Dr fauzia Naseem shad Tag: कविता 105 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Previous Page 2 Next Dr fauzia Naseem shad 10 May 2022 · 1 min read मेरी तलाश तुम हो यहाँ देखो इस जंगल में, दूर-दूर तक हरियाली का कोई नामों-निशान नहीं, मेरे कदमों की आवाज़ भी तुम्हें महसूस हो रही होगी सुनो न ! यहाँ पर भी हरियाली है... Hindi · कविता 10 274 Share Dr fauzia Naseem shad 10 May 2022 · 1 min read याद आ रहे हो ऐ मेरे हमनशी ऐ मेरे हमसफर सुनो न देख रहे हो न ये नीला आसमान ये बादल ये रास्ते और ये ढेर सारी हवा पता है इसमें भी तुम मुझे... Hindi · कविता 11 222 Share Dr fauzia Naseem shad 6 May 2022 · 1 min read मुझे तुम भूल सकते हो मुझे तुम भूल सकते हो मुझे लिख कर कहीं रख दो छुपा कर सबकी नज़रों से मेरी चाहत कहीं रख दो कोई इल्ज़ाम तुझ पर हो मुझे मंज़ूर कब होगा... Hindi · कविता 13 425 Share Dr fauzia Naseem shad 27 Apr 2022 · 1 min read शोर से मौन को शोर से मौन को हितकर समझो सार्थक, व्यर्थ का अंतर समझो शब्दों में समाहित है वाणी की गरिमा आचरण को समझना है तो सुन कर समझो । - डाॅ फौज़िया... Hindi · कविता 10 236 Share Dr fauzia Naseem shad 25 Apr 2022 · 1 min read संक्षिप्त वार्तालाप में जीवन जीवन होता है कोई दोष नहीं होता है संक्षिप्त वार्तालाप में जैसे कोई अभिव्यक्त नहीं होता है सब परिस्थितियों पर निर्भर करता है कुछ शुभ-अशुभ नहीं होता है। डाॅ... Hindi · कविता 10 85 Share Dr fauzia Naseem shad 16 Apr 2022 · 1 min read अपने ह्रदय के असंख्य शब्दों को लेकर भी शायद ही कभी मैं परिभाषित कर पाऊं अपने ह्रदय के उन अनकहे भावों को जिन्हें अभिव्यक्त करने की स्वीकृति कभी भी न मन देता है... Hindi · कविता 10 121 Share Dr fauzia Naseem shad 10 Apr 2022 · 1 min read तुम ख़्याल हो तुम ख़्याल हो या ख़्वाब हो मेरी सोच को क्या जवाब हो मेरी ख़्वाहिशें मेरी आरज़ू मेरी दुआओं में बेहिसाब हो मुझे प्यार तुमसे क्यों बेपनाह मेरी नेकियों का क्या... Hindi · कविता 9 125 Share Dr fauzia Naseem shad 10 Apr 2022 · 1 min read जीवन है मेरा जीवन है मेरा अधिकार है मेरा स्वीकार है मेरा मेरी ये ज़िद आधार है मेरा मेरी हदो का आकाश है मेरा विचार है मेरा मुझसे ही बस मुझ तक विस्तार... Hindi · कविता 8 104 Share Dr fauzia Naseem shad 5 Apr 2022 · 1 min read रफ्तार कर लो क़ामयाबी का खुद से इक़रार कर लो । क़दमों की ज़्यादा रफ़्तार कर लो ।। हो जायेगी यह फिर से किसी की। मोहब्बत का कैसे ए'तबार कर लो । इस... Hindi · कविता 8 157 Share Dr fauzia Naseem shad 3 Apr 2022 · 1 min read स्वयं का बैरी स्वयं ही क्यों है मानव मानव का दुश्मन क्यों है ? सरल सा जीवन दुर्लभ क्यों है ? जाति, धर्म, संप्रदाय की उलझन में, प्रत्येक व्यक्ति उलझा क्यों है ? समाज में विद्रूपता का... Hindi · कविता 9 196 Share Dr fauzia Naseem shad 2 Apr 2022 · 1 min read किसी रोज़ तुम किसी रोज़ तुम देखना मुझको लिख के वो एहसास दिल के वो सारी दिल की बातें जिन्हें चाह कर भी तुम मुझसे कह नहीं पाते वो सारे अल्फ़ाज़ जिन्हें लिख... Hindi · कविता 7 117 Share Dr fauzia Naseem shad 26 Mar 2022 · 1 min read सोचने पर सोचने पर जिसको ये दिल मजबूर होता है तेरा एहसास है शायद मुझे महसूस होता है बहुत महसूस होता है । डाॅ फौज़िया नसीम शाद Hindi · कविता 9 248 Share