरंतर हवा दे रहे वोटों के व्यापारी जाति धर्म के खांचों में बंटी जनता की मति गई है मारी सब कुछ जान बूझकर भी लोग आफत... Hindi 174 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 22 Jul 2022 · 1 min read पग पग में विश्वास खामोश हैं लब पर पग पग में विश्वास नए मुकाम पे पहुंच रच देंगे नया इतिहास कंधे पर लटकते बैग में सिमटी यारों की दुआएं नदिया की तरह बहकर हम... Hindi 177 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 16 Nov 2022 · 1 min read छल प्रपंच का जाल हर तरफ पसरा हुआ है अब छल प्रपंच का जाल ऐसे में हर आदमी दिख रहा मन से ही बदहाल अविश्वास की रेखाएं घनी हो रही इत उत चहुंओर फिर... Hindi 1 2 226 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 15 May 2022 · 1 min read क्यों मौन हम अपने कूचे में मुद्दतों से क्यों मौन साधे पड़े हुए हैं कौन ऐसी बेबसी है कि लब पे ताले जड़े हुए हैं जुल्म और मनमानियां क्यों बन गई हैं... Hindi · मुक्तक 176 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 6 Mar 2023 · 1 min read महंगाई का दंश रंग, अबीर और गुलाल सब पर महंगाई का दंश जनता में दिखता नहीं कहीं होली पर्व का खास उमंग गुझिया और नमकीन के भी काफी ऊंचे हो गए हैं दाम... Hindi 1 1 207 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 11 May 2023 · 1 min read सुकर्म से ... हर मनुष्य के लिए जन्मदिन का जीवन में खास महत्व हर साल एक खास दिन पर जागृत होता है उसका स्वत्व ग्रह, नक्षत्र और लग्न का हर व्यक्ति के लिए... 1 200 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 28 Jun 2022 · 1 min read मित्रों की दुआओं से... सभी मित्रों की दुआओं से मिलती ऊर्जा अपार रुक रुक याद आते रहे जीवन में मिले सभी किरदार दुश्वारियों ने बहुत कम कर दिया मिलने जुलने का दौर यादों में... Hindi 166 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 9 Mar 2023 · 1 min read दलदल में फंसी अब दिखते ही नहीं हैं कहीं गली के जादूगर सूचना तकनीकी ने कर दिया है उन्हें बेअसर हाथों को दिनभर व्यस्त रखते अब मोबाइल फोन उनके जाल में उलझे लोग... Hindi 203 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 12 Jan 2022 · 1 min read दल बदल का खेल यूपी के सियासी मंच पर जारी दल बदल का खेल सत्ता पर कब्जे को कर रहे नए सिरे से तालमेल सत्तानशीनों के हमकदम भी अब बदल रहे हैं पाला नुक्स... Hindi · कविता 154 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 24 Apr 2023 · 1 min read दलदल दलदल में तब्दील हो गई वर्तमान राजनीति दूजों की ईंटें झटककर सब दल बना रहे भीत ईंटें अव्वल या दोयम हैं ये वोटर को करना पहचान जो चुनाव में चूके... Hindi 228 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 31 Mar 2022 · 1 min read सुनो हे इंद्रप्रस्थ सरकार ! सुनो हे इंद्रप्रस्थ सरकार! अब महंगाई है अपरंपार रोटी.दाल औ सब्जी सब पर महंगाई का भूत सवार डीजल.पेट्रोल के मूल्य कर रहे हैं सबका जीना दुश्वार दीनदयाल की कसम तुम्हें... Hindi · कविता 1 2 144 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 19 Nov 2022 · 1 min read वक्र यहां किरदार दुनिया यह गोल मानता है संसार फिर भी इंसां का वक्र यहां किरदार मानवता को घोलकर गटक गए धनलोभी ऐसे में फिर अंत्येष्टि भी बुकिंग पर होगी Hindi 182 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 31 Dec 2022 · 1 min read आने वाला वर्ष भी दे हमें भरपूर उत्साह कुछ घंटों में विदा हो जाएगा सन 2022 का ये मौजूदा साल कुछ को खुशियां और कुछ उपलब्धि दे कर गया निहाल कुछ खट्टी और कुछ मीठी यादों का भी... Hindi 1 193 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 7 Apr 2023 · 1 min read श्रीराम पे बलिहारी एक जादुई शाम की प्रतीक्षा पल पल कर जिंदगी बदलती गई दिशा जाना कहां बस जानें श्रीराम सुना है सबकी सुनते प्रभु अध्येता और साधु संत कहते उन्हें विभु सद्बुद्धि... Hindi 200 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 15 May 2023 · 1 min read स्वदेशी के नाम पर स्वदेशी के नाम पर कभी जो बजाया करते थे गाल आज सत्ता सुख भोगने को दिनभर मचलते हैं बेहाल कहां गए उनके नारे और कहां गायब हुआ वो जोश अब... Hindi 210 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 