2540.पूर्णिका
2540.पूर्णिका
🌹गलगललदम्मे में खो गए 🌹
22 22 2212
गलगललदम्मे में खो गए ।
मशगुल भी सारे हो गए।।
खाये पीये तो खूब हम ।
थककर सब साथी सो गए ।।
आना था जाना था कहाँ ।
दुनिया अपनी जो गए।।
नाम उसी का है जिंदगी।
वो प्यार जहाँ भी बो गए ।।
आज कहानी खेदू कहे।
जब हाल बुरा रो रो गए ।।
……✍डॉ .खेदू भारती”सत्येश”
2-10-2023सोमवार