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11 Apr 2021 · 1 min read

नारी शक्ति:आदि शक्ति

नारी शक्ति:आदिशक्ति
******************
आदिशक्ति जगत जननी का
इस धरा पर
जीवित स्वरूप हैं
हमारी माँ,बहन ,बेटियां
हमारी नारी शक्तियाँ।
जन्म से मृत्यु तक
किसी न किसी रुप में
हमारी छाँव बनी रहती हैं
हमारी नारी शक्तियाँ।
ममता की मूर्ति ही नहीं
समय आने पर हमारे लिए
संहारक बन चंडी भी बनती
हमारी नारी शक्तियाँ।
जल सी सरल है तो
पत्थर सी कठोर भी,
घर में गृहलक्ष्मी है तो
सीमा पर तनकर खड़ी फौलाद सी।
मर्यादा का उदाहरण है तो
शीतल बयार भी।
आदिशक्ति के नौ रुपों का
दर्शन हैं नारी शक्तियां,
सच्चे मन से जब निहारेंगे
आदिशक्ति जगत जननी की
मनमोहक मूर्ति सी दिखती
हमारी नारी शक्तियाँ।
आदिशक्ति की जयजयकार के लिए
आधार भी बनती हैं
हमारी नारी शक्तियाँ ।
हमारे अंर्तचक्षु को खोलने
काम भी करती हैं सदा
हमारी नारी शक्तियाँ।
उनकी जय जयकार
भला कब किया हमनें
फिर भी हमारे हित के
हर काम करती हैं सदा
हमारी नारी शक्तियाँ।
☝सुधीर श्रीवास्तव
गोण्डा, उ.प्र.
8115285921

Language: Hindi
1 Like · 1 Comment · 464 Views
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