***होली के व्यंजन***
व्यंजन सारे होते निराले
स्वादिष्ट मनभावन से
प्यारी सुगंध सर्वत्र फैली
खिल उठे यूँ मुखड़े सारे।
गुझिया,चकली,पेड़े,जलेबी
मुठिया,मठरी,और दाबेली
मीठे नमकीन सबको प्यारे
शकरपारे बन गए करारे।
मीठी रबड़ी सबको भाये
दूध ले हाँडी में ढेर सारा
शीघ्र ही आज रबड़ी बनाई
सबका मन फिर यूँ ललचाया।
लो आई गुझिया की बारी
मावा,शक्कर उसमे मिलाई
आकार की गुझिया बनाई
बच्चों ने मिलजुल कर खाई
बारी बारी व्यंजन बनाये
गुझिया,चकली से थाल सजाये
अनेक मधुर पकवान बनाये
होली की अब शुभकामनायें
✍️”कविता चौहान”
स्वरचित एवं मौलिक