Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
22 May 2024 · 1 min read

सारा आकाश तुम्हारा है

बस जंगल, पर्वत या बादल
अब से आवास तुम्हारा है
उड़ जा उड़ जा, ऐ चिड़िया
सारा आकाश तुम्हारा है…
(१)
पिछले अंधेरों से निकलके
तुम आगे देखो आंखें मलके
जो आ रहा मेघों से छनके
वह तो प्रकाश तुम्हारा है…
(२)
जो बसा तुम्हारे सपनों में
अपनों से ज़्यादा अपनों में
उसी के साथ जीवन भर का
मधुर सहवास तुम्हारा है…
(३)
दुनिया ने तुमसे अन्याय किया
तुम्हें बिल्कुल निरुपाय किया
लिखो जाकर अपने हाथ से
अगला इतिहास तुम्हारा है…
नोट-गीत का टाइटिल दिनकर की कविता से लिया गया है।
#Geetkar
Shekhar Chandra Mitra
#प्रेमी #आजादी #प्रेमिका #लड़की
#मुक्ति #छुटकारा #बंधन #औरत #हक
#lovers #relationship #Woman
#friendship #love #birds #life
#Goodbye #अलविदा #Liberty

Language: Hindi
Tag: गीत
17 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
बाबू जी की याद बहुत ही आती है
बाबू जी की याद बहुत ही आती है
Dr. Rajendra Singh 'Rahi'
सियासत में
सियासत में
Umesh उमेश शुक्ल Shukla
कैसा फसाना है
कैसा फसाना है
Dinesh Kumar Gangwar
आग़ाज़
आग़ाज़
Shyam Sundar Subramanian
🥀 *अज्ञानी की कलम*🥀
🥀 *अज्ञानी की कलम*🥀
जूनियर झनक कैलाश अज्ञानी झाँसी
ज़िंदगी तेरी किताब में
ज़िंदगी तेरी किताब में
Dr fauzia Naseem shad
वंशवादी जहर फैला है हवा में
वंशवादी जहर फैला है हवा में
महेश चन्द्र त्रिपाठी
न हँस रहे हो ,ना हीं जता रहे हो दुःख
न हँस रहे हो ,ना हीं जता रहे हो दुःख
Shweta Soni
मुक्ति
मुक्ति
Amrita Shukla
"नकल"
Dr. Kishan tandon kranti
वायदे के बाद भी
वायदे के बाद भी
Atul "Krishn"
उलझी हुई जुल्फों में ही कितने उलझ गए।
उलझी हुई जुल्फों में ही कितने उलझ गए।
सत्य कुमार प्रेमी
प्रतीक्षा
प्रतीक्षा
Kanchan Khanna
ईश्वर है
ईश्वर है
साहिल
टूटी हुई उम्मीद की सदाकत बोल देती है.....
टूटी हुई उम्मीद की सदाकत बोल देती है.....
कवि दीपक बवेजा
समाजों से सियासत तक पहुंची
समाजों से सियासत तक पहुंची "नाता परम्परा।" आज इसके, कल उसके
*प्रणय प्रभात*
*अभिनंदन उनका करें, जो हैं पलटूमार (हास्य कुंडलिया)*
*अभिनंदन उनका करें, जो हैं पलटूमार (हास्य कुंडलिया)*
Ravi Prakash
// अगर //
// अगर //
महावीर उत्तरांचली • Mahavir Uttranchali
आज के बच्चों की बदलती दुनिया
आज के बच्चों की बदलती दुनिया
अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
ख्वाबों में मेरे इस तरह आया न करो,
ख्वाबों में मेरे इस तरह आया न करो,
Ram Krishan Rastogi
life is an echo
life is an echo
पूर्वार्थ
वो पेड़ को पकड़ कर जब डाली को मोड़ेगा
वो पेड़ को पकड़ कर जब डाली को मोड़ेगा
Keshav kishor Kumar
सत्य
सत्य
लक्ष्मी सिंह
लगाव का चिराग बुझता नहीं
लगाव का चिराग बुझता नहीं
Seema gupta,Alwar
प्रेरणा गीत (सूरज सा होना मुश्किल पर......)
प्रेरणा गीत (सूरज सा होना मुश्किल पर......)
अनिल कुमार निश्छल
मैने वक्त को कहा
मैने वक्त को कहा
हिमांशु Kulshrestha
प्रथम गणेशोत्सव
प्रथम गणेशोत्सव
Raju Gajbhiye
फितरत
फितरत
Dr.Khedu Bharti
*** अंकुर और अंकुरित मन.....!!! ***
*** अंकुर और अंकुरित मन.....!!! ***
VEDANTA PATEL
दीप्ति
दीप्ति
Kavita Chouhan
Loading...