Bodhisatva kastooriya Tag: ग़ज़ल 42 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Bodhisatva kastooriya 15 May 2024 · 1 min read वादा चलो करते है एक वादा,तुम्हे लुभाने के लिए! पर शर्त यह -मत कहना उसे निभाने के लिए!! न जाने किस किस से क्या क्या वादे मैने किए? सामने देखकर वादा... Poetry Writing Challenge-3 · ग़ज़ल 113 Share Bodhisatva kastooriya 15 May 2024 · 1 min read वादा चलो करते है एक वादा,तुम्हे लुभाने के लिए! पर शर्त यह -मत कहना उसे निभाने के लिए!! न जाने किस किस से क्या क्या वादे मैने किए? सामने देखकर वादा... Hindi · ग़ज़ल 129 Share Bodhisatva kastooriya 3 May 2024 · 1 min read जवानी तुम चाहतों का समंदर सजाते रहे! हम बिला वजह आंसू बहाते रहे!! खामोश हो गई आवाज़ टकराकर! हम रेत के घरोंदे बनाते मिटाते रहे!! सैलाब समंदर का शांत कब हुआ?... Poetry Writing Challenge-3 · ग़ज़ल 2 93 Share Bodhisatva kastooriya 3 May 2024 · 1 min read गर्भपात जो डर और दब कर जिया,वो कब जिया है? ज़हन में शिगूफा बैठाले,फख्र से जिंदगी जिएंगे! गर्भ में हम क्यों मरे, ऐसा हमने क्या किया है? कभी माँ, बहन और... Poetry Writing Challenge-3 · ग़ज़ल 131 Share Bodhisatva kastooriya 2 May 2024 · 1 min read दिल के रिश्ते कभी किसी से दिल के रिश्ते जोडना नही! गर जुड भी जाए कभी,तो फिर तोडना नही!! जुडने से ज्यादा, टूटने से तकलीफ होती है! चेहरे से दिखे न दिखे,फिर भी... Poetry Writing Challenge-3 · ग़ज़ल 1 96 Share Bodhisatva kastooriya 2 May 2024 · 1 min read चमन कभी किसी से दिल के रिश्ते जोडना नही! गर जुड भी जाए कभी,तो फिर तोडना नही!! जुडने से ज्यादा, टूटने से तकलीफ होती है! चेहरे से दिखे न दिखे,फिर भी... Poetry Writing Challenge-3 · ग़ज़ल 75 Share Bodhisatva kastooriya 2 May 2024 · 1 min read चाहत न मै तुम्है खोना चाहता हू! न तुमसे दूर होना चाहता हू!! बस की जो तुमसे बेबफाई, शर्मिन्दगी से रोना चाहता हू!! आज इकरार तुमसे यह करता हू! दिल औ... Poetry Writing Challenge-3 · ग़ज़ल 87 Share Bodhisatva kastooriya 2 May 2024 · 1 min read इंसान न मै तुम्है खोना चाहता हू! न तुमसे दूर होना चाहता हू!! बस की जो तुमसे बेबफाई, शर्मिन्दगी से रोना चाहता हू!! आज इकरार तुमसे यह करता हू! दिल औ... Poetry Writing Challenge-3 · ग़ज़ल 132 Share Bodhisatva kastooriya 2 May 2024 · 1 min read विश्वास गर उसे मेरे ज़ज्बात का जो अहसास होता! वो मेरे नज़दीक होती, मै उसके पास होता!! ख्वाबो की तामीर,हम कुछ इस कदर बनाते, गिरने की आहट पर भी उसे न... Poetry Writing Challenge-3 · ग़ज़ल 91 Share Bodhisatva kastooriya 1 May 2024 · 1 min read दिल के दरवाज़े मैने अपने दिल के दरवाजे तो खोल रखे है! राहगीर भी देख सकता है कौन-कौन रखे है? इस्तकबाल हर उस शख्स का जो साफगोई, चेहरे से नही,आज़माकर दोस्त-दुश्मन रखे है!!... Poetry Writing Challenge-3 · ग़ज़ल 1 101 Share Bodhisatva kastooriya 1 May 2024 · 1 min read जिंदगी मैने यू ही नही