डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 514 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Previous Page 2 Next डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 3 Aug 2023 · 6 min read 84कोसीय नैमिष परिक्रमा नैमिषारण्य की 84 कोसी परिक्रमा का अंतरराष्ट्रीय महत्व है। यह परिक्रमा पौराणिक काल से चली आ रही है ।इसमें देश के विभिन्न प्रांतों एवं अन्य देशों जैसे नेपाल से तीर्थयात्री... Hindi · निबंध 1 256 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 3 Aug 2023 · 1 min read नारी सम्मान नारी का सम्मान कर,करता राष्ट्र विकास। अपमानित वह देश जो , करे सभ्यता नाश। करे सभ्यता नाश, दुष्टजन की मनमानी। हुआ कलंकित देश, नीचता की हद जानी। कहें प्रेम कविराय... Hindi · कुण्डलिया 195 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 3 Aug 2023 · 1 min read लखनऊ शहर जूझ कर जाम से हर गली हर प्रहर। झुक गया तंत्र शासन का शामो शहर। रेंगती वाहनों की कतारें कहें, यह नगर है नफासत का लखनऊ शहर। ई रिक्शे का... Hindi · मुक्तक 1 1 184 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 3 Aug 2023 · 1 min read नसीहत योगी सीएम ने कहा ,न्याय करो भरपूर। भ्रष्टाचारी दांव पर , हो प्रहार सब दूर। हो प्रहार सब दूर, भेद सबमें मत करिए। जातिवाद को त्याग, प्रेम से मिलकर रहिए।... Hindi · कुण्डलिया 231 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 9 Jul 2023 · 1 min read फनकार इस दिल में दिल का राज छुपा , किरदार बहकने लगते हैं। सब दिल वालों को आपस में , ये भार समझने लगते हैं। ये इश्क मोहब्बत क्या जानें, अंजाम... Hindi · मुक्तक 1 198 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 9 Jul 2023 · 1 min read प्रतिशोध प्रतिशोध, जल रही विरह की ज्वाला में, पिया से लेना है प्रतिशोध मुझे। प्रेमाग्नि मुझे झुलसाती है, इसका होता अब बोध मुझे। दीपक बाती का रिश्ता जो, होता ये गहरा... Hindi · गीत 225 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 18 Jun 2023 · 1 min read दिल हमारा तुम्हारा धड़कने लगा। नृत्य में गीत तुम गुनगुनाने लगी, दिल हमारा तुम्हारा थिरकने लगा । हाथ लो हाथ में प्यार से ऐ सखी, दिल हमारा तुम्हारा धड़कने लगा । लोचनों ने कहा कुछ... Hindi · गीत 1 1 399 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 15 May 2023 · 1 min read मेघ सागर गहरे राज समा कर जीवन को, अपनाता है । मेघ रूपहले राज छुपा कर जीवन को, हरसाता है। प्रातः धरती की प्यास बढ़ाने सूरज नभ में आता होगा। जल... Poetry Writing Challenge 3 294 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 15 May 2023 · 1 min read भारत के लाल जन्म हुआ दो अक्टूबर को,लाल बहादुर बाल हुये। लाल बहादुर औ गाँधी जी,भारत के दो लाल हुये। सीमा पर जो युद्ध छिड़ा था, भारत पाकिस्तानी में, बलिदानी थे वीर सिपाही,सीमा... Poetry Writing Challenge 2 2 133 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 15 May 2023 · 1 min read पुष्प वाटिका में श्री राम का समर्पण नजरों की परिभाषा समझो,चंचल चितवन वहाँ बसेरा। नयनों की भाषा जो समझे,नयनों का है वही चितेरा। नयनों की चितवन के कायल, राम वाटिका में अटके हैं। पलकों के तीरों से... Poetry Writing Challenge 137 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 15 May 2023 · 1 min read मां की ममता माँ से ही ममता महान है,माता का आभूषण जानो। बिन ममता नारी वैसे है, जैसे बिन पल्लव तरु मानो। शस्यश्यामला बसुन्धरा ने,सबको जीवन दिया अनोखा। सदा हिरण्यगर्भा माता ने ,निज... Poetry Writing Challenge 161 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 15 May 2023 · 1 min read होली पथरायी सूनी आँखों में, खोया प्यार जगा दे होली। खोये खोये सपनों को भी ,सच में यार जगा दे होली। सपनों के लुट जाने का दुःख ,दुःख कर अहसास हुआ... Poetry Writing Challenge 161 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 