शिवोहं
शिवोहं शिवोहं शिवोहं
चिता भस्म भूषित श्मसाना बसे हंम
शिवोहं शिवोहं शिवोहं।।
अशुभ देवता मृत्यु उत्सव हमारा
शुभोंह शुभोंह शुभोंह शुभोंह शिवोहं शिवोहं शिवोहं ।।
भूत पिचास स्वान सृगाल कपाली कपाल संग साथ हमारे स्वरों हम
स्वरों हम स्वरों हम शिवोहं शिवोहं
शिवोहं ।।
गले सर्प माला जटा गंग धारा
मुकुट मुंड माला देवों हंम देवों हम
देवोँ हम देवोँ हम शिवोहं शिवोहं शिवोहं।।
डमरू त्रिशूल शीश चंद्र धरे हम
पहने मृग छाला कैलाशम बसेंह
शिवोहं शिवोहं शिवोहं।।
देवता दानव सब शरण हमारे
जगत कल्याण धैर्य ध्यान त्रिनेत्र धरे हम देव तत्व की शक्ति बनी रहे ये सृष्टि
विषपान करें हम विषपान करे हम विष पान शिवोहं शिवोहं
शिवोहं ।।
अकाल का काल महामृत्युंजओ हम
दुख क्लेश हर्ता विघ्न विनाशक हम
पार्वती अर्ध अर्धागिनी अर्ध नारीश्वरों हम अर्धनारीश्वरों हम अर्ध नारीश्वरों हम शिवोहं शिवोहं शिवोहं।।
वसहा बैल नंदी है वाहन हमारा
रौद्र रुद्र तांडव दुष्ट संघार कारक
औघड़ रूप धरे हम औघड़ रूप धरे हम औघड़ रूप धरें हम शिवोहं शिवोहं
शिवोहं शिवोहं।।
पकवान मिष्टान्न नही प्रिय मुझको
भांग धतूर बेल पत्रम प्रिये हम
शिवोहं शिवोहं शिवोहं शिवोहं।।
महादेव ,शिव शंकर, भोला ,गङ्गाधर
आशुतोष पंचाछरी मंत्र ॐ नमः
शिवायः से रीझे हम शिवोहं शिवोहं
शिवोहं शिवोहं।।।
पाप शाप विनाशक मोक्ष मुक्ति
प्रदायक कलयुग जीव उपकार
में हम द्वादस ज्योतिर्मय ज्योतिर्लिंग
बसे हम बसे हम शिवोहं शिवोहं शिवोहं।।