Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
17 May 2024 · 1 min read

यूं ही हमारी दोस्ती का सिलसिला रहे।

गज़ल

221/2121/1221/212
यूं ही हमारी दोस्ती का सिलसिला रहे।
हाथों में हाथ हों न हों पर दिल मिला रहे।1

गुलशन की रंग-ओ-खशबू बिखरती रहे सदा,
हर फूल डाली पर यूं ही हरदम खिला रहे।2

उसकी नज़र में एक है दुनियां की सरजमीं,
कोई प्रदेश देश या कोई जिला रहे।3

कितनी भी कोशिशें करें शिकवा कोई न हो,
मुमकिन है फिर भी आपको मुझसे गिला रहे।4

रोके न रोक पाया है कोई भी इश्क को,
प्रेमी अभेद्य चाहे कोई भी किला रहे।5

………✍️ सत्य कुमार प्रेमी

22 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
दलित साहित्य / ओमप्रकाश वाल्मीकि और प्रह्लाद चंद्र दास की कहानी के दलित नायकों का तुलनात्मक अध्ययन // आनंद प्रवीण//Anandpravin
दलित साहित्य / ओमप्रकाश वाल्मीकि और प्रह्लाद चंद्र दास की कहानी के दलित नायकों का तुलनात्मक अध्ययन // आनंद प्रवीण//Anandpravin
आनंद प्रवीण
हर अदा उनकी सच्ची हुनर था बहुत।
हर अदा उनकी सच्ची हुनर था बहुत।
सत्येन्द्र पटेल ‘प्रखर’
...
...
*प्रणय प्रभात*
ऐ दिल सम्हल जा जरा
ऐ दिल सम्हल जा जरा
Anjana Savi
हम घर रूपी किताब की वह जिल्द है,
हम घर रूपी किताब की वह जिल्द है,
Umender kumar
ग़म
ग़म
Harminder Kaur
याद में
याद में
sushil sarna
सत्याग्रह और उग्रता
सत्याग्रह और उग्रता
नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर
डर
डर
अखिलेश 'अखिल'
भैतिक सुखों का आनन्द लीजिए,
भैतिक सुखों का आनन्द लीजिए,
Satish Srijan
2362.पूर्णिका
2362.पूर्णिका
Dr.Khedu Bharti
रूठकर के खुदसे
रूठकर के खुदसे
Suman (Aditi Angel 🧚🏻)
*होइही सोइ जो राम रची राखा*
*होइही सोइ जो राम रची राखा*
Shashi kala vyas
Neet aspirant suicide in Kota.....
Neet aspirant suicide in Kota.....
सोलंकी प्रशांत (An Explorer Of Life)
वो शख्स अब मेरा नहीं रहा,
वो शख्स अब मेरा नहीं रहा,
लक्ष्मी वर्मा प्रतीक्षा
कभी भी व्यस्तता कहकर ,
कभी भी व्यस्तता कहकर ,
DrLakshman Jha Parimal
आज मन उदास है
आज मन उदास है
Shweta Soni
अक्सर हम ऐसा सच चाहते है
अक्सर हम ऐसा सच चाहते है
शेखर सिंह
"बताओ"
Dr. Kishan tandon kranti
इंसानियत अभी जिंदा है
इंसानियत अभी जिंदा है
Sonam Puneet Dubey
अस्तित्व अंधेरों का, जो दिल को इतना भाया है।
अस्तित्व अंधेरों का, जो दिल को इतना भाया है।
Manisha Manjari
माना   कि  बल   बहुत  है
माना कि बल बहुत है
Paras Nath Jha
वो किताब अब भी जिन्दा है।
वो किताब अब भी जिन्दा है।
दुर्गा प्रसाद नाग
मुस्कुराहट से बड़ी कोई भी चेहरे की सौंदर्यता नही।
मुस्कुराहट से बड़ी कोई भी चेहरे की सौंदर्यता नही।
Rj Anand Prajapati
औरत की हँसी
औरत की हँसी
Dr MusafiR BaithA
भले ही भारतीय मानवता पार्टी हमने बनाया है और इसका संस्थापक स
भले ही भारतीय मानवता पार्टी हमने बनाया है और इसका संस्थापक स
Dr. Man Mohan Krishna
सुनो पहाड़ की.....!!! (भाग - ६)
सुनो पहाड़ की.....!!! (भाग - ६)
Kanchan Khanna
मत बांटो इंसान को
मत बांटो इंसान को
विमला महरिया मौज
मुझ पर इल्जाम लगा सकते हो .... तो लगा लो
मुझ पर इल्जाम लगा सकते हो .... तो लगा लो
हरवंश हृदय
*तुलसीदास (कुंडलिया)*
*तुलसीदास (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
Loading...