Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
12 Feb 2024 · 1 min read

लिखना

“लिखना”

लिखता नहीं कि कुछ पा सकूं
लिखता नहीं कि कुछ नाम कमा सकूं
लिखता नहीं कि लोग प्रशंसा करे मेरी
लिखता हूं क्योंकि बहुत बोलने के बाद भी
बहुत अंतर्मुखी हूं मैं
इतनी आसानी से
अपनी भावनाएं नहीं कह पाता मैं
लिखता हूं क्योंकि जो नहीं कह पाता
लिखने से वो भी कह जाता हूं मैं
लिखता हूं क्योंकि लिखना
सुकून जैसा है मेरे लिए
लिखता हूं क्योंकि अपनी ही भावनाओं को
सरल से शब्दों में पिरो सकूं
लिखना कुछ – कुछ
अरस्तू के विरेचन सिद्धांत की तरह
काम करता है मुझ पर
लिखने के साथ ही मुक्त हो जाता हूं
जैसे एक भारी और उदास मन से
और महसूस करने लगता हूं सहज व सरल

…..

Language: Hindi
151 Views

You may also like these posts

उनकी आंखो मे बात अलग है
उनकी आंखो मे बात अलग है
Vansh Agarwal
*आओ गाओ गीत बंधु, मधु फागुन आया है (गीत)*
*आओ गाओ गीत बंधु, मधु फागुन आया है (गीत)*
Ravi Prakash
दिल को यूं भी सुकून देते हैं।
दिल को यूं भी सुकून देते हैं।
Dr fauzia Naseem shad
जादू  था या जलजला, या फिर कोई ख्वाब ।
जादू था या जलजला, या फिर कोई ख्वाब ।
sushil sarna
शिव शंभू भोला भंडारी !
शिव शंभू भोला भंडारी !
Bodhisatva kastooriya
मैं वो नदिया नहीं हूँ
मैं वो नदिया नहीं हूँ
Saraswati Bajpai
रामजी हमारा एहसान मानते हैं
रामजी हमारा एहसान मानते हैं
Sudhir srivastava
साथ रहोगे
साथ रहोगे
Rambali Mishra
हमें पकड़ते नहीं
हमें पकड़ते नहीं
महेश चन्द्र त्रिपाठी
मैं अपना यौवन देता हूँ !
मैं अपना यौवन देता हूँ !
पाण्डेय चिदानन्द "चिद्रूप"
चलो कुछ नया करते हैं
चलो कुछ नया करते हैं
AMRESH KUMAR VERMA
मोहब्बत
मोहब्बत
Dinesh Kumar Gangwar
- अनमोल -
- अनमोल -
bharat gehlot
न किजिए कोशिश हममें, झांकने की बार-बार।
न किजिए कोशिश हममें, झांकने की बार-बार।
ओसमणी साहू 'ओश'
संघर्षों के राहों में हम
संघर्षों के राहों में हम
डॉ. दीपक बवेजा
पराया
पराया
Mansi Kadam
हमनें कर रखें थे, एहतराम सारे
हमनें कर रखें थे, एहतराम सारे
Keshav kishor Kumar
💐💐कुण्डलिया निवेदन💐💐
💐💐कुण्डलिया निवेदन💐💐
भवानी सिंह धानका 'भूधर'
शुक्र मनाओ आप
शुक्र मनाओ आप
शेखर सिंह
"मानुष "
Shakuntla Agarwal
पृष्ठों पर बांँध से
पृष्ठों पर बांँध से
Neelam Sharma
#कविता-
#कविता-
*प्रणय*
3712.💐 *पूर्णिका* 💐
3712.💐 *पूर्णिका* 💐
Dr.Khedu Bharti
भय
भय
R D Jangra
मन की बुलंद
मन की बुलंद
Anamika Tiwari 'annpurna '
"सत्य"
Dr. Kishan tandon kranti
भवप्रीता भवानी अरज सुनियौ...
भवप्रीता भवानी अरज सुनियौ...
निरुपमा
ग़ज़ल __न दिल को राहत मिली कहीं से ,हुई निराशा भी खूब यारों,
ग़ज़ल __न दिल को राहत मिली कहीं से ,हुई निराशा भी खूब यारों,
Neelofar Khan
मैंने उस नद्दी की किस्मत में समंदर लिख दिया
मैंने उस नद्दी की किस्मत में समंदर लिख दिया
Nazir Nazar
यूं ही नहीं होते हैं ये ख्वाब पूरे,
यूं ही नहीं होते हैं ये ख्वाब पूरे,
Shubham Pandey (S P)
Loading...