बरसात
बरसात के
दिन आए सबके
खेत पटाए -1
तपती धूप
छन भर में जाए
फिर लौटाऐ -2
सबके साथ
खेले आँख मिचौली
इ बरसात -3
पेड़ों की डाली
खूब झूमके गाए
मन हर्षाए -4
सुखी धरती
जी भर नहलाए
तृप्त हो जाए -5
प्यसे नदियों
को भी बरसात में
उफान आए -6
बाग बगीचे
सब भी लहराये
हरित छाए -7
मोर पपिहा
तोता कोयल सब
मील गाए -8
झिंगुर कि तो
दिन है लौट आई
बरसात में -9
टर्-टर् कि धुन
शहनाई बजाए
मेढक रानी -10
चारों तरफ
कि गंदगी भी धोए
शुद्ध जल से -11
बच्चे सबके
कागज के नाव ले
जाए बहाए -12
साल भर का
बरसात महिना
पानी दे जाए -13
गरीब रोता
अमीर हँसता है
बरसात में -14
कहीं पानी से
सब खुश होते हैं
हँसते गाते -15
कहीं घर में
टपकती बूंदे इ
बरसात के -16
गम दे जाती
लचारे बेबस को
ये बरसात -17
#किसानपुत्री_शोभा_यादव