Dr fauzia Naseem shad 23 Mar 2022 · 1 min read जीवन में महत्व रखती जीवन में महत्व रखती मेरे मन की स्थिरता तुझे स्पर्श न कर पाई मेरे शब्दों की व्याकुलता हर श्वास पर भारी है मेरे मन की विवशता तुझसे और तुझी तक... Hindi · कविता 9 135 Share Dr fauzia Naseem shad 22 Mar 2022 · 1 min read ह्रदय की वेदना को ह्रदय की वेदना को मन की संवेदना को जो व्यक्त कर सके जो विभक्त कर सके पीड़ा की मूकता को रिश्तों की चूकता को वो शब्द ढूंढने हैं वो निःशब्द... Hindi · कविता 11 299 Share Dr fauzia Naseem shad 22 Mar 2022 · 1 min read जीवन से जैसे कोई जीवन से जैसे कोई जब रूठने लगे । धैर्य जब साथ न दे मन टूटने लगे ।। ह्रदय की स्थिति की पीड़ा न पूछिये । हाथों से डोरी प्रीत की... Hindi · कविता 9 296 Share Dr fauzia Naseem shad 22 Mar 2022 · 1 min read उद्देश्य रहित जीवन में उद्देश्य रहित जीवन में हर क्षण का मूल्य है। व्यर्थ समय जीवन में न नष्ट किया जाए ।। प्राप्त हो तुमको फिर लक्ष्य भी तुम्हारा । प्रयास सफलता का गर... Hindi · कविता 9 118 Share Dr fauzia Naseem shad 21 Mar 2022 · 1 min read ज़िन्दगी पा के ज़िंदगी पा के तुझको खोया है। सोच कर दिल भी मेरा रोया है । अहमियत उससे पूछो ख़्वाबों की। नींद जो अपनी कभी न सोया है। डाॅ फौज़िया नसीम शाद... Hindi · कविता 8 276 Share Dr fauzia Naseem shad 21 Mar 2022 · 1 min read जीवन में कभी कोई जीवन में कभी कोई तेरी आस न टूटे स्वयं पर से कभी तेरा विश्वास न टूटे श्वासों की ये डोरी मैंने बांध ली तुमसे जब तक ये चले श्वास तेरा... Hindi · कविता 9 143 Share Dr fauzia Naseem shad 21 Mar 2022 · 1 min read जीवन से जैसे कोई जीवन से जैसे कोई जब रूठने लगे । धैर्य जब साथ न दे मन टूटने लगे ।। हृदय की स्थिति की पीड़ा न पूछिये । हाथों से डोरी प्रीत की... Hindi · कविता 8 199 Share Dr fauzia Naseem shad 21 Mar 2022 · 1 min read जीवन में व्यतीत हुए जीवन में व्यतीत हुए कुछ क्षण विशेष थे। लिखने से रह गये कुछ पन्ने शेष थे ।। मन से विरक्त थे कुछ हममें शेष थे। बरसे जो आंखों से वो... Hindi · कविता 9 264 Share Dr fauzia Naseem shad 21 Mar 2022 · 1 min read जैसे कबीर है कैसी निःशब्दता कैसी ये पीर है व्याकुल हैं नैन भी मन भी अधीर है घायल जो कर गया हमें वो तेरे लफ़्ज़ों का तीर है बरसे तेरे वियोग में नैनो... Hindi · कविता 10 179 Share Dr fauzia Naseem shad 21 Mar 2022 · 1 min read कोई आंखों का ख़्वाब किरचियां चुभ रही जो आंखों में । कोई आंखों का ख़्वाब टूटा है ।। डाॅ फौज़िया नसीम शाद Hindi · कविता · शेर 15 415 Share Dr fauzia Naseem shad 20 Mar 2022 · 1 min read उर में अपने तुम पाओगे स्नेह स्पर्श मधुर समर्पित सा । उर में अपने तुम पाओगे ।। देखोगे जब कोई दर्पण । उसमें प्रतिबिम्ब मेरा पाओगे ।। डाॅ फौज़िया नसीम शाद Hindi · कविता 12 178 Share Dr fauzia Naseem shad 20 Mar 2022 · 1 min read ह्रदय संवेदना से नंगे-भूखे नज़र नहीं आते ह्रदय संवेदना से जो भर जाते निर्धनता-विवशता कहीं नहीं होती । मनुष्य यदि मनुष्यता से भर जाते ! डाॅ फौज़िया नसीम शाद Hindi · कविता 11 359 Share Dr fauzia Naseem shad 17 Mar 2022 · 1 min read हम तमाशा थे उसकी मर्ज़ी का खेल था सारा । हम तमाशा थे ज़िन्दगी के लिए ।। डाॅ फौज़िया नसीम शाद Hindi · कविता 10 209 Share Dr fauzia Naseem shad 16 Mar 2022 · 