15 May 2023 · 1 min read विकास कोसे हरियाली बंजर को,क्यों विकास इतना करती। फलस्वरूप बंजर धरती को,कंक्रीट है क्यों भरती?। क्यों मानवता हरित धरा को,अपमानित कर रहती है? कंक्रीट का जंगल लेकर, खुशियाँ पाकर कर सहती... Poetry Writing Challenge 228 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 15 May 2023 · 1 min read यशोधरा के प्रश्न यशोधरा के नयनों को, क्या गौतम पढ़ पायेगें। अश्रु पूरित व्यथा- कथा को,मौन कभी गढ़ पायेगें। गौतम भामिनि होकर तुमने ,क्या पाया पति को खोकर। हुये तथागत वो गौतम से,तुमने... Poetry Writing Challenge 1 264 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 15 May 2023 · 1 min read प्रेम गीत प्रेम के गीत हम गुनगुनाएँ सदा , प्रीत की रीत को हम निभाएँ सदा । मैं चकोरा बनूँ तुम बनो चंद्रिका , कल्पना मे तेरी भावनाएं सदा । मन मचलने... Poetry Writing Challenge 135 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 15 May 2023 · 1 min read क्यों?विषधर जीवन की बगिया में साथी , संग संग जीना मरना है । फूलों की घाटी में साथी , भर उमंग से जीना है । खेल खेल में इस जीवन के,... Poetry Writing Challenge 1 123 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 15 May 2023 · 1 min read जाति बंधन जाति बन्धन हमेशा सलामत रहे, भेदभाव की मंशा नदारद रहे, मित्र मिल जुल रहें प्यार उनमें अमिट, देश में एकता अब सलामत रहे ।1। मित्र निज देश हित भक्ति वरदान... Poetry Writing Challenge 156 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 15 May 2023 · 1 min read न्याय की तुला न्याय की है तुला ,तौल रिश्ते बना, सात फेरे नहीं, कामना से बना झूलता ,डोलता ,आज विश्वास है, कौन किसका यहाँ, कौन किसका बना ।1,। भामिनी ना सगी , पुत्र... Poetry Writing Challenge 1 201 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 15 May 2023 · 1 min read रात की कालिमा रात की कालिमा छा गयी थी जहां , प्रात की लालिमा छा गयी थी वहाँ । चाँद का नूर खोया कहीं गुम हुआ , ढूंढते ढूंढते चाँदनी फिर कहाँ ।... Poetry Writing Challenge 215 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 15 May 2023 · 1 min read प्यार का सार प्यार का सार है त्याग की भावना , प्रेम रस धार है प्रीत की कामना । जिंदगी मिल गयी प्यार जिसने किया , प्यार से मिट गयी खोखली वासना ।... Poetry Writing Challenge 213 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 15 May 2023 · 1 min read ना हमें काम है ना तुम्हे काज है ना हमें काम है ना तुम्हें काज है , है कहाँ नौकरी ये अजब राज है । राज की बात है राज जिसने किया , दांव पर दांव दे ,... Poetry Writing Challenge 156 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 15 May 2023 · 1 min read होली सुनहरा रंग उपवन में, बसंती रुप छाया है। वसंती छा गया मौसम, रुपहला रुप पाया है। जहां कोयल पपीहा मोर नाचे नित्य सुध बुध खो, वनों मे सुंदरी भटके, निखर... Poetry Writing Challenge 137 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 15 May 2023 · 1 min read पायल सजी पायल बजे घुंघरू,करे छम छम सुहाती है । बजी पायल करे घायल ,सजे पग में लुभाती है । चुराए मन मयूरा थाम लो उड़ती उमंगों को। बड़ी चालाक है... Poetry Writing Challenge 110 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 15 May 2023 · 1 min read आषाढ़ के बादल ये आषाढ़ी बादल सुंदर ,घुमड़ घुमड़ कर गरजेंगे। धूप छांव का खेल खेल कर, उमड़ उमड़ कर बरसेंगे। जेठ दुपहरी आग उगलती, बेचैनी है आंखों में। काले मेघा यदि ना... Poetry Writing Challenge 114 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 15 May 2023 · 1 min read बेटियां माता-पिता की आन बान शान बेटियाँ घर-घर की आन बान पर कुर्बान बेटियाँ। मन मोहती सदा है मुस्कान बेटी की है मीठे बोल बोलती मासूम बेटियाँ। थी हैरान परेशान क्यों?... Poetry Writing Challenge 2 1 87 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 15 May 2023 · 1 min read श्रद्धांजलि लता जी ओ!