अफसोस नही है मुझको, माँ भारती की भूमि पर मरने का

अफसोस नही है मुझको, माँ भारती की भूमि पर मरने का
अफसोस नही है मुझको, संसद मे सिंहारो के चिल्लाने का
एक पाँव व हाथ के साथ, एक आँख व मेरे अस्सी घावों का
अफसोस तो है मुझको, संसद मे तेरे चुप बैठ कर सुनने का
अनिल चौबीसा चित्तौड़
9829246588