सितारे
********** सितारे (रोला) **********
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नभ में निकले आज,चाँद के संग सितारे।
चाँदनी हुई रात , हो गए वारे न्यारे।।
सिर पर शोभित ताज,अंबर है वो अवनि का।
भूषण है आसीन , सितारों से जड़ा हुआ।।
सितारों भरी रात , चमकते नभ है सारे।
खुशियो की बारात , टिमटिमाता है तारे।।
देख नक्षत्र कतार, मनसीरत मन है खिला।
जुड़ते मन के तार, प्राकृतिक का प्यार मिला।।
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सुखविंद्र सिंह मनसीरत
खेड़ी राओ वाली (कैथल)