1 min read जैसे कबीर है कैसी निःशब्दता कैसी ये पीर है व्याकुल हैं नैन भी मन भी अधीर है घायल जो कर गया हमें वो तेरे लफ़्ज़ों का तीर है बरसे तेरे वियोग में नैनो... Hindi · कविता 13 451 Share Dr fauzia Naseem shad 7 Mar 2022 · 1 min read स्त्री स्त्री को नियंत्रित रखने को एक जाल बुना जाता है स्त्री के लिए ही मर्यादा का हर शब्द गढ़ा जाता है सम्मानीय, पूजनीय उसे देवी भी कहा जाता है स्त्रीत्व... Hindi · कविता 9 1 204 Share Dr fauzia Naseem shad 2 Mar 2022 · 1 min read स्त्री को नियंत्रित स्त्री को नियंत्रित रखने को एक जाल बुना जाता है स्त्री के लिए ही मर्यादा का हर शब्द गढ़ा जाता है सम्मानीय, पूजनीय उसे देवी भी कहा जाता है स्त्रीत्व... Hindi · कविता 10 153 Share Dr fauzia Naseem shad 1 Mar 2022 · 1 min read स्वयं का दोषी कर देती है अस्थिर मन और मन की इच्छा स्वयं का दोषी कर देती है मन में उठती निर्मूल आशंका जीवन- मृत्यु सा कर देती है भोग-विलास की मन की इच्छा दुःख का... Hindi · कविता 8 246 Share Dr fauzia Naseem shad 28 Feb 2022 · 1 min read कुछ न तुमसा था कुछ न तुमसा था और न मुझसा था फिर भी कुछ था जो एक जैसा था वो था एहसास जिसका एहसास तुझे भी था और मुझे भी था । डाॅ... Hindi · कविता 9 147 Share Dr fauzia Naseem shad 24 Feb 2022 · 1 min read मन को न जानते हैं मन को न जानते हैं जिस्मों को देखते हैं सदियों से ये तमाशा आंखों से देखते हैं तन पर पड़े हुए कपड़ो को देखते हैं किस वक़्त घर से निकली... Hindi · कविता 9 297 Share Dr fauzia Naseem shad 24 Feb 2022 · 1 min read जब सवाल हो स्वयं से एक निर्णय हो स्वयं से एक भेट हो स्वयं से सीमा न हो समय की जब संवाद हो स्वयं से न रिक्तता हो मन में जब प्रेम हो स्वयं से... Hindi · कविता 18 544 Share Dr fauzia Naseem shad 24 Feb 2022 · 1 min read जीवन है मेरा जीवन है मेरा अधिकार है मेरा स्वीकार है मेरा अस्वीकार है मेरा मेरी हदो का आकाश है मेरा मैं हूं तो है अस्तित्व ये मेरा जो मैं न रहूं तो... Hindi · कविता 10 182 Share Dr fauzia Naseem shad 24 Feb 2022 · 1 min read ह्रदय की वेदना को ह्रदय की वेदना को मन की संवेदना को जो व्यक्त कर सके जो विभक्त कर सके पीड़ा की मूकता को रिश्तों की चूकता को वो शब्द ढूंढने हैं वो निःशब्द... Hindi · कविता 10 326 Share Dr fauzia Naseem shad 22 Feb 2022 · 1 min read अस्थिर मन अस्थिर मन और मन की इच्छा स्वयं का दोषी कर देती है मन में उठती निर्मूल आशंका जीवन- मृत्यु सा कर देती है भोग-विलास की मन की इच्छा दुःख का... Hindi · कविता 9 181 Share Dr fauzia Naseem shad 21 Feb 2022 · 1 min read मेरे लबों की दुआ का किसी भी ग़म की न कभी तेरे हिस्से में कोई शाम आये तेरे हिस्से में मुस्कुराता हुआ तेरा हर एक पल आये तमाम ख़ुशियाँ जहाँ की तेरा मुकद्दर हों मेरे... Hindi · कविता 9 300 Share Dr fauzia Naseem shad 19 Feb 2022 · 1 min read तेरे नाम मैंने तेरे नाम मैंने ह्रदय की अभिव्यक्ति लिखी है या कहूँ फिर मैंने एक कविता लिखी है सहमी-सहमी सी ह्रदय की व्याकुलता लिखी है समर्पण है जिसमें विचारों का मेरे अर्पण... Hindi · कविता 10 348 Share Dr fauzia Naseem shad 19 Feb 2022 · 1 min read आईने सा ये दिल आईने सा , ये दिल टूटा है मेरी क़िस्मत ने मुझको लूटा है ज़िंदगी तुझसे क्या-क्या छूटा है नींद टूटी है ख़्वाब टूटा है