जागी आँखें गवाही दे देंगी,
धार्मिक स्थलों के झगडे, अदालतों में चल रहे है. इसका मतलब इन
प्रतिस्पर्धाओं के इस युग में सुकून !!
इस बुझी हुई राख में तमाम राज बाकी है
बचपन से जिनकी आवाज सुनकर बड़े हुए
आजाद है सभी इस जहांँ में ,
*मनः संवाद----*
रामनाथ साहू 'ननकी' (छ.ग.)
पहले जो मेरा यार था वो अब नहीं रहा।
विचार
अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
सुन लो प्रिय अब किसी से प्यार न होगा।/लवकुश यादव "अजल"