Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
4 Mar 2024 · 1 min read

संपूर्णता किसी के मृत होने का प्रमाण है,

संपूर्णता किसी के मृत होने का प्रमाण है,
इसलिए संपूर्ण बनने का प्रयास न कर
अधुरे रह जाने दे कुछ काम
समेट कर सब बनाने की कोशिश न कर
अहमियत तेरी,बस तेरे काम तक सीमित रह जाए
ऐसा अपना मुकाम हासिल न कर

कुछ देर बांहों में भर कर खुद को
इत्मीनान से सूकून के पल जीया कर
और जब देह मांगने लगे कुछ पल आराम के
तब बैठ कर प्यार से उसे खुद सहलाया कर
तू वस्तू नहीं किसी कोने में पड़ी हुई
इस बात का अहसास सबको दिलाया कर।
और जो बूरा लगे किसी बात,का किसी को
गिरेबान में उसको उसके झांककर दिखाया कर ।

1 Like · 168 Views

You may also like these posts

कौन यहाँ पर पीर है,
कौन यहाँ पर पीर है,
sushil sarna
तुम समझ पाओगे कभी
तुम समझ पाओगे कभी
Dhananjay Kumar
"भरोसे के काबिल कोई कैसे मिले ll
पूर्वार्थ
भूल गए हैं
भूल गए हैं
आशा शैली
*कोई जीता कोई हारा, क्रम यह चलता ही रहता है (राधेश्यामी छंद)
*कोई जीता कोई हारा, क्रम यह चलता ही रहता है (राधेश्यामी छंद)
Ravi Prakash
उन्हें जाने देते हैं...
उन्हें जाने देते हैं...
Shekhar Chandra Mitra
शब्द✍️ नहीं हैं अनकहे😷
शब्द✍️ नहीं हैं अनकहे😷
डॉ० रोहित कौशिक
स्पोरोफाइट
स्पोरोफाइट
Shailendra Aseem
अदाकारी
अदाकारी
Suryakant Dwivedi
बिना कुछ कहे
बिना कुछ कहे
Harminder Kaur
"दूसरा मौका"
Dr. Kishan tandon kranti
सहसा यूं अचानक आंधियां उठती तो हैं अविरत,
सहसा यूं अचानक आंधियां उठती तो हैं अविरत,
Abhishek Soni
सुदामा जी
सुदामा जी
Vijay Nagar
यक्षिणी-5
यक्षिणी-5
Dr MusafiR BaithA
दुनिया इतनी बड़ी किताब है
दुनिया इतनी बड़ी किताब है
Indu Singh
यादें....!!!!!
यादें....!!!!!
Jyoti Khari
प्रभु वंदना
प्रभु वंदना
Suman (Aditi Angel 🧚🏻)
शिद्दतों   का    ख़ुमार    है   शायद,
शिद्दतों का ख़ुमार है शायद,
Dr fauzia Naseem shad
शु'आ - ए- उम्मीद
शु'आ - ए- उम्मीद
Shyam Sundar Subramanian
दृढ़ निश्चय
दृढ़ निश्चय
विजय कुमार अग्रवाल
दिल का मौसम सादा है
दिल का मौसम सादा है
Shweta Soni
जीवन की बगिया में
जीवन की बगिया में
Seema gupta,Alwar
जाने वाले का शुक्रिया, आने वाले को सलाम।
जाने वाले का शुक्रिया, आने वाले को सलाम।
सुरेश कुमार चतुर्वेदी
साथी
साथी
Sudhir srivastava
लगता नहीं है अब यहां दिल मेरा,
लगता नहीं है अब यहां दिल मेरा,
ओनिका सेतिया 'अनु '
त्यागकर अपने भ्रम ये सारे
त्यागकर अपने भ्रम ये सारे
इंजी. संजय श्रीवास्तव
माहिया - डी के निवातिया
माहिया - डी के निवातिया
डी. के. निवातिया
🙅आज का अनुभव🙅
🙅आज का अनुभव🙅
*प्रणय*
इक कसक ने पहलू में, पनाह तो ली है।
इक कसक ने पहलू में, पनाह तो ली है।
श्याम सांवरा
4686.*पूर्णिका*
4686.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
Loading...