हर एक राज को राज ही रख के आ गए…..
हर एक राज को राज ही रख के आ गए…..
हम कई जगह हथेली पे जान रख के आ गए
मत्सलाह यह था की पगड़ी संभालती थी..
यह सोचकर हम बहुत आगे आ गए……. |
✍️☑️ 🅳🅴🅴🅿🅰🅺 🆂🅰🆁🅰🅻
हर एक राज को राज ही रख के आ गए…..
हम कई जगह हथेली पे जान रख के आ गए
मत्सलाह यह था की पगड़ी संभालती थी..
यह सोचकर हम बहुत आगे आ गए……. |
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