शाहदत
शाहदत का दिन हुई वीरों की पहचान अब
शौर्य से लडे वीरों से नही कोई अंजान अब
माँ भारती की गोद है इन वीरो को पुकारती
कौशल और वीरता का अंतिम इम्तिहान अब
लहू से दिया वीरों का यह बलिदान है
नम आँखों से याद करता हिन्दुस्तान है
अँधेरी रात भी दे रही है आज चांदनी
हर भरतीय के सीने मे आज जवान है
अभिषेक शर्मा