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12 Feb 2017 · 1 min read

II नेता या अभिनेता II

वह कोई नेता या अभिनेता रहा होगा ,
क्योंकि जब उसने देखा जनता की भूख और प्यास को,
तरसती आंखों में रोटी कपड़ा और मकान की आस को,
तब उसकी आंखों से बहने लगे आंसू ,
और वह जनता की झोली में डाल गया,
कुछ वादे आशाएं और कुछ सपने l

शाम को जब मैं उस की हवेली के सामने से गुजरा ,
तब वह लॉन में बैठा अपने कुत्ते को,
बहुत प्यार से बिस्किट खिला रहा था ,
और वही माली का लड़का ,
झाड़ियों के पीछे ललचाई आंखों से ,
कभी कुत्ते को तो कभी बिस्किट को निहारता था ,
और मन ही मन अपने से अच्छा कुत्ते को पा रहा था l
संजय सिंह “सलील”
प्रतापगढ़ ,उत्तर प्रदेश l

Language: Hindi
Tag: कविता
325 Views
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