Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
0
Notifications
Settings
#25 Trending Author
Umender kumar
36 Followers
Follow
Report this post
8 Dec 2024 · 1 min read
आजकल जिंदगी भी,
आजकल जिंदगी भी,
मिलती अस्पताल में ही है,
और निकलती भी अस्पताल में है…
Tag:
Quote Writer
Like
Share
38 Views
Share
Facebook
Twitter
WhatsApp
Copy link to share
Copy
Link copied!
You may also like these posts
सामने आ रहे
surenderpal vaidya
महाकाल का आंगन
सुरेश कुमार चतुर्वेदी
मुझे हार से डर नही लगता क्योंकि मैं जानता हूं यही हार एक दिन
Rj Anand Prajapati
फ़ायदा क्या है यूं वज़ाहत का,
Dr fauzia Naseem shad
पाँव पर जो पाँव रख...
डॉ.सीमा अग्रवाल
खुद से
पूर्वार्थ
#आज़ादी_का_सबक़- *(अपनी पहचान आप बनें)* 👌
*प्रणय*
ग़ज़ल _ आख़िरी आख़िरी रात हो ।
Neelofar Khan
प्यार में आलिंगन ही आकर्षण होता हैं।
Neeraj Agarwal
वो खत मोहब्बत के जला आई हूं,
Jyoti Roshni
विश्व पर्यावरण दिवस 💐💐
Nutan Das
नेता जी
Sanjay ' शून्य'
गीत का तानाबाना
आचार्य ओम नीरव
Nचाँद हमारा रहे छिपाये
Dr Archana Gupta
मिट्टी
DR ARUN KUMAR SHASTRI
रेल चलय छुक-छुक
Dr. Kishan tandon kranti
कर्म
लक्ष्मी सिंह
*सच्चा दोस्त*
सुरेन्द्र शर्मा 'शिव'
मित्रता
Shashi Mahajan
"Let us harness the power of unity, innovation, and compassi
Rahul Singh
भ्रष्टाचार
आकाश महेशपुरी
नेताओं एवं सरकारों के लिए कानून
सोलंकी प्रशांत (An Explorer Of Life)
Always & Forever.
Manisha Manjari
4752.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
‘बेटियाँ’
Vivek Mishra
*जलने वाले जल रहे, जल-भुनकर हैं राख (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
*********** एक मुक्तक *************
सुखविंद्र सिंह मनसीरत
ग़ज़ल
Jitendra Kumar Noor
है जो मुआ गुरूर
RAMESH SHARMA
किसी ने दिया तो था दुआ सा कुछ....
सिद्धार्थ गोरखपुरी
Loading...