कोकिला सुरों की, ओ! साधिका लता जी। वरदान शारदा का ,हृद धारिका लताजी। माँ !भारती सुनाती ,सुर ताल की कहानी। शत् वंदना तुम्हारी ,लय सर्जिका लता जी। मंगेशकर लता जी... Poetry Writing Challenge 136 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 15 May 2023 · 1 min read सुमन बहकती चंचला का मन, खिला जब तन बदन चहका। बसंती रूप है पावन, खिली जब धूप तन दहका । पवन चलती सुमन महके, खिलें जब क्यारियाँ देखें। गुलाबी रंग है... Poetry Writing Challenge 203 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 15 May 2023 · 1 min read न छेड़ो तार वीणा के न छेड़ो तार पीड़ा के दुःखे रग रग हमारा है। न खीचों तार वीणा के बजाती धुन तुम्हारा है। प्रिये, हिय में तुम्हारी वेदना के स्वर कहाँ गूंजे। न सूझे... Poetry Writing Challenge 94 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 15 May 2023 · 1 min read पिता की छांव दूर क्षितिज के पार है,सपनों का इक गांव। चंद्र किरण देती वहां,नयना को इक छांव। बचपन की अठखेलियां ,घोड़े कुर्सी दौड़। पिता संग थे खेलते, खुशियां की थी ठांव ।... Poetry Writing Challenge 2 1 237 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 15 May 2023 · 1 min read बरसात बरसात, झूम झूम के मेघा बरसे, आयी अब बरसात हो। सावन में दिल ऐसे झूमे, माँई! दिल सरसात हो। जैसे हथिनी सूंढ़ उठा के, पानी भरभर फेंक दे। पिया बिना... Poetry Writing Challenge 244 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 15 May 2023 · 1 min read नमन मां गंगे नमन मां गंग ! पावन, शिव जटा से अवतरण करती। नमन मंदाकिनी! अविरल ,सदा हित वैतरण करती। यहां भागीरथी मां श्राप धोती सगर पूतों का। सरित देवी !बहो निर्मल धरा... Poetry Writing Challenge · मुक्तक 84 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 15 May 2023 · 1 min read जिंदगी राम से है बड़ी ,राम की बंदगी। फिर फटेहाल क्यों ,आम ये जिंदगी।1। बाढ़ में बह गया, है जुनुं प्यार का मुफलिसी में कटी , नाम है जिन्दगी।2। रोटियां जो... Poetry Writing Challenge · ग़ज़ल 81 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 23 Apr 2023 · 1 min read पुंछ सेक्टर के शहीदों की याद में शहीदों की चिताओं की , मनौती आज हम लें लें। अदावत की तपन से जो ,पनौती आज हम लें लें। विरोधी स्वर हमारे हैं ,गरजते आज सीमा पर। चिताओं की... Hindi 107 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 11 Apr 2023 · 1 min read राम अवतार कुंडलियां मित्रों एक नए कांसेप्ट ने इस रचना में जन्म लिया है करने रक्षा धर्म हित, लिया मूर्ति अवतार। कलयुग में श्री राम ने, किया धर्म संचार। किया धर्म संचार,... Hindi · कुण्डलिया 341 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 11 Apr 2023 · 1 min read संचारी रोग दस्तक अभियान संचारी जो रोग पर, दस्तक है अभियान। एप्रिल से ही हो शुरू, करो स्वच्छ जलपान। करो स्वच्छ जलपान, दस्त-उल्टी जो रोके। ओआरएस का घोल, पिला संजीवन हो के। कहें 'प्रेम'... Hindi · कुण्डलिया 1 277 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 13 Mar 2023 · 1 min read जीजा साली जीजा साली कर रहे, हँसी ठिठोली आज। रंगों की बौछार में,खोलो दिल के राज। खोलो दिल के राज, नहीं करना बरजोरी। रंगों की सौगंध, करो मत सीनाजोरी। कहें प्रेम कविराय,आज... Hindi · कुण्डलिया 181 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 13 Mar 2023 · 1 min read रंगो की होली रंगों की होली खेलो होली रंग से ,रगड़ो खूब गुलाल। रंगों के अभिसार से, करते नहीं मलाल। करते नहीं मलाल, मजहबी भेद मिटाओ। मातृभूमि है एक, संग मिल नाचो गाओ।... Hindi 1 192 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 13 Mar 2023 · 1 min read होलिका दहन होलिका दहन फागुन पूनम चांदनी, दहन होलिका साथ। जीवित बच प्रहलाद हैं, विष्णु चूमते