Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
26 Feb 2021 · 1 min read

प्यार की वापसी

ये सुना है हमने फिज़ाओं से
मेरे शहर में लौट आया है वो
मुझसे दूर जाने की ज़िद में
ये शहर छोड़ गया था जो ।।

मानता हूं की मुझे मनाना नहीं आया
दिल में छुपा प्यार पर जताना नहीं आया
उसकी यादों में कई शाम काटी है अकेले
कैसे पूछूं कभी मेरा ख्याल नहीं आया।।

रूठना भी प्यार में एक पहलू है
परन्तु ऐसे छोड़ जाना क्या अच्छा है
तुम्ही बताओ इतना प्यारा रिश्ता
तोड़कर यूं चले जाना क्या अच्छा है।।

जो दिल के करीब होते हैं लोग
उन्हें कभी ऐसे सताया नहीं जाता
हमेशा प्यार से समझाते है उन्हें
उन पर गुस्सा जताया नहीं जाता ।।

मेरी कमी वहां उसे भी तो खली होगी
कोई तो बात उसके दिल में लगी होगी
जो वो इस तरह वापिस शहर आ गया
मुझमें कोई बात तो उसे अच्छी लगी होगी ।।

मन नहीं लगा मेरे बिन उसका
या नाराजगी उसकी दूर हो गई
जो भी रहा हो कारण इसका
मेरी तो फिर किस्मत बदल गई ।।

ज़िन्दगी फिर से जिंदगी लग रही है
तुम जो मिल गए फिरसे जहां मिल गया
वीरान हो गया था मेरे दिल का आंगन
फिरसे प्यार का हसीं फूल खिल गया ।।

Language: Hindi
5 Likes · 355 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from सुरेन्द्र शर्मा 'शिव'
View all
You may also like:
अभी कुछ बरस बीते
अभी कुछ बरस बीते
shabina. Naaz
दिन और रात-दो चरित्र
दिन और रात-दो चरित्र
Suryakant Dwivedi
*आगे जीवन में बढ़े, हुए साठ के पार (कुंडलिया)*
*आगे जीवन में बढ़े, हुए साठ के पार (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
मौहब्बत जो चुपके से दिलों पर राज़ करती है ।
मौहब्बत जो चुपके से दिलों पर राज़ करती है ।
Phool gufran
खुद की तलाश में।
खुद की तलाश में।
Taj Mohammad
नेता जी
नेता जी
Sanjay ' शून्य'
दोस्ती एक गुलाब की तरह हुआ करती है
दोस्ती एक गुलाब की तरह हुआ करती है
शेखर सिंह
3) मैं किताब हूँ
3) मैं किताब हूँ
पूनम झा 'प्रथमा'
Tum ibadat ka mauka to do,
Tum ibadat ka mauka to do,
Sakshi Tripathi
भारत की है शान तिरंगा
भारत की है शान तिरंगा
surenderpal vaidya
श्रद्धांजलि
श्रद्धांजलि
Arti Bhadauria
सबके सामने रहती है,
सबके सामने रहती है,
लक्ष्मी सिंह
💐प्रेम कौतुक-561💐
💐प्रेम कौतुक-561💐
शिवाभिषेक: 'आनन्द'(अभिषेक पाराशर)
जीवन दुखों से भरा है जीवन के सभी पक्षों में दुख के बीज सम्मि
जीवन दुखों से भरा है जीवन के सभी पक्षों में दुख के बीज सम्मि
Ms.Ankit Halke jha
ॐ
Prakash Chandra
पैसा होय न जेब में,
पैसा होय न जेब में,
महावीर उत्तरांचली • Mahavir Uttranchali
😊😊😊
😊😊😊
*Author प्रणय प्रभात*
भुला देना.....
भुला देना.....
A🇨🇭maanush
मार्तंड वर्मा का इतिहास
मार्तंड वर्मा का इतिहास
Ajay Shekhavat
पग न अब पीछे मुड़ेंगे...
पग न अब पीछे मुड़ेंगे...
डॉ.सीमा अग्रवाल
रिश्तो को कायम रखना चाहते हो
रिश्तो को कायम रखना चाहते हो
Harminder Kaur
सुविचार
सुविचार
Neeraj Agarwal
मुरझाए चेहरे फिर खिलेंगे, तू वक्त तो दे उसे
मुरझाए चेहरे फिर खिलेंगे, तू वक्त तो दे उसे
Chandra Kanta Shaw
लिखा नहीं था नसीब में, अपना मिलन
लिखा नहीं था नसीब में, अपना मिलन
gurudeenverma198
गीत लिखूं...संगीत लिखूँ।
गीत लिखूं...संगीत लिखूँ।
Priya princess panwar
मीडिया पर व्यंग्य
मीडिया पर व्यंग्य
Mahender Singh
"आम्रपाली"
Dr. Kishan tandon kranti
लिया समय ने करवट
लिया समय ने करवट
डाॅ. बिपिन पाण्डेय
जली आग में होलिका ,बचे भक्त प्रहलाद ।
जली आग में होलिका ,बचे भक्त प्रहलाद ।
Rajesh Kumar Kaurav
तू ने आवाज दी मुझको आना पड़ा
तू ने आवाज दी मुझको आना पड़ा
कृष्णकांत गुर्जर
Loading...