वाकई, यह देश की अर्थव्यवस्था का स्वर्ण-काल है। पहले “रंगदार”
वाकई, यह देश की अर्थव्यवस्था का स्वर्ण-काल है। पहले “रंगदार” हज़ारों की मांग करते थे। अब करोड़ों की कर रहे हैं। जय हो।।
😊प्रणय प्रभात😊
वाकई, यह देश की अर्थव्यवस्था का स्वर्ण-काल है। पहले “रंगदार” हज़ारों की मांग करते थे। अब करोड़ों की कर रहे हैं। जय हो।।
😊प्रणय प्रभात😊