Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
27 Dec 2016 · 1 min read

*मौत से नज़रें मिलाना आ गया*

2122 2122 212

दर्द दिल का फ़िर लबों पर आ गया
याद जब  गुज़रा ज़माना आ गया

फूल को दिल में बसाया था मगर 
ख़ार से दामन सजाना आ गया

राज़ जो सबसे छिपाते हम रहे 
हर जुबां पर बन तराना आ गया

अब तलक तो ग़म ही हमको थे मिले 
है खुशी का पर खज़ाना आ गया

ज़िंदगी से हम हुए नाशाद थे 
मौत से नज़रें मिलाना आ गया 

धर्मेन्द्र अरोड़ा “मुसाफ़िर”

396 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
(वक्त)
(वक्त)
Sangeeta Beniwal
सियासत जाती और धर्म की अच्छी नहीं लेकिन,
सियासत जाती और धर्म की अच्छी नहीं लेकिन,
Manoj Mahato
3763.💐 *पूर्णिका* 💐
3763.💐 *पूर्णिका* 💐
Dr.Khedu Bharti
अब आदमी के जाने कितने रंग हो गए।
अब आदमी के जाने कितने रंग हो गए।
सत्य कुमार प्रेमी
अगर सपने आपके है तो चुनौतियां भी आप की होंगी  और कीमत भी आपक
अगर सपने आपके है तो चुनौतियां भी आप की होंगी और कीमत भी आपक
Sanjay ' शून्य'
“तुम हो जो इतनी जिक्र करते हो ,
“तुम हो जो इतनी जिक्र करते हो ,
Neeraj kumar Soni
विषय तरंग
विषय तरंग
DR ARUN KUMAR SHASTRI
सत्यमेव जयते
सत्यमेव जयते
डॉ विजय कुमार कन्नौजे
सात जन्मों की शपथ
सात जन्मों की शपथ
Bodhisatva kastooriya
"Looking up at the stars, I know quite well
पूर्वार्थ
जन्मदिन का तोहफा**
जन्मदिन का तोहफा**
Bindesh kumar jha
......... ढेरा.......
......... ढेरा.......
Naushaba Suriya
*जो सजे मेज पर फल हैं सब, चित्रों के जैसे लगते हैं (राधेश्या
*जो सजे मेज पर फल हैं सब, चित्रों के जैसे लगते हैं (राधेश्या
Ravi Prakash
नाम इंसानियत का
नाम इंसानियत का
Dr fauzia Naseem shad
प्रकृति में एक अदृश्य शक्ति कार्य कर रही है जो है तुम्हारी स
प्रकृति में एक अदृश्य शक्ति कार्य कर रही है जो है तुम्हारी स
Rj Anand Prajapati
मंज़र
मंज़र
अखिलेश 'अखिल'
सच तो जीवन में शेड का महत्व हैं।
सच तो जीवन में शेड का महत्व हैं।
Neeraj Agarwal
भ्रातत्व
भ्रातत्व
Dinesh Kumar Gangwar
जिंदगी का एक और अच्छा दिन,
जिंदगी का एक और अच्छा दिन,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
"सबके हित के लिए"
Dr. Kishan tandon kranti
आज फ़िर कोई
आज फ़िर कोई
हिमांशु Kulshrestha
***** सिंदूरी - किरदार ****
***** सिंदूरी - किरदार ****
सुखविंद्र सिंह मनसीरत
यह चाय नहीं है सिर्फ़, यह चाह भी है…
यह चाय नहीं है सिर्फ़, यह चाह भी है…
Anand Kumar
*मनः संवाद----*
*मनः संवाद----*
रामनाथ साहू 'ननकी' (छ.ग.)
मैं अकेला नही हूँ ।
मैं अकेला नही हूँ ।
Ashwini sharma
सोचें सदा सकारात्मक
सोचें सदा सकारात्मक
महेश चन्द्र त्रिपाठी
हे पैमाना पुराना
हे पैमाना पुराना
Swami Ganganiya
फिर  किसे  के  हिज्र  में खुदकुशी कर ले ।
फिर किसे के हिज्र में खुदकुशी कर ले ।
himanshu mittra
2122 1212 22/112
2122 1212 22/112
SZUBAIR KHAN KHAN
🙅इस बार भी🙅
🙅इस बार भी🙅
*प्रणय*
Loading...