"I’m now where I only want to associate myself with grown p
#शीर्षक;-ले लो निज अंक मॉं
ख़ुदा करे ये कयामत के दिन भी बड़े देर से गुजारे जाएं,
क्या करना उस मित्र का, मुँह पर करता वाह।
प्रधानमंत्री जी ने ‘आयुष्मान भारत ‘ का झुनझुना थमा दिया “
तुझसे है मुझे प्यार ये बतला रहा हूॅं मैं।
जीवन जोशी कुमायूंनी साहित्य के अमर अमिट हस्ताक्षर
नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर
गरबा नृत्य का सांस्कृतिक अवमुल्यन :जिम्मेवार कौन?
वक्त रुकता नहीं कभी भी ठहरकर,
(((((((((((((तुम्हारी गजल))))))
कहते हैं रहती नहीं, उम्र ढले पहचान ।
आप ज्यादातर समय जिस विषयवस्तु के बारे में सोच रहे होते है अप
नज़र
Dr. Akhilesh Baghel "Akhil"
कोई भी मजबूरी मुझे लक्ष्य से भटकाने में समर्थ नहीं है। अपने
रामनाथ साहू 'ननकी' (छ.ग.)
जिंदगी में सफ़ल होने से ज्यादा महत्वपूर्ण है कि जिंदगी टेढ़े
अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
अरमान गिर पड़े थे राहों में
हरिगीतिका छंद विधान सउदाहरण ( श्रीगातिका)