Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
12 Apr 2025 · 1 min read

दोहा

मोतियन की माला में
जीवन रस खोज कैसी I
जब भक्ति रस में है
मोक्ष राह समाय रही II

अनिल कुमार गुप्ता “अंजुम”

Language: Hindi
1 Like · 22 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
View all

You may also like these posts

उस दिन
उस दिन
Shweta Soni
सोशल मीडिया पर प्राइवेसी कैसे सुरक्षित रखें
सोशल मीडिया पर प्राइवेसी कैसे सुरक्षित रखें
अरशद रसूल बदायूंनी
Waste your time 😜
Waste your time 😜
Otteri Selvakumar
जो लिखा है
जो लिखा है
Dr fauzia Naseem shad
मातु शारदे
मातु शारदे
ओम प्रकाश श्रीवास्तव
🙏 गुरु चरणों की धूल 🙏
🙏 गुरु चरणों की धूल 🙏
जूनियर झनक कैलाश अज्ञानी झाँसी
विशाल नन्हा
विशाल नन्हा
Shekhar Deshmukh
..
..
*प्रणय प्रभात*
क्यों लेते हो वो बात अपने अंदर,
क्यों लेते हो वो बात अपने अंदर,
Buddha Prakash
रोटियों से भी लड़ी गयी आज़ादी की जंग
रोटियों से भी लड़ी गयी आज़ादी की जंग
कवि रमेशराज
मां गंगा
मां गंगा
पं अंजू पांडेय अश्रु
काग़ज़ो के फूल में ख़ुशबू कहाँ से लाओगे
काग़ज़ो के फूल में ख़ुशबू कहाँ से लाओगे
अंसार एटवी
*बीमारी जो आई है, यह थोड़े दिन की बातें हैं (हिंदी गजल)*
*बीमारी जो आई है, यह थोड़े दिन की बातें हैं (हिंदी गजल)*
Ravi Prakash
आज
आज
सिद्धार्थ गोरखपुरी
लोकतंत्र का महापर्व
लोकतंत्र का महापर्व
डॉ नवीन जोशी 'नवल'
चरित्र साफ शब्दों में कहें तो आपके मस्तिष्क में समाहित विचार
चरित्र साफ शब्दों में कहें तो आपके मस्तिष्क में समाहित विचार
Rj Anand Prajapati
बीत गया सो बीत गया...
बीत गया सो बीत गया...
डॉ.सीमा अग्रवाल
यह क्या अजीब ही घोटाला है,
यह क्या अजीब ही घोटाला है,
Chaahat
4471.*पूर्णिका*
4471.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
नववर्ष है, नव गीत गाएँ..!
नववर्ष है, नव गीत गाएँ..!
Dr. Asha Kumar Rastogi M.D.(Medicine),DTCD
मुक्तक
मुक्तक
surenderpal vaidya
मुक्तक काव्य
मुक्तक काव्य
Suman (Aditi Angel 🧚🏻)
ग़ज़ल सगीर
ग़ज़ल सगीर
डॉ सगीर अहमद सिद्दीकी Dr SAGHEER AHMAD
मोहब्बत तो अब भी
मोहब्बत तो अब भी
Surinder blackpen
*जीवन के गान*
*जीवन के गान*
Mukta Rashmi
फरेब की दहलीज से, गुजर कर हमने देखा।
फरेब की दहलीज से, गुजर कर हमने देखा।
श्याम सांवरा
समय
समय
लक्ष्मी वर्मा प्रतीक्षा
सात जन्मों तक
सात जन्मों तक
Dr. Kishan tandon kranti
अनाथों सी खूंँटियांँ
अनाथों सी खूंँटियांँ
Akash Agam
लगा जैसे उसकी आंखों में सारा समंदर समाया हो,
लगा जैसे उसकी आंखों में सारा समंदर समाया हो,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
Loading...