1 Apr 2023 · 1 min read उमेश शुक्ल के हाइकु नई शिक्षा नीति का शोर कक्षाएं तज शिक्षक हो गए हैं मोर युवा रोजी के लिए चकोर रुपये रुपया को खींचते हैं भरोसा न हो तो कुछ दांव लगाओ यत्न... Hindi 240 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 11 Apr 2023 · 1 min read सुकून की चाबी ख़ज़ाने की तलाश में लगा हर शख्स व्यक्ति बदहवास ख़ज़ाने दे सकते नहीं सबको शांति और सुख यूं अनायास पीड़ाओं से घिरे हुए हैं दुनिया के बड़े बड़े रईस औ... Hindi 180 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 6 May 2023 · 1 min read अपराधियों ने जमा ली सियासत में पैठ लंपटों और अपराधियों ने जमा ली सियासत में पैठ ऐसे में अपराधियों के कान विधि से कौन सकता है ऐंठ बड़े बड़े संघों और संस्थानों पे कुंडली मारे बैठे दागी... Hindi 186 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 2 Oct 2022 · 1 min read अद्भुत सितारा सत्य और अहिंसा की ताकत से जिसने अंग्रेज़ों को छकाया जगह जगह आंदोलन करके आजादी की ललक बढ़ाया पूरे देश को जिसने पढ़ाया एकजुटता का अनूठा पाठ सविनय अवज्ञा आंदोलन... Hindi 1 179 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 23 Mar 2022 · 1 min read नश्वर है यह जगत नश्वर है यह जगत सबको है आभास फिर भी धन संग्रह में जुटे सभी लोग सायास साथ नहीं कुछ भी जाएगा चाहे जितना लगा ले जोर इतना सब कुछ जानकर... Hindi · कविता 151 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 6 Apr 2022 · 1 min read मत पूछिए... कभी किसी युवा से मत पूछिए रोजगार की बात राजनीतिकों ने ही दी सदा उन्हें प्रतिकूलता की सौगात रोजगार के अवसर हो गए हैं अब गूलर के फूल की मानिंद... Hindi · कविता 142 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 31 Mar 2023 · 1 min read शातिरपने की गुत्थियां अनकहे शब्द किसी व्यक्ति समूह पर पड़ते बहुत भारी भाव भंगिमा ही खोल देती शातिरपने की गुत्थियां सारी भाव ही बताया करते हरेक गतिविधि का सदैव रंग रूप जैसे मनुष्य... Hindi 1 189 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 28 Feb 2023 · 1 min read पीड़ाओं से व्याकुल महंगाई और बेरोज़गारी के दंश से आम आदमी त्रस्त पर सियासत विहंस रही है सत्ता मद में होकर मस्त जिन संस्थाओं को बनाया गया जनकल्याण के लिए जिम्मेदार वो ही... Hindi 163 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 22 Sep 2022 · 1 min read समुद्र हैं बेहाल मनुष्य प्रदूषित कर रहे हैं सभी सागरों के किनारे आंखें मूंदे खामोश दिख रहे व्यवस्था के रखवारे चेतावनियों के बावजूद वे बरतते नहीं सावधानी ऐसे में बहुत भारी पड़ेगी हमें... Hindi 153 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 30 Apr 2023 · 1 min read धड़कन धड़कन ( गीत ) धड़कन धड़कन में बस नाम है तेरा मन मानस में बस एक अक्स है तेरा तुमसे रोशन शामें तुमसे शुभ्र सबेरा तेरी परछाई के पीछे डाले मन मयूर मेरा डेरा... Hindi 209 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 18 Jun 2023 · 1 min read हे परम पिता ! ईश्वर ने कभी चुना जिसे मेरे जन्म का खास हेतु भव सागर के लिए वही होता मेरे लिए एक सेतु पर ईश्वर की इच्छा भर ही मिला मुझे उसका सान्निध्य... Hindi 244 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 20 Apr 2023 · 1 min read वास्तविक प्रकाशक वक्त ही होता हर इंसान का वास्तविक प्रकाशक वह अच्छा है तो दूसरों को दिखे सब चकाचक वह बुरा है तो साया भी दिखने लगता भयानक दुर्दिन में बस परमात्मा... Hindi 236 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 16 May 2023 · 1 min read अंधों के हाथ अंधों के हाथ कभी जो लग जाती किस्मत से कोई बटेर तो वे इतराते घूमते ऐसे कि जैसे हों वे धनाधिपति कुबेर सही व्यवस्थाएं बनाने में उनका कलेजा हो जाता... Hindi 184 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 26 Dec 2021 · 1 min read युवाओं को... युवाओं को लुभाने को बांट रहे आज राजनेता उपहार भूल गए वो युवा ही सदैव बहाते रहे बदलाव की बयार युवा सदा सर्वदा से रहा है बड़े बदलाव का पैरोकार... Hindi · गीत 130 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 18 Nov 2022 · 1 min read चरैवेति चरैवेति का संदेश तदवीर से ही फिर गढ़ी जा सकती किस्मत की लकीरें किताबों