■ एक और परिभाषा
#थिंक_ज़रा_हट_के
■ नई परिभाषा “विकास” की
【प्रणय प्रभात】
बीते कुछ साल से यह देश का सबसे प्रचलित शब्द है। जिसकी व्याख्या राजनैतिक महापुरुष अपने-अपने हानि-लाभ के हिसाब से करते हैं। ऐसे में मेरे जैसा एक अदना नागरिक “विकास” को इस तरह भी परिभाषित कर सकता है। क्या करें और…? काम ही यही है अपना। कुछ अलग सा पकाना और परोस देना। मास्टर शेफ़ की तरहः। पास-फैल करना आप का काम। पर