बुरा न मानो, होली है! जोगीरा सा रा रा रा रा....
किसी भी वार्तालाप की यह अनिवार्यता है कि प्रयुक्त सभी शब्द स
दर्द देकर मौहब्बत में मुस्कुराता है कोई।
इंसान की भूख कामनाएं बढ़ाती है।
लम्हें संजोऊ , वक्त गुजारु,तेरे जिंदगी में आने से पहले, अपने
जीवन को जीवन की तरह ही मह्त्व दे,
बेवजह का रोना क्या अच्छा है
*सा रे गा मा पा धा नि सा*
दिल ये इज़हार कहां करता है