में कर्म के महत्व पे दर्ज हैं महापुरुषों की तकरीरें कर्मवीर सदा पलटते रहे हैं समूची दुनिया का इतिहास... Hindi 174 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 3 May 2023 · 1 min read जन जन में खींचतान आबादी के लिहाज से दुनिया में भारत का अब पहला स्थान मगर अर्थव्यवस्था की दृष्टि से विश्व में पांचवां इसका स्थान संसाधनों की उपलब्धता को यदि मानें विकास का मानदंड... Hindi 215 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 23 Apr 2023 · 1 min read अनेक को दिया उजाड़ जादुई जंगलों की रही कभी देश में भरमार विकास के पहरूओं ने अनेक को दिया उजाड़ अब गिने चुने क्षेत्रों में ही अवशेष घने जंगल उन पर कब्जे को मची... Hindi 167 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 14 May 2023 · 1 min read लोकतंत्र में शक्ति करके नाटक जो पाले रहे भारी विजय की उम्मीद कर्नाटक ने मन से किया उन सबकी मिट्टी पलीद भाजपा, जद एस दोनों के सपनों को करके तार तार जनता ने... Hindi 202 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 27 May 2023 · 1 min read बेकारी का सवाल इंसानों ने अपनी सुविधाओं के लिए किया मशीनों का निर्माण फिर कुछ लोगों की नजर में कम होने लगता है इंसानों का सम्मान ज्यादा धनार्जन की चाह में करने लगते... Hindi 1 265 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 19 Apr 2023 · 1 min read तीखा सूरज : उमेश शुक्ल के हाइकु तीखा सूरज बरसा रहा आग अनदेखी से विलुप्त हुए अनेक कूप तालाब तंत्र सजाए तरक्की के ख्वाब निकाय चुनाव दावतों का दौर समर्थकों के नारों में गुम पीड़ाएं चहुंओर विकास... Hindi 154 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 26 Sep 2022 · 1 min read हे जग जननी ! हे जग जननी ! तेरी कृपा से ही हम सबका अस्तित्व तेरी महिमा गाया करते हैं ऋषि, मुनि औ सिद्ध नित्य नवरात्रि के पर्व पर करते हैं भक्त सब व्रत... Hindi 143 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 5 Apr 2023 · 1 min read फीसों का शूल : उमेश शुक्ल के हाइकु कान्वेंट स्कूलों में प्रवेश चालू् अभिभावक धन खिंचे जैसे नदी से बालू बच्चे करते हठ बनेंगे भालू वो दुखी जिनके बच्चे तीन खर्चों का इंतजाम करने को बने मशीन स्कूल... Hindi 1 184 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 22 Jul 2023 · 1 min read मेहनत और अभ्यास मेहनत और अभ्यास से सधें जीवन के हर लक्ष्य एकाग्रता ही बनाती है हर इंसान को सदा कार्य में दक्ष अपने लक्ष्य को याद कर जो इंसान जुटे रहते हैं... Hindi 264 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 16 May 2023 · 1 min read वास्तविक मौज चाय पार्टी का आयोजन जो करते दिल को खोल उनके पक्ष में खड़ी होती है लोगों की लंबी तगड़ी गोल बातचीत का लहजा जिनका होता है सहज और विनीत समाज... Hindi 187 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 14 Apr 2023 · 1 min read हमनवां जब साथ हमनवां जब साथ हो तो बात कुछ और ही होती है सिर्फ लम्हों को ही नहीं औरों को भी इसकी खबर होती है द्रुपदसुता की चीर से बढ़ जाते यादों... Hindi 150 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 1 May 2023 · 1 min read मजदूरों के साथ मजदूरों के साथ युगों से हो रहा है सियासी खेल राजनीति बन गई अब पूँजीपतियों की रखैल संसद, विधानसभाओं में धनिकों की भरमार फिर कैसे हो सकेगा अब श्रमिकों का... Hindi 188 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 6 Apr 2023 · 1 min read कुटुंब के नसीब प्रभु की कृपा से हर व्यक्ति को मिले हमसफर अनुकूल अन्यथा संबंधों के निर्वहन की राह में बिछ जाते अनेक शूल हमनवां जिसका भी रहता है सतत मानसिक रूप से... Hindi 145 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 27 May 2023 · 1 min read संसद के नए भवन से संसद के नए भवन से किंचित हो नई राजनीति की शुरुआत आम जनता की समस्याओं पर वहां हो पूरी गंभीरता से बात हे ईश्वर ! माननीयों के हृदय में भरो... Hindi 204 Share Umesh उमेश शुक्ल Shukla 2 Jan 2023 · 1 min read बड़े गौर से.... बड़े गौर से कीजिए उम्मीदों की पहचान तभी आपको मिलेगा सपनों का नव जहान आकलन में कहीं हुई जो थोड़ी भावनात्मक चूक विपरीत नतीजे उपजा देंगे दिल में बड़ी हूक... Hindi 169 Share Previous Page 2 Next