नव वर्ष
शुभ नव वर्ष की भोर
बढ़ें नव उम्मीदों की ओर
धरा पर नवता प्रतिपल हो
आशाओं का शुभ संगम हो
दीप जलें नित नए उजाले
नव आकांक्षा दिव्य संभाले
भूलकर सारी विकलता
आगे बढ़ें पाएं सफलता
नव सृजन नव निर्माण हो
नव लक्ष्य का संधान हो।
प्रवीणा त्रिवेदी “प्रज्ञा”
नई दिल्ली
स्वागत 2021