विचार
हर इंसान का काम करने का अपना तरीका (ढंग अलग) होता है। बात बात पर रोक टोक कर गलत बता उसे नीचे दिखाना गलत है। प्रत्येक इंसान अपनी अपनी सोच रखता है और उसके हिसाब से सही होता है। समाज का नाम देकर अलग सोच रखना गलत नहीं। गर कुछ गलत है तो वो दूसरे के व्यक्तित्व को स्वीकार ना कर पाना है। जिससे हम खुद को उच्च बताते है और दूसरे को तुच्छ।