उसका अंदाज़ है जुदा सबसे न... Hindi · कविता 8 154 Share Dr fauzia Naseem shad 19 Feb 2022 · 1 min read मन के भीतर मन के भीतर कुछ कुछ व्यवस्थित सा कुछ अव्यवस्थित सा विचारों का समूह होता है सुख और दुःख आशा-निराशा संतोष-असंतोष शेष सभी कुछ जिनको जीता है कभी तो कभी मर... Hindi · कविता 9 1 308 Share Dr fauzia Naseem shad 19 Feb 2022 · 1 min read ठहरो ज़रा ठहरो ज़रा मेरी बात सुन लो जिस्म से ये जाँ निकलने से पहले इस दुनिया से रूख़सत होने से पहले मिट्टी के मिट्टी में मिलने से पहले बस एक बार... Hindi · कविता 8 155 Share Dr fauzia Naseem shad 17 Feb 2022 · 1 min read सोच कर मन भी मेरा सोच कर मन भी मेरा भर आया स्मरण उसको क्यों नहीं आया भ्रम टूटा जो मेरे स्पन्नो का मन विश्वास कर नहीं पाया राह तकते हैं नैन क्यों उसके लौट... Hindi · कविता 11 2 426 Share Dr fauzia Naseem shad 17 Feb 2022 · 1 min read हार भी स्वीकार हो जीवन का जीवन पर तेरे ये उपकार हो । केवल सफलता ही नहीं हार भी स्वीकार हो । वाणी तेरी मीठी-मीठी उच्य तेरे विचार हो । मित्र बने शत्रु भी... Hindi · कविता 8 1 158 Share Dr fauzia Naseem shad 16 Feb 2022 · 1 min read स्त्री को नियंत्रित रखने को स्त्री को नियंत्रित रखने को एक जाल बुना जाता है स्त्री के लिए ही मर्यादा का हर शब्द गढ़ा जाता है सम्मानीय, पूजनीय उसे देवी भी कहा जाता है स्त्रीत्व... Hindi · कविता 9 1 135 Share Dr fauzia Naseem shad 16 Feb 2022 · 1 min read संदेह से बड़ा संदेह से बड़ा जीवन में कोई दोष नहीं है। सन्तुष्टि हो अपूर्णता में कोई पूर्ण नहीं है। पसंद मेरे जीवन में मुझे कोई हस्तक्षेप नहीं है। सीमित हैं तुम्हीं तक... Hindi · कविता 8 181 Share Dr fauzia Naseem shad 14 Feb 2022 · 1 min read जीवन में कभी कोई जीवन में कभी कोई तेरी आस न टूटे स्वयं पर से कभी तेरा विश्वास न टूटे श्वासों की ये डोरी मैंने बांध ली तुमसे जब तक ये चले श्वास तेरा... Hindi · कविता 7 146 Share Dr fauzia Naseem shad 14 Feb 2022 · 1 min read मन की पीड़ा मन की पीड़ा मन के भीतर मूक सी है कैसी जीवन में जीवन की भूख सी है कोमल मन में भाव समाहित हृदय पे खिली कोई धूप सी है रिश्तों... Hindi · कविता 7 149 Share Dr fauzia Naseem shad 12 Feb 2022 · 1 min read तेरे नाम मैंने तेरे नाम मैंने ह्रदय की अभिव्यक्ति लिखी है या कहूँ फिर मैंने एक कविता लिखी है सहमी-सहमी सी ह्रदय की व्याकुलता लिखी है समर्पण है जिसमें विचारों का मेरे अर्पण... Hindi · कविता 7 154 Share Dr fauzia Naseem shad 11 Feb 2022 · 1 min read भ्रम में जीने वाले सत्य स्वीकार कहां करते हैं शान्त मन को पुनः अशान्त सा करते हैं भ्रम में जीने वाले सत्य स्वीकार कहां करते हैं तुम से जीवन जीवन से तुम तुमसे जुड़े इस जीवन की हर बात... Hindi · कविता 8 260 Share Dr fauzia Naseem shad 11 Feb 2022 · 1 min read साल जो बदला है क्या तुम भी बदले हो क्या हम भी बदले हैं साल जो बदला है क्या हाल भी बदला है क्या तेरी मेरी मानसिकता का क्या स्तर भी बदला है भूख,... Hindi · कविता 17 387 Share Dr fauzia Naseem shad 10 Feb 2022 · 1 min read तेरा एहसास जी के देखा है तेरा एहसास जी के देखा है लम्स की तेरी महकी खुशबू को मैंने खुद में बिखरते देखा है लेके लफ़्ज़ों के एक सहारे को दर्द को अपने छू के देखा... Hindi · कविता 8 182 Share Previous Page 2 Next