जिन्दगी के 72 साल बर्बाद किए! किसी को दिल से निकाला,कुछ को आबाद किए!! परिन्दो को कब तलक कैद करके पिजंडे मे रखते? जब तलक उनका... Poetry Writing Challenge-3 · ग़ज़ल 1 97 Share Bodhisatva kastooriya 21 Apr 2024 · 1 min read कुर्सी अब हमे कही कोई पहचानता नही! क्या फर्क पडता ,कोई जानता नही? सब थी पद और कुर्सी की महिमा! लोग करते थे खुशामद,महानता नही!! दुनिया करती चमत्कार को नमस्कार! चमत्कार... "संवेदना" – काव्य प्रतियोगिता · ग़ज़ल 1 91 Share Bodhisatva kastooriya 21 Apr 2024 · 1 min read दरवाज़े मैने अपने दिल के दरवाजे तो खोल रखे है! राहगीर भी देख सकता है कौन-कौन रखे है? इस्तकबाल हर उस शख्स का जो साफगोई, चेहरे से नही,आज़माकर दोस्त-दुश्मन रखे है!!... "संवेदना" – काव्य प्रतियोगिता · ग़ज़ल 1 93 Share Bodhisatva kastooriya 21 Apr 2024 · 1 min read फसल बोई नही कोई अच्छी सी फसल मैने, उग आए खर-पतवार.तो सभालू कैसे? कश्ती जो तूफा मे ही ले निकल पडा, डूबने से बचू खुद,औरो को बचालू कैसे? मैने स्याह रातो... "संवेदना" – काव्य प्रतियोगिता · ग़ज़ल 1 99 Share Bodhisatva kastooriya 21 Apr 2024 · 1 min read इल्म मैने यू ही नही जिन्दगी के 72 साल बर्बाद किए! किसी को दिल से निकाला,कुछ को आबाद किए!! परिन्दो को कब तलक कैद करके पिजंडे मे रखते? जब तलक उनका... "संवेदना" – काव्य प्रतियोगिता · ग़ज़ल 1 96 Share Bodhisatva kastooriya 21 Apr 2024 · 1 min read आदर्श नभ मे तारे अगणित है,पर ध्रुव की बात निराली है ! अमावस्या या पूर्णमासी उसकी स्थिति स्थिर वाली है!! पर मानव ने उसको कभी अपना आदर्श नही माना, बदले संदर्भो... "संवेदना" – काव्य प्रतियोगिता · ग़ज़ल 1 101 Share Bodhisatva kastooriya 20 Apr 2024 · 1 min read सब्र का फल मैने सबर का मीठा स्वाद चखा है! वक़्त बेवक्त जो साथ दे,वो सखा है!! बंद कमरे में खुली हवा,बात बेमानी है! खुल के जीने में मजा जिंदगी दिखा है!! होता... Hindi · ग़ज़ल 133 Share Bodhisatva kastooriya 20 Apr 2024 · 1 min read इल्म मैने यू ही नही जिन्दगी के 72 साल बर्बाद किए! किसी को दिल से निकाला,कुछ को आबाद किए!! परिन्दो को कब तलक कैद करके पिजंडे मे रखते? जब तलक उनका... Hindi · ग़ज़ल 95 Share Bodhisatva kastooriya 6 Apr 2024 · 1 min read मौसम मैने सबर का मीठा स्वाद चखा है! वक़्त बेवक्त जो साथ दे,वो सखा है!! बंद कमरे में खुली हवा,बात बेमानी है! खुल के जीने में मजा जिंदगी दिखा है!! होता... Hindi · ग़ज़ल 45 Share Bodhisatva kastooriya 1 Apr 2024 · 1 min read खुशनसीब है खलिश सी एक बस इस सीने मे! कोई यार नही हो ऐसा क्या जीने मे? वो साथ भी न चल सके मयकदे तक, फिर मजा नही है पिलाने औ... "सत्य की खोज" – काव्य प्रतियोगिता · ग़ज़ल 1 1 171 Share Bodhisatva kastooriya 1 Apr 2024 · 1 min read मिलन हर मिलन का अंजाम जुदाई क्यो है ? अब तो हर वक्त यही बात सताती है हमे!! दिल मे लाखो ज़ज्बात मचलते रहते है, जाने कौन सी बात,सारी रात जगाती... "सत्य की खोज" – काव्य प्रतियोगिता · ग़ज़ल 2 1 134 Share