पिता चेहरे की मुस्कान है
पिता ह्रदय की धड़कन है,
पिता चेहरे की मुस्कान है ।
अंग – अंग ऋणी पिता का,
पिता संतान का जहान है ।।
पग-पग पर पिता सहारा है,
पिता से ही एक पहचान है ।
दिया उन्हीं का यह नाम है,
पिता संतान का भगवान है ।।
पिता धूप सहकर छाया बनते,
पसीना बहाकर देते आराम ।
जग तो सबसे यही कहता,
पिता के चरणों में सब धाम ।।