सुनो पहाड़ की....!!! (भाग - ३)
माँ में मिला गुरुत्व ही सांसों के अनंत विस्तार के व्यापक स्त
Charlie Chaplin truly said:
हम तुम और वक़्त जब तीनों क़िस्मत से मिल गए
तीन औरतें बेफिक्र जा रही थीं,
इस बुझी हुई राख में तमाम राज बाकी है
सच को कभी तुम छुपा नहीं सकते
हिंदी दिवस - विषय - दवा
राजीव नामदेव 'राना लिधौरी'
चाह थी आप से प्रेम मिलता रहे, पर यहांँ जो मिला वह अलौकिक रहा
*ट्रस्टीशिप विचार: 1982 में प्रकाशित मेरी पुस्तक*
लहरों ने टूटी कश्ती को कमतर समझ लिया
शोकहर छंद विधान (शुभांगी)
प्रकृति! तेरे हैं अथाह उपकार
कौन कहता है वो ठुकरा के गया
*"मर्यादा पुरूषोत्तम श्री राम"*