Bodhisatva kastooriya 16 Feb 2024 · 1 min read अंजाम हर मिलन का अंजाम जुदाई क्यो है ? अब तो हर वक्त यही बात सताती है हमे!! दिल मे लाखो ज़ज्बात मचलते रहते है, जाने कौन सी बात,सारी रात जगाती... Poetry Writing Challenge-2 · ग़ज़ल 178 Share Bodhisatva kastooriya 12 Feb 2024 · 1 min read हिदायत है सिफत यह हासिल हमको,कौम के काम आए! न किसी से कोई गिला रखै, न किसी को सताए!! साथ मेरे क्या जाएगा ,है इसका अहसास मुझको? फिर क्यू मुबतिला, देकर... Poetry Writing Challenge-2 · ग़ज़ल 1 139 Share Bodhisatva kastooriya 12 Feb 2024 · 1 min read किस किस्से का जिक्र मुझे जीवन मे लाखो रंग दिखे हे! जो दिखे, केवल वो ही रंग लिखे है!! शाश्वत प्रेम केवल मात-पिता का है, बाकी तो स्वार्थ समस्या संग बिके है!! भाई-भावज,पत्नी-पुत्र रिश्ते... Poetry Writing Challenge-2 · ग़ज़ल 1 148 Share Bodhisatva kastooriya 5 Feb 2024 · 1 min read चार यार है खलिश सी एक बस इस सीने मे! कोई यार नही हो ऐसा क्या जीने मे? वो साथ भी न चल सके मयकदे तक, फिर मजा नही है पिलाने औ... Poetry Writing Challenge-2 · ग़ज़ल 167 Share Bodhisatva kastooriya 3 Feb 2024 · 1 min read दिल की बात किसी और से न कहना कभी दिल की बात! हँसेगा,खिलखिलाएगा न समझेगा तेरे ज़ज्बात!! है यही दस्तूर .इस बेरहम ज़माने का ज़नाब! अपने गम रोते, औरो पर हँसते है हर... Poetry Writing Challenge-2 · ग़ज़ल 244 Share Bodhisatva kastooriya 3 Feb 2024 · 1 min read राह मे मुसाफिर तो हजार मिलते है! राह मे मुसाफिर तो हजार मिलते है! पर कोई एक है जो साथ चलते है!! जिसके उदास होने से आप दुखी, मुस्कुराने भर पर हीआप खिलते है!! ऐसे हमसफर को... Poetry Writing Challenge-2 · ग़ज़ल 149 Share Bodhisatva kastooriya 1 Feb 2024 · 1 min read जिन्दगी की शाम बचपन साथ रखिएगा,जिन्दगी की शाम मे! उम्र महसूस ही नही होगी,सफर के मुकाम मे!! इसीलिए बचपन के शौक पाले हर काम मे! रोज़ कसरत और दौडना ज़रुरी इस पैगाम मे'!!... Poetry Writing Challenge-2 · ग़ज़ल 139 Share Bodhisatva kastooriya 30 Jan 2024 · 1 min read हँसकर गुजारी नित नये दोस्तो से मिल नये मान मिलते है! उम्र की गिनती रोक कर,हम शान खिलते है!! सुबह गुज़रती है योग,दौडने,घूमने के बहाने! फिर दौर चाय की चुस्की अखबार के... Poetry Writing Challenge-2 · ग़ज़ल 1 2 166 Share Bodhisatva kastooriya 28 Jan 2024 · 1 min read हमनवा मैने उनसे नज़र क्या मिलाई, वो हमारे दिवाने हो गए! गुफ्तगू शुरु हुई थी कि,मिलने मिलाने के बहाने हो गए!! चार दिनो की मुलाकात महज़ इक इतैफाक ही तो था,... Poetry Writing Challenge-2 · ग़ज़ल 108 Share Bodhisatva kastooriya 16 Oct 2023 · 1 min read तमगा तुम एक बार ही सही,उनसे तो मिलाते, बेशक हम उनसे हाथ भी नाही मिलाते! मिलने मिलाने से ही,शायद दिल मिलते दिल नामिले तब तक हाथ नाही मिलाते!! बेशक कोरौना का... Hindi · कविता · ग़ज़ल 177 Share Bodhisatva kastooriya 7 Oct 2023 · 1 min read इन्सानियत है सिफत यह हासिल हमको,कौम