माथ। विष्णु चूमते माथ, अबीर गुलाल लगाओ। नाचो गाओ संग, संग मिल फगुआ गाओ। कहें प्रेम... Hindi · कुण्डलिया 167 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 13 Mar 2023 · 1 min read होलीकोत्सव होलिकोत्सव पूनम फागुन मास में ,दहन होलिका रात। मिलें गले सब मीत जन, बने बात से बात। बने बात से बात,मीत मिल नाचो गाओ। लगे अबीर गुलाल, संग में गुझिया... Hindi · कुण्डलिया 188 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 2 Mar 2023 · 1 min read मकर संक्रांति पर्व मकर संक्रांति पर्व सिहरन को अनुभव करें, राजा रंक फकीर। शीत लहर जो चल रही, नारी शक्ति अधीर। नारी शक्ति अधीर, अलाव जलाकर तापो। ऊनी कपड़े पहन, रजाई से तन... Hindi · कुण्डलिया 1 174 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 2 Mar 2023 · 1 min read शादी शादी शादी बंधन प्रेम का, नहि कोई अनुबंध। सप्तपदी को जो निभा, जन्म सात तक बंध। जन्म सात तक बंध,दहेज कलंक समाना। अबलाएं जल रहीं , नहीं न्यायोचित माना। कहें... Hindi · कुण्डलिया 193 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 20 Jan 2023 · 1 min read चित्र गुप्त पूजा पूजा कलम दवात की,यम दुतिया के साथ। चित्रगुप्त महाराज की, जय जयकार सनाथ। जय जयकार सनाथ, शुरू शुचि लेखा जोखा। कर्मों की गति मान,करें मत सबसे धोखा। कहें प्रेम कवि... Hindi · कुण्डलिया 2 268 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 19 Jan 2023 · 1 min read चाय की आदत आदत हो जब चाय की, पीते रहिये चाय। आदर मिलता है जहां ,करते रहिये आय। करते रहिए आय,चाय का अद्भुत वादा। पीलो जितनी चाय ,आय उतनी हो ज्यादा। कहें प्रेम... Hindi · कुण्डलिया 1 1 192 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 19 Jan 2023 · 1 min read मकर संक्रांति शुभ मकर संक्रांति पर्व मेला में जमघट लगा, दे कर प्रभु को अर्ध्य। उत्तरायण प्रभु भास्कर ,पुण्य कर्म अब सध्य। पुण्य कर्म अब सध्य, नौग्रह भाव के स्वामी। सब कुछ... Hindi · कुण्डलिया 1 242 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 19 Jan 2023 · 1 min read पूनम का चांद सपने में चांद सपने में है चांदनी ,सपने का है चांद । सुंदरता अद्भुत निरख, पगडण्डी को फांद। पगडण्डी को फांद, हृदय कुलांचे मारे। प्रिय प्रियतम की भाँति,प्रिये तुमको पुकारे।... Hindi · कुण्डलिया 1 265 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 19 Jan 2023 · 1 min read भोली बाला भोली बाला भोली बाला ले चली, कर पूजा का थाल। सुंदर श्यामल तन लिये, नागिन जैसे बाल । नागिन जैसे बाल, कोकिला जैसी बोली। प्रिये ,दन्तिका धवल,नासिका है हमजोली। कहें... Hindi · कुण्डलिया 218 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 18 Jan 2023 · 1 min read गणतंत्र दिवस पावन छब्बिस जनवरी ,उन्निस सौ पाचास। संविधान लागू हुआ, सबकी पूरण आस। सब की पूरण आस,शुचि गणतंत्र को मानो। नहि लिंग- जाति भेद ,बराबर सबको ंजानो।ं सबका है सम्मान, हमेशा... Hindi · कुण्डलिया 1 235 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 18 Jan 2023 · 1 min read कोरोना लेना दूभर हो गया, कोरोना से श्वास। मास्क जरूरी है हुआ ,छोड़ें जब प्रश्वास। छोड़ें जब प्रश्वास, फैलता है कोरोना। दम घोटूं यह रोग, यही जग का है रोना। कहें... Hindi · कुण्डलिया 177 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 18 Jan 2023 · 1 min read गुरुवर गुरुवर के निर्मल चरण, करते ह्रदय प्रकाश । श्रुतियों की वाणी सुना, करते विमल विकास। करते विमल विकास, नयन कमलों को खोलें। गुरुवर भानु समान,शारदा माता बोलें। कहें प्रेम कविराय,... Hindi · कुण्डलिया 184 Share डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम 18 Jan 2023 · 1 min read संगीत तन मन झंकृत हो गया, सुन करके संगीत। गीतों का संगम हुआ,संग मनोहर मीत। संग मनोहर मीत, जगत जीवन संचारे। भाव अनोखे गूंज, गगन गूँजे गुंजारे। कहे प्रेम कविराय, मगन... Hindi · कुण्डलिया 119 Share Previous Page 2 Next