Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
5 Mar 2022 · 1 min read

प्यार की कीमत

प्यार की कीमत क्या है
कोई बताओ मुझे
दिलों को मिलने की ज़रूरत क्या है
कोई समझाओ मुझे।।

प्यार तो है अनमोल
कौन इसे खरीद पाएगा
हो जाए एक बार जो
कौन इसे छीन पाएगा।।

प्यार की कीमत तो प्यार ही है
प्यार कोई सौदा नहीं है
जो खरीद ले हम तोल भाव करके
प्यार कोई पौधा नहीं है।।

प्यार तो एक बीज है
जो उगता है दिल की मिट्टी में
नमी मिलती है उसको
जज्बातों भरी माशूक की चिट्ठी में।।

उग जाए जिस मिट्टी पर
उसे दूसरी जगह रोप नहीं सकते
उठ जाए लहर प्यार की
तो उसे फिर रोक नहीं सकते।।

कोशिशें हुई प्यार को
मिटाने की ज़माने में जब भी
खुद मिट गए लेकिन
मिटा नहीं पाए प्यार को तब भी।।

दिखाते हैं अपनी भरी तिजोरियों को
आते है प्यार के खरीददार भी बहुत
समझते है जब वो, बाज़ार नहीं है प्यार
तकलीफ होती है फिर उनको भी बहुत।।

है ये तो खुदा की नैमत ऐसी
जो मिलती है किस्मत वालों को
कोई कीमत नहीं होती इसकी
ये तो तोहफ़ा है दिलवालों को।।

Language: Hindi
7 Likes · 1 Comment · 718 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from सुरेन्द्र शर्मा 'शिव'
View all
You may also like:
अपनी सरहदें जानते है आसमां और जमीन...!
अपनी सरहदें जानते है आसमां और जमीन...!
Aarti sirsat
गलतफहमी
गलतफहमी
Sanjay ' शून्य'
बेकाबू हैं धड़कनें,
बेकाबू हैं धड़कनें,
sushil sarna
इतना क्यों व्यस्त हो तुम
इतना क्यों व्यस्त हो तुम
Shiv kumar Barman
.....,
.....,
शेखर सिंह
बाल कविता: तोता
बाल कविता: तोता
Rajesh Kumar Arjun
ओ अच्छा मुस्कराती है वो फिर से रोने के बाद /लवकुश यादव
ओ अच्छा मुस्कराती है वो फिर से रोने के बाद /लवकुश यादव "अज़ल"
लवकुश यादव "अज़ल"
आज किसी का दिल टूटा है
आज किसी का दिल टूटा है
Rajender Kumar Miraaj
पीड़ा थकान से ज्यादा अपमान दिया करता है ।
पीड़ा थकान से ज्यादा अपमान दिया करता है ।
महेश चन्द्र त्रिपाठी
भावो को पिरोता हु
भावो को पिरोता हु
भरत कुमार सोलंकी
ये वादियां
ये वादियां
Surinder blackpen
सुविचार
सुविचार
Sanjeev Kumar mishra
जनवरी हमें सपने दिखाती है
जनवरी हमें सपने दिखाती है
Ranjeet kumar patre
गंगा घाट
गंगा घाट
Preeti Sharma Aseem
2947.*पूर्णिका*
2947.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
بدلتا ہے
بدلتا ہے
Dr fauzia Naseem shad
क्या अपने और क्या पराए,
क्या अपने और क्या पराए,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
..
..
*प्रणय प्रभात*
आज कल ट्रेंड है रिश्ते बनने और छुटने का
आज कल ट्रेंड है रिश्ते बनने और छुटने का
पूर्वार्थ
तन्हाई को जीते जीते
तन्हाई को जीते जीते
हिमांशु Kulshrestha
चोर उचक्के बेईमान सब, सेवा करने आए
चोर उचक्के बेईमान सब, सेवा करने आए
सुरेश कुमार चतुर्वेदी
"जलन"
Dr. Kishan tandon kranti
बात शक्सियत की
बात शक्सियत की
Mahender Singh
एक दिया बुझा करके तुम दूसरा दिया जला बेठे
एक दिया बुझा करके तुम दूसरा दिया जला बेठे
कवि दीपक बवेजा
कह रहा है वक़्त,तुम वफादार रहो
कह रहा है वक़्त,तुम वफादार रहो
gurudeenverma198
बातों को अंदर रखने से
बातों को अंदर रखने से
Mamta Rani
*दो दिन का जीवन रहा, दो दिन का संयोग (कुंडलिया)*
*दो दिन का जीवन रहा, दो दिन का संयोग (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
पापा जी..! उन्हें भी कुछ समझाओ न...!
पापा जी..! उन्हें भी कुछ समझाओ न...!
VEDANTA PATEL
चन्द्रयान तीन क्षितिज के पार🙏
चन्द्रयान तीन क्षितिज के पार🙏
तारकेश्‍वर प्रसाद तरुण
Extra Charge
Extra Charge
AJAY AMITABH SUMAN
Loading...