के काम आए! न किसी से कोई गिला रखै, न किसी को सताए!! साथ मेरे क्या जाएगा ,है इसका अहसास मुझको? फिर क्यू मुबतिला, देकर... Hindi · ग़ज़ल 1 201 Share Bodhisatva kastooriya 16 Jul 2023 · 1 min read इल्तिजा खूबसूरत यादौं के सहारे कट जायेगी ये शाम! दिल-ओ-दिवार पर लिख दिया- उसका नाम!! मेरे महबूब की बस इतनी सी ही इल्तिजा थी - बाद उसके कोई कभी न करे... Hindi · ग़ज़ल 372 Share Bodhisatva kastooriya 11 Jul 2023 · 1 min read ज़िस्म की खुश्बू, तेरे ज़िस्म की खुश्बू, तेरे कपडों से आती है ! मेरे सूने आँगन को, उपवन सा महकाती है !!तेरे ज़िस्म की खुश्बू, जब तुम पास नही, गँध तुम्हारी सहलाती है!!तेरे... Hindi · ग़ज़ल 169 Share Bodhisatva kastooriya 7 Jun 2023 · 1 min read जिन्दगी पता नही क्यू फिर तुम याद आए ख्वाबो मे ख्यालो मे? इस कदर जाब्ता था, अपनी ही जिन्दगी के सवालो मे!! कभी फुर्सत न मिली कि हुस्न की इबादत भी... Poetry Writing Challenge · ग़ज़ल 2 336 Share Bodhisatva kastooriya 6 Jun 2023 · 1 min read कुछ तेज हवाएं है, कुछ बर्फानी गलन! कुछ तेज हवाएं है, कुछ बर्फानी गलन! मँझधार में है नैया, दूर कहीं अपना है वतन !! जीवन नदिया में, तलीफों की लहरें हैं! हर रोज़ मिली जो पीडाओ की... Poetry Writing Challenge · ग़ज़ल 1 284 Share Bodhisatva kastooriya 3 Jun 2023 · 1 min read जख्म कभी कभी गर्मियों मे भी मौसम सर्द होता है। किसी के देख आँसूँ,इस दिल मे दर्द होता है।। जख्म को बेशक तुम जितना छुपाना चाहो , पर अपनो के सामने... Poetry Writing Challenge · ग़ज़ल 253 Share Bodhisatva kastooriya 2 Jun 2023 · 1 min read सत्यबोध मैने जिन्दगी के हर सफे को पलट करके देखा! जो अब तलक न कर सका उसे झट करके देखा!! इसी उलट-पलट मे न जाने कब जिन्दगी चुक गई? दोस्त ज़नाजे... Poetry Writing Challenge · ग़ज़ल 289 Share Bodhisatva kastooriya 2 Jun 2023 · 1 min read मुसलसल ईमान- फिर इक खौफ का मँज़र हर ज़हन मे छा गया! वादिए कश्मीर ज़न्नत नही ,दोज़ख मे आ गया!! आफिस,स्कूल,घर कही भी तो अब महफूज़ नही, दरिदो को बहत्तर हूर चूमने... Poetry Writing Challenge · ग़ज़ल 327 Share Bodhisatva kastooriya 2 Jun 2023 · 1 min read जब जब तुम्हे भुलाया जब जब तुम्हे भुलाया, तुम याद आने लगे! गुरबतो के लम्बे साए,और करीब छाने लगे!! है हश्र तेरी मुहब्बत का,या फिर मेरी तडप, गोया दिन कट जाए,रात ख्वाबो मे आने... Poetry Writing Challenge · ग़ज़ल 605 Share Bodhisatva kastooriya 1 Jun 2023 · 1 min read शायर तो नहीं शायर तो नहीँ जो लिख दूँ कोई मीठी सी गज़ल। न माली किसी बाग का कर दूं खडी सब्ज़ पौधौं की फसल।।शायर तो नहीँ.... गमे ज़िंदगी मे उलझे हैं सभी,... Poetry Writing Challenge · ग़ज़ल 1 670 Share Bodhisatva kastooriya 29 May 2023 · 1 min read चलो कुछ दूर तलक चलते हैं चलो कुछ दूर तलक चलते हैं! जहां पे सितारे फलक पलते हैं!! दूरियाँ माप पलट नही जाना, ऐसे यार मुझको बहुत खलते हैं!! है विश्वास के सपने भी अधूरे, फिर... Hindi · ग़ज़ल 291 Share