“उस दरवाज़े के अंदर प्रवेश करना कितना दुश्वार हो जाता है जहा

“उस दरवाज़े के अंदर प्रवेश करना कितना दुश्वार हो जाता है जहाँ आपको मालूम हो कि आपकी उपस्थित लोगों की आंखों में किरकिरी का कारण बन जाएगी।”
मधु गुप्ता “अपराजिता”
“उस दरवाज़े के अंदर प्रवेश करना कितना दुश्वार हो जाता है जहाँ आपको मालूम हो कि आपकी उपस्थित लोगों की आंखों में किरकिरी का कारण बन जाएगी।”
मधु गुप्ता “अपराजिता”