Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
16 Mar 2023 · 1 min read

#मेरे पिताजी

🕉

🚩 #मेरे पिताजी

पिताजी रोज़ रात को आते हैं
कहते हैं
सयाने हो गए हैं बच्चे
अब इन्हें अपने परों से उड़ने दे
आशा-निराशा
मान-प्रतिष्ठा
और निष्ठा
जहाँ धरते हैं धरने दे
सयाने हो गए हैं बच्चे
अब इन्हें अपने मन की करने दे
अब छोड़ सब
तू आ जा . . . ।
आप वहाँ भी मेरी चिंता करते हैं ?
इतना ही कह पाता हूँ
पिताजी खिलखिलाकर हँसते हैं
और मैं जाग जाता हूँ
पिताजी के बिना अपने को अकेला पाता हूँ
अपने को बहुत अकेला पाता हूँ मैं . . . !

#वेदप्रकाश लाम्बा
यमुनानगर (हरियाणा)
९४६६०-१७३१२ — ७०२७२-१७३१२

Language: Hindi
73 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
Dating Affirmations:
Dating Affirmations:
पूर्वार्थ
जालोर के वीर वीरमदेव
जालोर के वीर वीरमदेव
Shankar N aanjna
कर ही बैठे हैं हम खता देखो
कर ही बैठे हैं हम खता देखो
Dr Archana Gupta
करूण संवेदना
करूण संवेदना
Ritu Asooja
**कुछ तो कहो**
**कुछ तो कहो**
सुखविंद्र सिंह मनसीरत
है आँखों में कुछ नमी सी
है आँखों में कुछ नमी सी
हिमांशु Kulshrestha
🥀 *अज्ञानी की कलम*🥀
🥀 *अज्ञानी की कलम*🥀
जूनियर झनक कैलाश अज्ञानी झाँसी
चली गई है क्यों अंजू , तू पाकिस्तान
चली गई है क्यों अंजू , तू पाकिस्तान
gurudeenverma198
Two Different Genders, Two Different Bodies And A Single Soul
Two Different Genders, Two Different Bodies And A Single Soul
Manisha Manjari
गिराता और को हँसकर गिरेगा वो यहाँ रोकर
गिराता और को हँसकर गिरेगा वो यहाँ रोकर
आर.एस. 'प्रीतम'
*चंदा दल को दीजिए, काला धन साभार (व्यंग्य कुंडलिया)*
*चंदा दल को दीजिए, काला धन साभार (व्यंग्य कुंडलिया)*
Ravi Prakash
क्या लिखूं ?
क्या लिखूं ?
Rachana
मैं भी कोई प्रीत करूँ....!
मैं भी कोई प्रीत करूँ....!
singh kunwar sarvendra vikram
अब देर मत करो
अब देर मत करो
नील पदम् Deepak Kumar Srivastava (दीपक )(Neel Padam)
जुल्फें तुम्हारी फ़िर से सवारना चाहता हूँ
जुल्फें तुम्हारी फ़िर से सवारना चाहता हूँ
The_dk_poetry
सद्विचार
सद्विचार
अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
शासक की कमजोरियों का आकलन
शासक की कमजोरियों का आकलन
Mahender Singh
श्री राम अमृतधुन भजन
श्री राम अमृतधुन भजन
Khaimsingh Saini
"पनाहों में"
Dr. Kishan tandon kranti
जबसे हम चार पैसे कमाने लगे हैं
जबसे हम चार पैसे कमाने लगे हैं
नूरफातिमा खातून नूरी
अपनी नज़र में रक्खा
अपनी नज़र में रक्खा
Dr fauzia Naseem shad
आम्बेडकर मेरे मानसिक माँ / MUSAFIR BAITHA
आम्बेडकर मेरे मानसिक माँ / MUSAFIR BAITHA
Dr MusafiR BaithA
सावन में घिर घिर घटाएं,
सावन में घिर घिर घटाएं,
Seema gupta,Alwar
An Evening
An Evening
goutam shaw
हम गुलामी मेरे रसूल की उम्र भर करेंगे।
हम गुलामी मेरे रसूल की उम्र भर करेंगे।
Phool gufran
"मैं सोच रहा था कि तुम्हें पाकर खुश हूं_
Rajesh vyas
मैं बहुतों की उम्मीद हूँ
मैं बहुतों की उम्मीद हूँ
ruby kumari
यादों को दिल से मिटाने लगा है वो आजकल
यादों को दिल से मिटाने लगा है वो आजकल
कृष्णकांत गुर्जर
मेरी ख़ूबी बस इत्ती सी है कि मैं
मेरी ख़ूबी बस इत्ती सी है कि मैं "ड्रिंकर" न होते हुए भी "थिं
*प्रणय प्रभात*
ईमानदार  बनना
ईमानदार बनना
तारकेश्‍वर प्रसाद तरुण
Loading...