Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
16 Jan 2020 · 1 min read

“बचपन से सीख”

कभी खो जाता हूं अपने बचपन की यादों में इस कदर मालूम पड़ता है सपना था वह मेरा अब नींद से जागा हूं
बड़ी रुखसत के बाद ।
कुछ अजीब सा तो था उस बचपन में मानो चारों तरफ अंधेरा और एक जुगनू सी नजर आती थी
जिसके पीछे हाथ बढ़ा दिया करता था
उस चमक ने मुझे कुछ तो सिखाया है
लक्ष्य को पाना है
तो चारों तरफ अंधेरा तो करना पड़ेगा मतलब लोगों को नजरअंदाज करना पड़ेगा ।

Language: Hindi
Tag: लेख
1 Like · 373 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
" फेसबूक फ़्रेंड्स "
DrLakshman Jha Parimal
"मान-सम्मान बनाए रखने का
*Author प्रणय प्रभात*
हज़ारों साल
हज़ारों साल
DR. Kaushal Kishor Shrivastava
हमने किस्मत से आँखें लड़ाई मगर
हमने किस्मत से आँखें लड़ाई मगर
VINOD CHAUHAN
यात्रा ब्लॉग
यात्रा ब्लॉग
Mukesh Kumar Rishi Verma
किस क़दर
किस क़दर
हिमांशु Kulshrestha
अजब-गजब नट भील से, इस जीवन के रूप
अजब-गजब नट भील से, इस जीवन के रूप
महावीर उत्तरांचली • Mahavir Uttranchali
माँ दहलीज के पार🙏
माँ दहलीज के पार🙏
तारकेश्‍वर प्रसाद तरुण
लगता है आवारगी जाने लगी है अब,
लगता है आवारगी जाने लगी है अब,
Deepesh सहल
"मेरे तो प्रभु श्रीराम पधारें"
राकेश चौरसिया
Ajj fir ek bar tum mera yuhi intazar karna,
Ajj fir ek bar tum mera yuhi intazar karna,
Sakshi Tripathi
रक्षाबंधन
रक्षाबंधन
Sanjay ' शून्य'
"जिंदगी"
नेताम आर सी
लोकतंत्र का मंत्र
लोकतंत्र का मंत्र
Jeewan Singh 'जीवनसवारो'
*राष्ट्रभाषा हिंदी और देशज शब्द*
*राष्ट्रभाषा हिंदी और देशज शब्द*
Subhash Singhai
प्रीत की चादर
प्रीत की चादर
Dr.Pratibha Prakash
सामाजिक न्याय के प्रश्न पर
सामाजिक न्याय के प्रश्न पर
Shekhar Chandra Mitra
2904.*पूर्णिका*
2904.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
कर रहे हैं वंदना
कर रहे हैं वंदना
surenderpal vaidya
सारे रिश्तों से
सारे रिश्तों से
Dr fauzia Naseem shad
आंखों में
आंखों में
Surinder blackpen
*धन्य-धन्य वे लोग हृदय में, जिनके सेवा-भाव है (गीत)*
*धन्य-धन्य वे लोग हृदय में, जिनके सेवा-भाव है (गीत)*
Ravi Prakash
रिश्ते , प्रेम , दोस्ती , लगाव ये दो तरफ़ा हों ऐसा कोई नियम
रिश्ते , प्रेम , दोस्ती , लगाव ये दो तरफ़ा हों ऐसा कोई नियम
Seema Verma
*यौगिक क्रिया सा ये कवि दल*
*यौगिक क्रिया सा ये कवि दल*
DR ARUN KUMAR SHASTRI
"अविस्मरणीय"
Dr. Kishan tandon kranti
दोहा-प्रहार
दोहा-प्रहार
राजीव नामदेव 'राना लिधौरी'
उलझी हुई है ज़ुल्फ़-ए-परेशाँ सँवार दे,
उलझी हुई है ज़ुल्फ़-ए-परेशाँ सँवार दे,
SHAMA PARVEEN
प्रणय गीत --
प्रणय गीत --
Neelam Sharma
रक्तिम- इतिहास
रक्तिम- इतिहास
शायर देव मेहरानियां
बेटीयां
बेटीयां
Aman Kumar Holy
Loading...