मेरी प्रीत
कैसी बनी यह रीत,
कैसे जिये बिना प्रीत,
गुनगुनाते तेरे ही गीत,
कब आएगा मेरा मीत,
बहुत दिन गये बीत,
कैसे समय से जाये जीत,
मन कैसे हाेगा शीत,
फल भी हाे चुके पीत,
दिल हाे रहा भयभीत,
कब बजेगा प्यार का संगीत,
कैसे खाऊ अब नवनीत,
तू ही है मेरा नीत,
।।जेपीएल।।।