यह शहर पत्थर दिलों का
यह शहर पत्थर दिलों का है सभी बेनाम लोग
इस शहर में रह रहे हैं अजनबी अंजाम लोग
शीशे का दिल इस शहर में लेके आना है मना
तोड़ देते हैं यह दिल को मतलबी गुमनाम लोग
इस शहर में रह रहे हैं
दिल लगाने की यहां पर भूल मत करना कोई
अरे ले रहे हैं इस शहर में प्यार के भी दाम लोग
इस शहर में रह रहे हैं
कौन किसका है यहां कोई नहीं यह जानता
स्वार्थ की बस्ती में रहते बेरहम बदनाम लोग
इस शहर में रह रहे हैं
ढूँढता मैं रह गया पर इंसान ना कोई मिला
बेतहाशा भटकते देखे हर जगह शैतान लोग
इस शहर में रह रहे हैं
‘V9द’को ताजुब हुआ जो दास्तां इनकी सुनी
बस हुस्न के पीछे सभी खो चुके पहचान लोग
इस शहर में रह रहे हैं
स्वरचित
V9द चौहान