Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
5 Feb 2021 · 1 min read

वृद्ध पिता माँ

ताटंक छन्द
16,14 की यति

वृद्ध पिता माँ से सुत देखो, दुर्व्यवहार करें ज्यादा।
बेटे और बहू मिल उनके, जीवन में करते बाधा।

भूल गए वो प्यार आपका, भूले हैं शिक्षा सारी।
सेवा करना दूर हुआ वो, आज बने अत्याचारी।

भोजन नही खिला सकते तो, क्यों देते हो तुम गाली।
कुछ तो शर्म करो अब बेटों, लोग हँस रहे दे ताली।

मेहनत कर उस मातु पिता ने, तुमको खूब पढ़ाया है।
पर नर पशु बन तुमने उनपर, आज सितम क्या ढाया है।

तुम्हें जन्म से पाला उसने, माँ ने गोद उठाया है।
एक बहू के आ जाने से, तू हो गया पराया है।

आज बहू के हाँथों से क्यों, माँ को तू पिटवाता है।
जिसने तुमको बड़ा किया पर, तुम्हें तरस ना आता है।

माँ ममता ना समझी तूने, सोच दुखी वो होती है।
तेरी इन करतूतों से माँ, छुपके-छुपके रोती है।

Language: Hindi
4 Likes · 1 Comment · 293 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
दोस्त
दोस्त
Neeraj Agarwal
एक बेवफा का प्यार है आज भी दिल में मेरे
एक बेवफा का प्यार है आज भी दिल में मेरे
VINOD CHAUHAN
अगर आप सही हैं, तो आपके साथ सही ही होगा।
अगर आप सही हैं, तो आपके साथ सही ही होगा।
Dr. Pradeep Kumar Sharma
सच्चे इश्क़ का नाम... राधा-श्याम
सच्चे इश्क़ का नाम... राधा-श्याम
Srishty Bansal
Republic Day
Republic Day
Tushar Jagawat
2741. *पूर्णिका*
2741. *पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
■ सार संक्षेप...
■ सार संक्षेप...
*Author प्रणय प्रभात*
21-रूठ गई है क़िस्मत अपनी
21-रूठ गई है क़िस्मत अपनी
Ajay Kumar Vimal
तेरे मेरे बीच में
तेरे मेरे बीच में
नेताम आर सी
नाव मेरी
नाव मेरी
DR ARUN KUMAR SHASTRI
*भीड़ से बचकर रहो, एकांत के वासी बनो ( मुक्तक )*
*भीड़ से बचकर रहो, एकांत के वासी बनो ( मुक्तक )*
Ravi Prakash
मैं तुलसी तेरे आँगन की
मैं तुलसी तेरे आँगन की
Shashi kala vyas
प्यार दीवाना ही नहीं होता
प्यार दीवाना ही नहीं होता
Dr Archana Gupta
मंत्र चंद्रहासोज्जलकारा, शार्दुल वरवाहना ।कात्यायनी शुंभदघां
मंत्र चंद्रहासोज्जलकारा, शार्दुल वरवाहना ।कात्यायनी शुंभदघां
Harminder Kaur
दोहे
दोहे
अशोक कुमार ढोरिया
भले कठिन है ज़िन्दगी, जीना खुलके यार
भले कठिन है ज़िन्दगी, जीना खुलके यार
महावीर उत्तरांचली • Mahavir Uttranchali
संघर्ष वह हाथ का गुलाम है
संघर्ष वह हाथ का गुलाम है
प्रेमदास वसु सुरेखा
चाँद से मुलाकात
चाँद से मुलाकात
Kanchan Khanna
लत / MUSAFIR BAITHA
लत / MUSAFIR BAITHA
Dr MusafiR BaithA
"धोखा"
Dr. Kishan tandon kranti
प्रसाद का पूरा अर्थ
प्रसाद का पूरा अर्थ
Radhakishan R. Mundhra
*वकीलों की वकीलगिरी*
*वकीलों की वकीलगिरी*
Dushyant Kumar
दस लक्षण पर्व
दस लक्षण पर्व
Seema gupta,Alwar
Nothing grand to wish for, but I pray that I am not yet pass
Nothing grand to wish for, but I pray that I am not yet pass
पूर्वार्थ
मैं गर्दिशे अय्याम देखता हूं।
मैं गर्दिशे अय्याम देखता हूं।
Taj Mohammad
एक दूसरे से बतियाएं
एक दूसरे से बतियाएं
surenderpal vaidya
निराशा क्यों?
निराशा क्यों?
Sanjay ' शून्य'
खुल के सच को अगर कहा जाए
खुल के सच को अगर कहा जाए
Dr fauzia Naseem shad
वो लड़की
वो लड़की
Kunal Kanth
अब किसी की याद पर है नुक़्ता चीनी
अब किसी की याद पर है नुक़्ता चीनी
Sarfaraz Ahmed Aasee
Loading...