शायरी
ना उदासियां हो तुम्हे न गम फसाना हो।
इस मुस्कुराहट का हर कोई दीवाना हो।
यू सजाते रहना औरो के चेहरों पर खुशी।
तुम्हारी दोस्ती को तरसता जमाना हो।
@सर्वाधिकार सुरक्षित
मनीष कुमार सिंह ‘राजवंशी’
असिस्टेंट प्रोफेसर
ना उदासियां हो तुम्हे न गम फसाना हो।
इस मुस्कुराहट का हर कोई दीवाना हो।
यू सजाते रहना औरो के चेहरों पर खुशी।
तुम्हारी दोस्ती को तरसता जमाना हो।
@सर्वाधिकार सुरक्षित
मनीष कुमार सिंह ‘राजवंशी’
असिस्टेंट प्रोफेसर