24/250. *छत्तीसगढ़ी पूर्णिका*
24/250. छत्तीसगढ़ी पूर्णिका
🌷 झन रिसाये कर 🌷
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झन रिसाये कर ।
मन लगाये कर ।।
सुघ्घर ये जिनगी।
अपन भाये कर ।।
देख सुन दुनिया।
झन सताये कर ।।
बस मया महके ।
पग दिखाये कर।।
जीपरहा खेदू।
जग बनाये कर ।।
……….✍ डॉ .खेदू भारती”सत्येश”
26-02-2024सोमवार